Uttarkashi Tunnel Collapse Live Update: सुरंग निर्माण में सरिया की रिब लगाने का आरोप, रेस्क्यू ऑपरेशन जारी
Uttarkashi Accident Latest News Live Updates: चारधाम परियोजना के तहत निर्माणाधीन सिलक्यारा-पोल गांव सुरंग में पिछले 50 घंटे से अधिक समय से 40 श्रमिकों की जिंदगी कैद है। इन श्रमिकों को निकालने का कार्य युद्ध स्तर पर चल रहा है। आज भी रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। इस हादसे से जुड़ी पल-पल की अडेट यहां पढ़ें

उत्तरकाशी। गत रविवार को सिलक्यारा सुरंग में जब भूस्खलन हुआ तो श्रमिक मशीनों को छोड़कर जान बचाने के लिए भागे। बताया जा रहा है कि भूस्खलन के मलबे में एक शॉटक्रिट मशीन व एक बूमर मशीन दबी है। भले ही ये दोनों मशीने सुरंग के साइड की ओर खड़ी थी।
सिलक्यारा सुरंग निर्माण को लेकर कई सवाल उठ रहे है। सुरंग निर्माण में जुटे एक मशीन आपरेटर ने कहा कि जिस स्थान पर उपचार के लिए गार्टर रिब लगाए जाने थे वहां गार्टर रिब की जगह 32 एमएम की सरिया का रिब बनाकर लगाया गया। गार्टर रिब लगाया गया होता तो भूस्खलन नहीं होता। भले ही इस बात की कंपनी के किसी अधिकारी ने पुष्टि नहीं की है।
चारधाम ऑलवेदर परियोजना के तहत निर्माणाधीन सिलक्यारा-पोलगांव सुरंग कमजोर पहाड़ को खोदकर बनाई जा रही है। सुरंग निर्माण में कमजोर चट्टी की पुष्टि हुई है। जिससे सुरंग में भूस्खलन हो रहा है। सुरंग में कैविटी टूटने से हो रहे भूस्खलन यह मामला पहला नहीं है। सुरंग की कैविटी टूटने से पहले भी लूज मलबा गिर चुका है।
उत्तरकाशी। सुरंग के अंदर एक श्रमिक की तबीयत खराब हो गई। उसे चक्कर आने के साथ हल्की उल्टी हुई है, जिससे फंसे अन्य श्रमिकों में हड़कंप मच गया। श्रमिकों की ओर से यह जानकारी पानी की निकासी के पाइप के जरिये खोज बचाव टीम को दी गई। पुलिस उपाधीक्षक प्रशांत कुमार ने एक श्रमिक के स्वास्थ्य में गिरावट आने, उल्टी आने और चक्कर आने की पुष्टि की है। चिकित्सकों के परार्मश के बाद श्रमिक के लिए पाइप के जरिये दवाई भेजी गई। टनल में फंसे मजदूरों से संपर्क बना हुआ है। पोषक खाद्य पदार्थ और कुछ दवाई भेजी गई है।
उत्तरकाशी। पिछले तीन दिनों से सुरंग में कैद श्रमिकों को सकुशल निकालने को लेकर खोज बचाव कार्य युद्ध स्तर पर चल रहा है। ऑगर ड्रिलिंग मशीन स्थापित की गई है। जिसके जरिये भूस्खलन के मलबे के बीच 900 एमएम व्यास के स्टील पाइप बिछाने का कार्य गतिमान है। बुधवार सुबह तक 40 श्रमिकों के सकुशल रेस्क्यू की उम्मीद है।
उत्तरकाशी । उत्तरकाशी के डीएम अभिषेक रोहिल्ला ने बताया कि बचाव अभियान जारी है। पाइप की मदद से सुरक्षा मार्ग या छोटी सुरंग बनाने का प्रयास किया जा रहा है। साइट पर सामग्री उपलब्ध करा दी गई है। उनके लिए प्लेटफॉर्म भी बनाया जा रहा है। उसके बाद एस्केप टनल का निर्माण भी शुरू किया जाएगा। टनल के अंदर सभी मजदूर अभी सुरक्षित हैं। एनएचआईडीसीएल के अधिकारियों का कहना है कि वे उनसे लगातार संवाद स्थापित करने में सक्षम हैं।
