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    उत्तरकाशी में पहले हैम रेडियो स्टेशन की टेस्टिंग शुरू, आपदा में संचार में मददगार होगा

    भारत स्काउट गाइड ने उत्तरकाशी में पहले हैम रेडियो स्टेशन का परीक्षण शुरू कर दिया है। धराली आपदा में दूरसंचार सेवाओं के बाधित होने के बाद स्मार्ट कंट्रोल रूम में यह स्टेशन स्थापित किया गया है। गंगा घाटी में सोनगाड और तिहार के पास रिपीटर लगाने की योजना है। आपदा प्रबंधन अधिकारी ने बताया कि यह आपातकाल में सूचनाओं के आदान-प्रदान में सहायक होगा।

    By ajay kumar Edited By: Aysha Sheikh Updated: Tue, 26 Aug 2025 09:47 PM (IST)
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    उत्तरकाशी में पहले हैम रेडियो स्टेशन की टेस्टिंग शुरू

    जागरण संवाददाता, उत्तरकाशी। भारत स्काउट गाइड की ओर से उत्तरकाशी के पहले हैम रेडियो स्टेशन की टेस्टिंग शुरू कर दी गयी है। धराली आपदा के दौरान परंपरागत दूरसंचार सेवाओं के ठप होने से उपजी समस्याओं के बीच हैम रेडियो के महत्व को देखते हुए स्मार्ट कंट्रोल रूम में इसका स्टेशन लगाया गया है।

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    वहीं, गंगाघाटी में सोनगाड व तिहार के आसपास इसके रिपीटर स्थापित करने की योजना है। ‘दैनिक जागरण’ ने अपने 17 अगस्त के अंक में ‘आपदा में हैम रेडियो बन सकता है जीवन रक्षक’ शीर्षक से खबर प्रमुखता से प्रकाशित की थी। तब उत्तरकाशी में हैम रेडियो लाइसेंसधारी ओंकार बहुगुणा व शिक्षक मंगल सिंह पंवार ने भी आपदा के लिहाज से संवेदनशील उत्तरकाशी जिले में हैम रेडियो स्टेशन स्थापित किए जाने को जरूरी बताया था।

    उनका कहना था कि आपदा के दौरान परंपरागत दूरसंचार सुविधाएं, जिनमें मोबाइल, लैंडलाइन आदि शामिल हैं, ध्वस्त हो जाती हैं। ऐसे में सूचनाओं का आदान-प्रदान न होने से आपदा के कारण कटे क्षेत्र के बारे में जानकारी नही मिल पाती। जबकि, हैम रेडियो स्टेशन के जरिये कुछ खास रेडियो तरंगों का उपयोग कर बातचीत की जा सकती है।

    बताया कि पूर्व में इसे लेकर शासन-प्रशासन को अवगत कराया गया था, लेकिन जिले की गंगा व यमुना घाटी में इसकी स्थापना की कवायद ठंडे बस्ते में चली गई। इस बार धराली आपदा के बाद भारत स्काउट गाइड ने स्मार्ट कंट्रोल रूम में इसकी स्थापना की है।   जहां स्काउट गाइड से जुड़े शिक्षक व हैम रेडियो लाइसेंसधारी मंगल सिंह पंवार इसकी टेस्टिंग में जुटे हुए हैं।

    रविवार को उनकी टीम टकनौर पट्टी में इसके रिपीटर स्थापित करने के लिए भी रवाना हुई थी। उधर, जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी शार्दुल सिंह गुसाईं का कहना है कि हैम रेडियो स्टेशन स्थापित होता है तो निश्चित रूप से आपातकाल में यह सूचनाओं के आदान-प्रदान में कारगर साबित होगा।