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    नैनीताल जिले के रामगढ़ में विकसित हो रहा हॉर्टिकल्चर टूरिज्म, पर्यटकों को भा रहे सेब और आड़ू के बागान

    By Skand ShuklaEdited By:
    Updated: Wed, 10 Aug 2022 02:24 PM (IST)

    Ramgarh horticulture tourism नैनीताल जिले में फल पट्टी के रूप में प्रसिद्ध रामगढ़ क्षेत्र (Ramgarh) में हॉर्टिकल्चर टूरिज्म (horticulture tourism) तेजी से विकसित हो रहा है। बीते वर्ष दो एकड़ में बनाए गए सेब के बगीचे में करीब डेढ़ कुंतल उत्पादन हुआ। पर्यटक भी यहां खूब पहुंच रहे हैं।

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    रामगढ़ क्षेत्र विशेष आबोहवा के चलते सेब उत्पादन के लिए खासी पहचान रखता था।

    नरेश कुमार, नैनीताल : नैनीताल जिले में फल पट्टी के रूप में प्रसिद्ध रामगढ़ क्षेत्र (Ramgarh) में हॉर्टिकल्चर टूरिज्म (horticulture tourism) तेजी से विकसित हो रहा है। बीते वर्ष दो एकड़ में बनाए गए सेब के बगीचे में करीब डेढ़ कुंतल उत्पादन हुआ। पर्यटक भी यहां खूब पहुंच रहे हैं। जल्द नर्सरी परिसर में कैफे, व्यू प्वांइट और ट्रेनिंग सेंटर बनाने का कार्य शुरू कर दिया जाएगा।

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    रामगढ़ क्षेत्र विशेष आबोहवा के चलते सेब उत्पादन के लिए खासी पहचान रखता था। मौसमी बदलाव के चलते काश्तकारों ने अब रामगढ़ क्षेत्र में आड़ू उत्पादन शुरू कर दिया गया है। पिछले साल क्षेत्र में हॉटिकल्चर टूरिज्म की संभावनाओं को देखते हुए डीएम धीराज गर्ब्याल ने सेब की नर्सरी स्थापित करने की पहल शुरू की थी।

     उद्यान विभाग की भूमि पर रामगढ़ में दो एकड़ भूमि पर जिले की पहली हाईटेक नर्सरी खोली गई। पहले चरण में विभिन्न प्रजातियों के 2100 पौधे रोपे गए। अपर उद्यान अधिकारी संतोष कुमार ने बताया कि पहले वर्ष करीब डेढ़ कुंतल सेब का उत्पादन हुआ है।

    पर्यटन गतिविधियां भी होंगी शुरू

    डीएम बताया कि इस वर्ष बजट में सरकार की ओर से हॉटिकल्चर के लिए अतिरिक्त बजट तय किया है। रामगढ़ क्षेत्र ही नहीं सतबुंगा और अन्य क्षेत्रों में भी सेब के बागान विकसित करने को रोपण कर दिया गया है। रामगढ़ नर्सरी परिसर में पर्यटकों के लिए कैफे, व्यू प्वाइंट बनाया जाना भी प्रस्तावित है। जिसका निर्माण कार्य शुरू कर दिया गया है। अगले सीजन तक पर्यटक सेब बागान के बीच लुत्फ उठा पायेंगे।

    काश्तकारों के लिए बन रही नर्सरी

    पर्यटन गतिविधियों के साथ ही क्षेत्र के काश्तकारों की आर्थिकी को सशक्त करने की योजना है। जिसके लिए रामगढ़ में छह हजार पौधों की हाई टेक नर्सरी स्थापित की गई है। जिसमें विभिन्न प्रजातियों के सेब के पौधे तैयार किये गए है। उद्यान विभाग की ओर से काश्तकारों को विशेष प्रोत्साहन योजनाओं के तहत पौधे उपलब्ध कराये जायेंगे।

    ट्रेनिंग सेंटर में सीखेंगे काश्तकार

    डीएम ने बताया कि रामगढ़ में ट्रेनिंग सेंटर बनाया जाना भी प्रस्तावित है। जिसमें क्षेत्र के काश्तकारों को उन्नत किश्मों के सेब प्रजातियों के रोपण, छंटाई, तुड़ाई समेत अन्य प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षण कार्यक्रम के लिए हिमाचल प्रदेश के विशेषज्ञों को बुलाया जाएगा।