उत्तरकाशी। सीडीओ गौरव कुमार ने कहा कि मैं अभी टनल के अंदर गया था। हमारे कर्मियों से लगातार संवाद किया जा रहा है। आज सुबह 10 बजे उनसे बात की गई थी। वे सभी सुरक्षित और स्वस्थ हैं। खाने-पीने के सामान और पीने के पानी की व्यवस्था की जा रही है।
सीडीओ गौरव कुमार ने कहा कि सीएमओ ने कुछ दवाओं की भी व्यवस्था की है। उन्हें मजदूरों तक भेजा जा रहा है। जहां तक बचाव का सवाल है, पाइप पुशिंग शुरू होने वाली है। उसके लिए प्लेटफॉर्म तैयार है। हम अपने शेड्यूल के मुताबिक प्रगति कर रहे हैं। उम्मीद है कि प्रक्रिया शुरू हो जाएगी जल्द ही।
Uttarkashi (Uttarakhand) tunnel accident | CDO Gaurav Kumar says, "I went inside the tunnel just now. Continuous communication is being done with our workers. Communication with them was established at 10 am today. All of them are safe and sound. Edible items and drinking water… pic.twitter.com/NBjT5shtvN
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) November 14, 2023
उत्तरकाशी। सिलक्यारा सुरंग में फंसे श्रमिकों को निकालने के लिए ऑगर मशीन मंगलवार की सुबह साढ़े चार बजे पहुंची। अभी तक 19 एमएस पाइप सिलक्यारा पहुंच चुके हैं। एक पाइप की लंबाई छह मीटर है। सिंचाई विभाग की विशेषज्ञ टीम स्टील पाइप को सफलतापूर्वक स्थापित किये जाने में सहायता के लिए परियोजना स्थल पर तैनात किया गया है। घटना स्थल पर स्टेजिंग एरिया एक्टिवेट किया गया है। स्वास्थ्य विभाग टीम द्वारा स्वास्थ्य शिविर स्थापित किया गया है, जिसमें 6 बेड की व्यवस्था सहित पर्याप्त चिकित्सा सामग्री रखी गयी है।
उत्तरकाशी। उत्तरकाशी में हुए सुरंग हादसे में फंसे मजदूरों का रेस्क्यू तेजी से जारी है। जांच समिति का विशेषज्ञ दल बीते दिन ही घटनास्थल पर पहुंच गया था। दल के द्वारा सुरंग एवं इसके ऊपर की पहाड़ी का सर्वेक्षण किया गया। इस दल में निदेशक यूएमएमसी देहरादून डॉ. शांतनु सररकर,डॉ. खइंग शिंग ल्युरई वैज्ञानिक एफ. वाडिया इंस्टिट्यूट ऑफ हिमालय जियोलॉजी, सुनील कुमार यादव वैज्ञानिक जीएसआई, कौशिल पंडित वरिष्ठ वैज्ञानिक सीबीआरआई रुड़की, जी.डी प्रसाद उपनिदेशक भूतत्व एवं खनिजकर्म विभाग, तनड्रिला सरकार भूवैज्ञानिक यूएसडीएमए देहरादून शामिल हैं।
उत्तरकाशी। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी उत्तरकाशी के सिलक्यारा के पास टनल में फंसे श्रमिकों के बारे में अधिकारियों से निरंतर जानकारी ले रहे हैं। राहत एवं बचाव के कार्यों में लगी एजेंसियों से भी मुख्यमंत्री हर पल की अपडेट ले रहे हैं। मुख्यमंत्री आवास में शासन के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक कर मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि मौके पर तैनात जिला प्रशासन के अधिकारियों एवं वहां पर कार्य कर रही एजेंसियों से निरन्तर समन्वय बनाकर रखें, राहत सामग्री की किसी भी प्रकार की आवश्यकता पड़ने पर, शीघ्र उपलब्ध कराई जाए।
