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    त्रिवेंद्र सिंह रावत सीबीआई जांच के पक्ष में, कहा 'सरकारें झूठ बोलती हैं, सभी को सरकारी नौकरी मिलना संभव नहीं'

    Updated: Sat, 27 Sep 2025 07:30 PM (IST)

    हरिद्वार सांसद त्रिवेंद्र सिंह रावत ने पेपर लीक मामले में सीबीआई जांच का समर्थन किया है। उन्होंने कहा कि अगर सीबीआई जांच से युवाओं का विश्वास बहाल होता है तो सरकार को इसकी सिफारिश करनी चाहिए। रावत ने युवाओं से स्वरोजगार की दिशा में बढ़ने का आग्रह किया और सरकार से ऐसी नीतियां बनाने का आग्रह किया जो युवाओं को आत्मनिर्भर बनने के लिए प्रेरित करें।

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    पेपर लीक मामले में हरिद्वार सांसद त्रिवेंद्र सिंह रावत ने की सीबीआई जांच की पैरवी. File

    जागरण संवाददाताए हरिद्वार । उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की परीक्षा का पेपर लीक मामले में हरिद्वार के सांसद त्रिवेंद्र सिंह रावत ने मीडिया को दिए एक बयान में इस मामले की सीबीआई जांच की पैरवी की है।

    सांसद त्रिवेंद्र सिंह रावत पहले भी राज्य के बेरोजगार युवकों की मांगों के पक्ष में बयान दे चुके हैं। यूकेएसएसएससी की स्नातक स्तरीय परीक्षा का पेपर लीक मामले ने राज्य की राजनीति और युवाओं को झकझोर कर रख दिया है। एक ओर प्रदेश सरकार उच्च न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधीश की देखरेख में एसआइटी से मामले की तहकीकात करवा रही है, तो दूसरी ओर बेरोजगार युवा पारदर्शिता और न्याय की गारंटी के लिए सीबीआई जांच की मांग पर अड़े हुए हैं।

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    इसी परिप्रेक्ष्य में अब हरिद्वार से भाजपा सांसद एवं पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने बेरोजगार युवाओं का समर्थन करते हुए कहा कि यदि युवाओं का विश्वास सीबीआई जांच से बहाल होता है, तो इसमें कोई हर्ज नहीं, सरकार को इसकी संस्तुति कर देनी चाहिए।

    त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि बेरोजगार युवाओं में इस समय गहरा आक्रोश है और सरकार को उनके विश्वास को सुदृढ़ करने के लिए निर्णायक कदम उठाने चाहिए।

    उनका मानना है कि मुख्यमंत्री को स्वयं पहल कर सीबीआई जांच की घोषणा करनी चाहिए, ताकि युवाओं के मन में उठ रहे संदेह और अविश्वास का निवारण हो सके। सांसद त्रिवेंद्र सिंह रावत ने साथ ही यह भी कहा कि केवल सरकारी नौकरी को ही जीवन का लक्ष्य मान लेना उचित नहीं है।

    सरकारें झूठे आश्वासन देती हैं कि सबको रोजगार देंगे, जबकि यथार्थ यह है कि सभी को सरकारी नौकरी मिल पाना संभव नहीं। युवाओं को इस सच्चाई को समझना होगा और स्वरोजगार की दिशा में बढ़ना होगा। सरकार को भी ऐसी नीतियां गढ़नी चाहिए जो युवाओं को आत्मनिर्भर बनने और स्वावलंबन की ओर प्रेरित करें।