कुमाऊं के पद्मश्री डा. तितियाल को एम्स नई दिल्ली में बड़ी जिम्मेदारी
कुमाऊं के लिए एक और बड़ी उपलब्धि है। डा. जेएस तितियाल को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान नई दिल्ली (एम्स) के डा. राजेंद्र प्रसाद सेंटर फॉर आप्थलमिक साइंसेज के चीफ की अहम जिम्मेदारी मिली है। वह धारचूला क्षेत्र के दूरस्थ गांव तिदांग निवासी हैं।
जागरण संवाददाता, हल्द्वानी : कुमाऊं के लिए एक और बड़ी उपलब्धि है। डा. जेएस तितियाल को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान नई दिल्ली (एम्स) के डा. राजेंद्र प्रसाद सेंटर फॉर आप्थलमिक साइंसेज के चीफ की अहम जिम्मेदारी मिली है। वह धारचूला क्षेत्र के दूरस्थ गांव तिदांग निवासी हैं। कुमाऊं के लिए यह बड़ी उपलब्धि है।
चिकित्सा के क्षेत्र किया ये बड़ा काम
चिकित्सा क्षेत्र में डा. तितियाल का नाम देश-दुनिया में है। उन्होंने आंखों के इलाज से लेकर कॉर्निया ट्रांसप्लांट की नई विधि विकसित की है। करीब 10 साल पहले उन्होंने मृत व्यक्ति की आंख से लिए गए एक कॉर्निया को तीन अलग-अलग बीमारी से ग्रस्त लोगों की आंखों में ट्रांसप्लांट करने की विधि विकसित की थी। इस तरह की तमाम उपलब्धियों के लिए उन्हें भारत सरकार ने पद्मश्री सम्मान से नवाजा। साथ ही वह देश-दुनिया में तमाम महत्वपूर्ण पुरस्कार भी हासिल कर चुके हैं।
भाई एसटीएच में हैं एचओडी
डा. तितियाल ने कक्षा आठ तक की पढ़ाई अपने गांव के ही स्कूल से हासिल की। उन्होंने इसके बाद एमएस आप्थोमोलॉजी की पढ़ाई लखनऊ में पूरी की। राजकीय मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी में नेत्र रोग विभाग के विभागाध्यक्ष प्रो. जीएस तितियाल उनके भाई हैं। उन्होंने जागरण को बताया कि नेत्र रोग विभाग में यह महत्वपूर्ण पद माना जाता है। इस उपलब्धि के लिए उन्हें कुमाऊं के अलावा पूरी दुनिया से बधाई मिल रही है।