उत्तरकाशी। सिल्कयारा टनल में भूस्खलन के कारणों के अध्ययन एवं जांच के लिए उत्तराखंड सरकार द्वारा बनाई गई कमेटी पहुंच गई है। कमेटी के निदेशक, उत्तराखंड भूस्खलन न्यूनीकरण एवं प्रबंधन केंद्र की अध्यक्षता में गठित समिति में शामिल विशेषज्ञों ने स्थल का निरीक्षण कर जांच शुरू कर दी है। टीम सुरंग और उसके ऊपर की पहाड़ी का सर्वेक्षण कर रही है।
The experts included in the committee constituted by the Uttarakhand government under the chairmanship of Director, Uttarakhand Landslide Mitigation and Management Center to study and investigate the causes of landslide in Silkyara Tunnel have inspected the site and started the… pic.twitter.com/4Q1GVXKWdI
— ANI (@ANI) November 14, 2023
उत्तरकाशी। उत्तरकाशी सुरंग हादसे पर उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी लगातार नजर बनाए हुए हैं। सीएम धामी ने कहा कि मैं स्थिति पर करीब से नजर रख रहा हूं। मैंने घटनास्थल का दौरा किया था, और मैंने अंदर फंसे लोगों के परिवार के सदस्यों से भी बात की...भोजन, पानी और अंदर फंसे लोगों को ऑक्सीजन की आपूर्ति की जा रही है। पीएम मोदी भी स्थिति पर करीब से नजर रख रहे हैं।
#WATCH | Dehradun: On the Uttarkashi tunnel accident, Uttarakhand CM Pushkar Singh Dhami says, " I am closely monitoring the situation. I had visited the spot, and I also spoke to the family members of the people whore trapped inside...food, water and oxygen being supplied to… pic.twitter.com/ffD432WBCu
— ANI (@ANI) November 14, 2023
उत्तरकाशी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उत्तरकाशी में हुए टनल हादसे को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से बात की। सीएम धामी ने सोशल मीडिया पर बताया कि पीएम मोदी ने दूरभाष के माध्यम से सिल्क्यारा के पास निर्माणाधीन टनल में हुई दुर्घटना में फंसे श्रमिकों की वस्तुस्थिति की जानकारी ली। इस दौरान उन्हें फंसे हुए लोगों को सकुशल बाहर निकालने के लिए चलाए जा रहे राहत एवं बचाव कार्यों से अवगत कराया।
आदरणीय प्रधानमंत्री श्री @narendramodi जी ने दूरभाष के माध्यम से सिल्क्यारा के पास निर्माणाधीन टनल में हुई दुर्घटना में फंसे श्रमिकों की वस्तुस्थिति की जानकारी ली। इस दौरान उन्हें फंसे हुए लोगों को सकुशल बाहर निकालने के लिए चलाए जा रहे राहत एवं बचाव कार्यों से अवगत कराया।
— Pushkar Singh Dhami (@pushkardhami) November 13, 2023
आज…
उत्तरकाशी। अदलहाट थाना क्षेत्र के घरवासपुर गांव के रहने वाले अखिलेश कुमार उत्तराखंड में नवयुवा कंट्रक्शन कंपनी में काम करते हैं। हादसे के बाद दूसरी साइड पर काम करने वाले रिश्तेदारों ने घर पर अखिलेश के टनल में फंसने की खबर दी। घर वाले अखिलेश का कोई हाल खबर नहीं मिलने पर परेशान हैं।
उत्तरकाशी। एसडीआरएफ के कमांडेंट मणिकांत मिश्रा के नेतृत्व में एसडीआरएफ की बचाव टीमों ने उत्तरकाशी में सिल्कयारा सुरंग के अंदर फंसे 40 मजदूरों को बचाने के लिए अभियान चलाया।
