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भाजपा विधायक दीवान सिंह बिष्ट की बहू और बेटे भाजपा से निष्कासित nainital news

रामनगर में पार्टी समर्थित प्रत्याशी के खिलाफ चुनाव लडऩे पर भाजपा ने विधायक दीवान सिंह बिष्ट की बहू और बेटे का निष्कासन कर दिया है।

By Skand ShuklaEdited By: Published: Tue, 05 Nov 2019 10:24 AM (IST)Updated: Tue, 05 Nov 2019 10:24 AM (IST)
भाजपा विधायक दीवान सिंह बिष्ट की बहू और बेटे भाजपा से निष्कासित nainital news
भाजपा विधायक दीवान सिंह बिष्ट की बहू और बेटे भाजपा से निष्कासित nainital news

हल्द्वानी, जेएनएन : रामनगर में पार्टी समर्थित प्रत्याशी के खिलाफ चुनाव लडऩे पर भाजपा ने विधायक दीवान सिंह बिष्ट की बहू और बेटे का निष्कासन कर दिया है। कोटाबाग, बेतालघाट और लमगड़ा ब्लॉक में भी कार्रवाई हुई है।

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प्रदेश महामंत्री राजेंद्र बिष्ट द्वारा जारी सूची के मुताबिक विधायक बिष्ट की बहू श्वेता व उनके पति जगमोहन बिष्ट को इसलिए निष्कासित किया गया। क्योंकि वह भाजपा प्रत्याशी के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं। कोटाबाग में निर्दलीय प्रमुख का चुनाव लडऩे वाले भाजयुमो नेता रवि कन्याल को भी बाहर का रास्ता दिखाया गया। इसके अलावा बेतालघाट में संगठन उम्मीदवार के खिलाफ बहन को चुनाव लड़ाने पर सतीश नैनवाल व प्रमोद नैनवाल पर कार्रवाई हुई। लमगड़ा ब्लॉक में विक्रम बगड़वाल को भी पार्टी से निष्कासित किया गया। प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट के निर्देश पर कार्रवाई की गई।

बहू काे मना नहीं सके विधायक

ब्लॉक प्रमुख के चुनाव में नाम वापसी के अंतिम दिन तक न केवल भाजपा की बल्कि आम जनता की नजरें विधायक की पुत्रवधू श्वेता बिष्ट पर लगी थी। चर्चा थी कि वह अपना नामांकन वापस लेकर भाजपा प्रत्याशी को निर्विरोध चुने जाने का मौका देंगी या नहीं। भाजपा कार्यकर्ताओं को उम्मीद थी कि विधायक दीवान सिंह बिष्ट अपनी पुत्रवधू को मनाते हुए इस चुनाव को एकतरफा बनाने में अपना योगदान देंगे, लेकिन श्वेता बिष्ट ने नामांकन वापस न लेकर न केवल भाजपा को करारा झटका दिया। बल्कि यह संदेश भी दिया कि प्रतिष्ठा का सवाल बन चुके इस चुनाव में वह किसी से भी कम नहीं हैं। उन्होंने भाजपा के कई प्रतिनिधियों के साथ अपना बहुमत होने का दावा किया है। परिणाम चाहे किसी के पक्ष में जाए, लेकिन यह साफ हो गया कि इस चुनाव में विधायक अपने पुत्रवधू को मनाने में कामयाब नहीं रहे।

विधायक बिष्‍ट ने कहा मैं पार्टी के साथ हूं

इस चुनाव में जो भी विजेता बनेगा वह भाजपा का ही बनेगा। मगर अपने ही घर में हुई बगावत के ज्वालामुखी को विधायक बिष्ट शांत नहीं कर पाए। इस संदेश से भाजपा कार्यकर्ता खुद असमंजस में हैं। भाजपा के प्रदेश कोषाध्यक्ष एवं चुनाव प्रभारी अशीष कुमार गुप्ता एवं दर्जा राज्य मंत्री राजेश कुमार रामनगर में श्वेता बिष्ट को मनाने के लिए पहुंचे थे, मगर उनको भी बैरंग वापस लौटना पड़ा। उधर विधायक दीवान सिंह बिष्ट ने कहा है कि भले ही उनकी बहू चुनाव में खड़ी है लेकिन वह पूरी निष्ठा के साथ पार्टी के साथ खड़े रहेंगे। अब रोचक हो चुके इस चुनाव में दोनों ही पक्ष चुनाव में अपनी अपनी जीत का दावे कर रहे हैं।

जानिए क्‍या कहना है पार्टी पदाधिकािरयों का

दीवान सिंह बिष्ट, विधायक ने कहा कि मैंने श्वेता को समझाने का भरपूर प्रयास किया था, मगर जो लोग उसे चुनाव लड़ा रहे हैं उनके दबाव में उसने अपना नामांकन वापस नहीं लिया है। मैं ईमानदारी के साथ पार्टी के अधिकृत प्रत्याशी के साथ हूं। वहीं आशीष कुमार गुप्ता, प्रदेश कोषाध्यक्ष भाजपा एवं रामनगर प्रभारी ने बताया कि हम लोग श्वेता बिष्ट से बात करने के लिए गए थे, लेकिन उन्होंने अपनी जीत का दावा करते हुए नामांकन वापस लेने से इन्कार कर दिया इस लिए हमे वापस लौटना पड़ा।


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