एक और जंगल कोटगाड़ी देवी को समर्पित
जाका, पिथौरागढ़ : जंगलों की सुरक्षा के सरकारी इंतजाम की खामी के चलते पिथौरागढ़ जिले के भुरमुनी गांव के ग्रामीणों ने भी अपना जंगल अब न्याय की देवी मानी जाने वाली कोटगाड़ी देवी को पांच वर्ष के लिए समर्पित कर दिया है। इस अवधि के बीच ग्रामीण जंगल से सूखी घास और सूखी लकड़ी ही बीन सकेंगे।
जिला मुख्यालय से मात्र तेरह किमी दूरी पर स्थित भुरमुनी गांव के बुरखड़ी जंगल में बांज के पेड़ों का अवैध कटान और वन सम्पदा की चोरी की घटनाएं काफी अधिक बढ़ गई थी। इस तरह की घटनाओं पर अंकुश नहीं लगने पर ग्रामीणों ने सरकारी कानूनों के स्थान पर आस्था पर विश्वास जताया। इस संबंध में वन पंचायत सरपंच खड़क सिंह खड़ायत की अध्यक्षता में एक बैठक हुई। जिसमें सर्व सम्मति से जंगल को पांच वर्षो के लिए न्याय की देवी कोकिला को समर्पित करने का निर्णय लिया गया।
बैठक में पूर्व प्रधान पवन सिंह खड़ायत, सुंदर सिंह धानिक, पंच दिलीप सिंह, महेन्द्र सिंह, नंदा सिंह, कमल सिंह, श्याम सिंह, प्रकाश राम, माहेश्वरी देवी, विमला देवी आदि ग्रामीण उपस्थित थे। उक्त निर्णय के बाद ग्रामीण ढोल नगाड़ों के साथ मंदिर में पहुंच कर जंगल देवी को समर्पित किया गया। ग्रामीणों का कहना है कि देवी को समर्पित वन पांच वषरें के बीच सुरक्षित रहेगा। वन को नुकसान पहुंचाने वालों को देवी दंडित करेगी।
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