#WATCH | SDRF rescue teams led by Commandant SDRF Manikant Mishra carry out the operation to rescue 40 labourers trapped inside the Silkyara Tunnel in Uttarkashi pic.twitter.com/aN72jZGrEm
— ANI (@ANI) November 14, 2023
उत्तरकाशी। सिलक्यारा टनल के अंदर फंसे मजदूरों को निकालने के लिए ऑगर मशीन की सहायता से बड़े व्यास के एमएस पाईप डालने की तैयारी अंतिम दौर में है। कुछ ही देर में अवरुद्ध हिस्से में पाईप डालने की कार्रवाई शुरू हो जाएगी। मौके पर जरूरी सामान के साथ विशेषज्ञ व इंजीनीयर्स मौजूद।
उत्तरकाशी। उत्तरकाशी में हुए टनल हादसे में रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। ऑगर मशीन को स्थापित करने के दौरान सुरंग के अंदर बाबा बौखनाग की पूजा अर्चना की गई। इसके लिए नवयुग कंपनी की ओर से बाबा बौखनाग के पुजारी रामनारायण अवस्थी को बुलाया गया।
विधिवत पूजा करने के बाद मशीन को संचालित करने का कार्य किया जा रहा है। मशीन को पूरी तरह से स्थापित होने में दो घंटे का समय लगना तय है ।
उत्तरकाशी। उत्तरकाशी में हुए सुरंग हादसे की जांच की जाएगी। उत्तराखंड सरकार ने इसकी जांच के लिए कमेटी का गठन कर दिया है। इस कमेटी में छह लोगों को शामिल किया गया है। ये कमेटी इस हादसे के कारणों का पता लगाएगी।
Uttarakhand govt constitutes a six-member expert committee to investigate the Uttarkashi tunnel accident. pic.twitter.com/kVGmPI1hh6
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) November 14, 2023
उत्तरकाशी। सिलक्यारा सुरंग में कैविटी खुलने से हुए भूस्खलन और सुरंग के अंदर श्रमिकों के फंसने की सूचना के बाद सिलक्यारा में रेस्क्यू टीमों द्वारा ऑपरेशन जारी है। इस टीम में आइटीबीपी, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पुलिस व आपदा प्रबंधन की टीमें हैं। परंतु सुरंग के अंदर मुख्य खोज बचाव का कार्य इंजीनियरों की टीम और श्रमिक ही कर रहे हैं। दरअसल सुरंग के अंदर काम करने का अनुभव श्रमिकों को अधिक है।
उत्तरकाशी । Uttarkashi Accident Live Updates...सिलक्यारा सुरंग के भूधंसाव से अवरुद्ध हिस्से में 900 एमएम व्यास के एमएस पाइप ऑगर ड्रिलिंग मशीन से डाले जाएंगे। ये पाइप करीब 40 मीटर हिस्से में डाले जाने हैं। भूस्खलन के दायरे के अनुसार इनकी लंबाई भी बढ़ सकती है। जिससे इन पाइपों के जरिये फंसे मजदूरों को निकालने के लिए क्षैतिज ड्रिलिंग
पाइप के जरिये ही श्रमिकों से उनका हालचाल जाना है। उन्हें दवाई के लिए भी पूछा है। लेकिन, श्रमिकों ने कहा कि वह सही है। इसलिए कोई दवाई नहीं भेजी गई। श्रमिकों ने खाना मांगा तो उन्हें चने आदि भेजे गए। जल्दी से जल्दी मलबा हटाने का कार्य किया जा रहा है। मलबा हटाने का कार्य श्रमिक ही कर रहे हैं। श्रमिकों को सुरंग के अंदर काम करने का अच्छा अनुभव होता है। यहां पढ़ें पूरी खबर
