Pithoragarh Tourism: ग्लेशियर को नजदीक से देखना है तो आईए पिथौरागढ़, लीजिए ट्रैकिंग का आनंद; विभाग ने की खास तैयारी
Pithoragarh Tourism ग्लेशियरों के मामले में बेहद समृद्ध उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले में इस वर्ष वृहद स्तर पर ग्लेशियर ट्रैकिंग होगी। पर्यटन विभाग ने इसके लिए तैयारियां शुरू कर दी हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आदि कैलाश यात्रा के बाद पर्यटन विभाग को इस बार जिले में भारी तादाद में पर्यटकों के पहुंचने की उम्मीद है। अप्रैल अंत से उच्च हिमालय में ग्रीष्मकालीन पर्यटन की शुरुआत हो जाएगी।

संवाद सहयोगी, पिथौरागढ़। ग्लेशियरों को नजदीक से देखना चाहते हैं तो तैयार रहिये। ग्लेशियरों के मामले में बेहद समृद्ध उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले में इस वर्ष वृहद स्तर पर ग्लेशियर ट्रैकिंग होगी। पर्यटन विभाग ने इसके लिए तैयारियां शुरू कर दी हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आदि कैलाश यात्रा के बाद पर्यटन विभाग को इस बार जिले में भारी तादाद में पर्यटकों के पहुंचने की उम्मीद है।
अप्रैल अंत से उच्च हिमालय में ग्रीष्मकालीन पर्यटन की शुरुआत हो जाएगी। इसी दौरान माइग्रेशन पर घाटियों पर आए ग्रामीणों के उच्च हिमालय में स्थित अपने मूल गांवों में लौट आने से क्षेत्र गुलजार हो जाएगा। पर्यटन विभाग ने ग्रीष्मकालीन पर्यटन का खाका खींचना शुरू कर दिया है।
ग्लेशियर ट्रेकिंग पर इस साल रहेगा फोकस
विभाग ने इस वर्ष ग्लेशियर ट्रैकिंग पर विशेष फोकस करने की योजना बनाई है। सीमांत तहसील धारचूला और मुनस्यारी के अंतर्गत आने वाले प्रमुख ग्लेशियर क्षेत्र मिलम, रालम, नामिक, पंचाचूली बेस कैंप तक पर्यटकों को ले जाया जाएगा। इस दौरान पर्यटकों को उच्च हिमालय के खूबसूरत पक्षियों के संसार के दर्शन भी कराए जाएंगे। पिथौरागढ़ जिला मुख्यालय से ग्लेशियर ट्रैकिंग पांच दिन में पूरी हो जाएगी। विभाग की इस योजना से ट्रैकिंग गाइड का कोर्स कर चुके युवाओं को रोजगार मिलेगा और उच्च हिमालय में होम स्टे योजना परवान चढ़ेगी।
हेली सेवा से मिलेगा लाभ
नैनी-सैनी एयरपोर्ट से देहरादून के लिए विमान सेवा शुरू हो गई है। दिल्ली के लिए भी जल्द सेवा शुरू हो जाने की उम्मीद है। अगले कुछ दिनों में हल्द्वानी से मुनस्यारी के लिए बहुत कम किराये में हेली सेवा शुरू होने जा रही है। हल्द्वानी से पिथौरागढ़ के लिए भी हवाई सेवा संचालित हो जाएगी। हवाई सेवा से पर्यटक बहुत कम समय में पिथौरागढ़ पहुंच सकेंगे। इससे पर्यटन कारोबार बढ़ेगा। पिछले वर्ष प्रधानमंत्री मोदी आदि कैलास और ऊं पर्वत दर्शन के लिए आए थे। इसके बाद बड़ी संख्या में पर्यटन आदि कैलाश पहुंचे थे।
पर्यटन अधिकारी ने कही ये बात
इस वर्ष ग्लेशियर ट्रैकिंग पर फोकस किया जा रहा है। ग्लेशियर ट्रैकिंग के लिए पर्यटन विभाग के माध्यम से देशभर में प्रचार-प्रसार भी किया जाएगा। इसके जरिये स्थानीय युवाओं के लिए रोजगार के अवसर सृजित होंगे। - कीर्ति आर्य, जिला पर्यटन अधिकारी
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