पेज तीन की लीड: फार्मासिस्ट, सहायक कर्मियों के भरोसे चल रहे स्वास्थ्य केंद्र
बदहाल स्वास्थ्य केंद्र

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संवाद सहयोगी, जागरण, जामुड़िया : आसनसोल नगर निगम क्षेत्र में संचालित शहरी स्वास्थ्य केंद्र इन दिनों गंभीर अव्यवस्थाओं से जूझ रहे हैं। नागरिकों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा प्रदान करने की मंशा से निगम के सभी वार्डों में स्वास्थ्य केंद्रों का निर्माण किया गया था। शुरुआती दौर में यह केंद्र सुचारू रूप से चले, लेकिन वर्तमान में अधिकांश केंद्र बदहाली की कगार पर पहुंच चुके हैं। कई जगहों पर दवाइयां उपलब्ध हैं, लेकिन चिकित्सक नहीं। कहीं चिकित्सक हैं तो दवाई और सुरक्षा व्यवस्था का घोर अभाव बना हुआ है। स्थानीय लोगों का आरोप है कि कई स्वास्थ्य केंद्रों का उपयोग अब असामाजिक तत्वों के सुरक्षित पनाहगाह के रूप में होने लगा है, जिससे आम मरीजों का आना-जाना भी मुश्किल हो गया है। जामुड़िया बोरो क्षेत्र के अंतर्गत सभी वार्डों में स्वास्थ्य केंद्र तो है, लेकिन समुचित व्यवस्था, सुरक्षा, स्वच्छता और चिकित्सकों की उपलब्धता की कमी साफ झलकती है। हालात यह है कि कई केंद्र फार्मासिस्टों और सहायक कर्मियों के भरोसे चल रहे हैं, जबकि चिकित्सकों की नियुक्ति न के बराबर है।
सभी जगह चिकित्सक उपलब्ध कराना संभव नहीं : नगर निगम के स्वास्थ्य विभाग के मेयर परिषद सदस्य दिवेंदु भगत ने स्वीकार किया कि 106 वार्डों में सभी जगह चिकित्सक उपलब्ध कराना संभव नहीं है, फिर भी निगम प्रशासन इस दिशा में निरंतर प्रयासरत है।
उच्चस्तरीय जांच की जाए : भाजपा के वरिष्ठ नेता संतोष सिंह ने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि इन स्वास्थ्य केद्रों के निर्माण में केंद्र सरकार की योजनाओं से प्राप्त धन का उपयोग किया गया था, लेकिन अब यह स्पष्ट हो चुका है कि धन के दुरुपयोग और भ्रष्टाचार का मामला सामने आया है। उन्होंने इस पूरे प्रकरण की उच्च स्तरीय जांच की मांग की है, ताकि जनता का पैसा सही दिशा में खर्च हो सके और स्वास्थ्य सेवाओं को दुरुस्त किया जा सके। स्वास्थ्य सुविधाओं की जर्जर स्थिति को देखते हुए स्थानीय नागरिकों ने भी प्रशासन से शीघ्र कदम उठाने की मांग की है, ताकि शहरी स्वास्थ्य केंद्र अपने मूल उद्देश्य को फिर से पूरा कर सकें।

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