उत्तरकाशी। सुरंग के अंदर फंसे श्रमिकों से पाइप और वॉकी-टॉकी से बात करने वाले झारखंड निवासी एवं नवयुव इंजीनियरिंग कंपनी के श्रमिक सुदीप मंडल ने कहा कि मैंने सुरंग के अंदर फंसे श्रमिकों से पाइप के जरिये बात की है। फंसे श्रमिकों की आवाज सुनकर एक उम्मीद जगी है।
उत्तरकाशी। टनल के अंदर यह पाइपलाइन राहत और बचाव अभियान में काफी मददगार साबित हो रही है। इसी पाइपलाइन के जरिए मजदूरों से कम्युनिकेशन स्थापित करने का काम भी लिया जा रहा है।
पहले टनल में फंसे मजदूर तक संदेश भेजने के लिए कागज पर लिखे संदेश की पर्ची पाइप लाइन के जरिए भेजी गई थी और अब ठीक हादसे वाले स्थल के पास से इस पाइपलाइन को खोलकर मजदूर तक संदेशों का आदान-प्रदान किया गया है।
उत्तरकाशी। एसपी अर्पण यदुवंशी ने कहा कि फंसे मजदूरों का बचाव अभियान जारी है। सभी एजेंसियां और तकनीकी विशेषज्ञ घटनास्थल पर पहुंच चुके हैं। 60 मीटर मलबे में से 20 मीटर से ज्यादा मलबा हटा दिया गया है। हमें उम्मीद है कि कल रात तक अंदर फंसे 40 लोगों को निकाल लिया जाएगा। सुरंग में फंसे लोगों को सभी बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही है। फंसे हुए लोगों के परिवार के सदस्यों से भी संपर्क किया गया है।
देहरादून। उत्तरकाशी टनल हादसे पर राज्य आपदा प्रबंधन सचिव रंजीत कुमार सिन्हा ने कहा कि प्रेशर के चलते सुरंग का हिस्सा ढहा है। हमारी प्राथमिकता मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकालना है। हम अंदर फंसे लोगों को भोजन-पानी, ऑक्सीजन मुहैया करा रहे हैं। कल रात तक या बुधवार सुबह तक लोगों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया जाएगा। सुरंग के अंदर फंसे लोगों से बातचीत हुई है उन्होंने कहा है कि वे सुरक्षित हैं और अंदर मलबे की क्या स्थिति है, अंदर की स्थिति क्या इसकी जानकारी उनके द्वारा दी गई है। देहरादून से तकनीकी टीम भी आई है।
उत्तरकाशी। सिलक्यारा टनल में रविवार की सुबह साढ़े पांच बजे शिफ्ट बदली करने के दौरान सुरंग में भूस्खलन हुआ। मुख्य द्वार से करीब 270 मीटर दूरी पर मलबा आने से सुरंग बंद हो गई। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पुलिस राहत-बाचव में जुटे हैं। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने घटनास्थल पर पहुंचकर राहत-बचाव कार्यों का जायजा लिया और कहा कि राहत-बचाव के सभी संभावित विकल्पों पर विचार किया जा रहा है।
देहरादून। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री, गृहमंत्री और रेलमंत्री ने भी इस संबंध में हमसे बात की है। प्रधानमंत्री ने बचाव और राहत कार्यों के संबंध में विस्तार से जानकारी लेते हुए प्रदेश सरकार को हरसंभव सहायता का आश्वासन दिया है।
उत्तरकाशी। एसडीआरएफ कमांडेंट मणिकांत मिश्रा ने सिलक्यारा सुरंग में चल रहे राहत और बचाव कार्यों की समीक्षा की।
उत्तरकाशी। राष्ट्रीय राजमार्ग और बुनियादी ढांचा विकास निगम लिमिटेड (एनएचआईडीसीएल) के अनुसार, सुरंग के अंदर फंसे मजदूरों के लिए पानी, भोजन, ऑक्सीजन और बिजली उपलब्ध है। सुरंग के अंदर खाने के छोटे-छोटे पैकेट भी डाल दिए गए हैं। टनल के अंदर सभी फंसे हुए श्रमिक सुरक्षित हैं।
Uttarkashi tunnel accident | Water, food, oxygen and electricity are available with the workforce trapped inside the runnel. Small food packets have also been pumped inside the tunnel. All stranded workers are safe: National Highway & Infrastructure Development Corporation… pic.twitter.com/mkGAHJFwG0
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) November 13, 2023
उत्तरकाशी। सुरंग में उत्तराखंड, झारखंड व बिहार के मजदूर फंसे हुए हैं। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पुलिस राहत-बचाव कार्य में जुटे हैं। राहत-बचाव का अपडेट लगातार प्रधानमंत्री कार्यालय को भेजा जा रहा है।
उत्तरकाशी। मुख्यमंत्री ने राहत और बचाव अभियान में जुटे अधिकारियों और विभिन्न एजेंसियों को परस्पर बेहतर समन्वय और तत्परता के साथ राहत व बचाव कार्य पूरी तेजी से चलाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि अभियान के लिए बाहर से जिस तरह की भी सामग्री और विशेषज्ञता की आवश्यकता होगी उसे सरकार शीघ्र उपलब्ध कराएगी ।
उत्तरकाशी। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि बचाव अभियान और मलबा हटाने का काम तेजी से चल रहा है। खाद्य सामग्री अंदर भेज दी गई है और हम विशेषज्ञों से बात कर रहे हैं। हमारी प्राथमिकता है सभी को सुरक्षित बचाए जाने की है।
उत्तरकाशी। मुख्यमंत्री ने कहा राहत और बचाव कार्यों के लिए सभी संभव विकल्पों पर विचार किया जा रहा है। बचाव कार्य के लिए बड़े व्यास के ह्यूम पाइप हरिद्वार और देहरादून से भेजे जाने की व्यवस्था कर दी गई है। मुख्यमंत्री ने भरोसा जताया कि ईश्वर की कृपा और बचाव अभियान में जुटी टीम के प्रयासों के चलते सुरंग के अंदर फंसे मजदूरों को जल्द सुरक्षित निकाल लिया जाएगा।
उत्तरकाशी। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सिल्कयारा पहुंच गए हैं। मुख्यमंत्री निर्माणाधीन टनल में हुए भू-धंसाव का निरीक्षण कर रहे। घटनास्थल पर पहुंचकर मुख्यमंत्री धामी ने अधिकारियों से बचाव कार्य फीडबैक लिया। रेस्क्यू ऑपरेशन के सफल संचालन एवं फंसे हुए श्रमिकों को जल्द से जल्द सकुशल बाहर निकालने के लिए वह स्वयं घटनास्थल पर अधिकारियों एवं बचाव दल के बीच मौजूद हुए।
उत्तरकाशी। मुख्यमंत्री धामी ने सिलक्यारा टनल में रेस्क्यू अभियान पर कहा कि पीएम ने हर संभव मदद का आश्वासन दिया है। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, अन्य एजेंसियां और विशेषज्ञ फंसे हुए 40 मजदूरों की जिदंगी बचाने के लिए काम कर रहे हैं। पीएम ने फंसे हुए लोगों के परिवारों को आश्वस्त किया है कि राज्य सरकार और प्रशासन उन्हें बचाने के लिए हर संभव प्रयास कर रहा है।
#WATCH | On operation rescue operation at Silkyara Tunnel on Uttarkashi-Yamnotri road, Uttarakhand CM PS Dhami says, "The PM has assured of all possible help. NDRF, SDRF, other agencies & experts are working to rescue the 40 stranded persons. We want to assure the families of… pic.twitter.com/UwMgX2eXK9
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) November 13, 2023
उत्तरकाशी। सुरंग में श्रमिकों को बाहर निकालने के लिए रात भर रेस्क्यू अभियान चला। श्रमिकों से वॉकी टॉकी के जरिये संपर्क जुड़ा है और वे सभी सुरक्षित हैं। मजदूरों ने खाने की मांग की है, जिन्हें पाइप के जरिए खाना भिजवाया जा रहा है। विक्टिम्स तक की दूरी 60 मीटर के करीब है।
उत्तरकाशी। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सिलक्यारा के पास अस्थाई हेलीपैड पर पहुंचे। वहां मौजूद अधिकारियों से रेस्क्यू अभियान की जानकारी ली। आयुक्त गढ़वाल मंडल विनय शंकर पांडे भी मुख्यमंत्री के साथ मौजूद हैं।
उत्तरकाशी। सिलक्यारा सुरंग में राहत और बचाव कार्य युद्धस्तर पर जारी है। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें मौके पर मौजूद हैं।
उत्तरकाशी। उत्तरकाशी टनल हादसे पर एनडीआरएफ के असिस्टेंट कमांडेंट करमवीर सिंह भंडारी ने कहा कि सुरंग के अंदर फंसे सभी 40 मजदूर सुरक्षित हैं। हमने उन्हें पानी और खाना भिजवा दिया गया है और लगातार बचाव कार्य जारी है। उन्होंने कहा कि मलबा होने के कारण हमें रेस्क्यू में थोड़ी दिक्कत हो रही है लेकिन हमारी टीम कोई कसर नहीं छोड़ रही है।
देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी थोड़ी देर में उत्तरकाशी के लिए रवाना होंगे। मुख्यमंत्री सुरंग में हुए भूस्खलन की घटना का स्थलीय निरीक्षण और राहत एवं बचाव की समीक्षा करेंगे।
उत्तरकाशी। सिलक्यारा सुरंग में फंसे श्रमिकों को 24 घंटे से अधिक का समय हो गया है। सुरंग में 40 श्रमिक फंसे हुए हैं। श्रमिकों को बाहर निकालने के लिए रात भर रेस्क्यू अभियान चला। फंसे श्रमिकों से वॉकी टॉकी के जरिये संपर्क जुड़ा है। श्रमिकों ने बताया कि वह सुरक्षित हैं तथा भोजन की मांग की है। शॉर्ट क्रिएटिंग मशीन के द्वारा कैविटी से गिर रहे मलबे को रोकने का प्रयास किया गया। लेकिन वह सफल नहीं हो पा रहा है।
उत्तरकाशी। टनल के अंदर यह पाइपलाइन राहत और बचाव अभियान में काफी मददगार साबित हो रही है। इसी पाइपलाइन के जरिए मजदूरों से कम्युनिकेशन स्थापित करने का काम भी लिया जा रहा है। पहले टनल में फंसे मजदूर तक संदेश भेजने के लिए कागज पर लिखे संदेश की पर्ची पाइप लाइन के जरिए भेजी गई थी और अब ठीक हादसे वाले स्थल के पास से इस पाइपलाइन को खोलकर मजदूर तक संदेशों का आदान-प्रदान किया गया है।
उत्तरकाशी। सिलक्यारा टनल में फंसे मजदूरों को निकालने के लिए मलबा हटाने का कार्य निरंतर जारी है, मलबा हटाने के लिए हैवी एक्सकैवेटर मशीनों को जुटाया गया है। फिलहाल सभी मजदूर सुरक्षित बताए जा रहे हैं । टनल में पानी की आपूर्ति के लिए बिछी पाइपलाइन के जरिए ऑक्सीजन की आपूर्ति की जा रही है। इसी पाइपलाइन के जरिए चना-चबैना के पैकेट कंप्रेसर के जरिए दबाव बनाकर टनल में फंसे मजदूरों तक भेजे गए हैं।