हरिद्वार से दिल्ली की यात्रा होगी सुगम, अर्धकुंभ से पहले 120 करोड़ में चमकेगा 80 किमी का राष्ट्रीय राजमार्ग
हरिद्वार में होने वाले अर्धकुंभ मेले के लिए 80 किलोमीटर के राष्ट्रीय राजमार्ग को 120 करोड़ रुपये की लागत से चमकाया जाएगा। इस परियोजना का उद्देश्य सड़क की गुणवत्ता में सुधार करना और तीर्थयात्रियों के लिए यात्रा को सुगम बनाना है। मरम्मत कार्य में सड़क की सतह को बेहतर बनाना और सुरक्षा उपायों को बढ़ाना शामिल है।

-अर्धकुंभ 2027 से पहले हाईवे को मिलेगी नई चमक
-हरिद्वार रुड़की दिल्ली हाईवे पर बढ़ चुका है वाहनों का दबाव
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जागरण संवाददाता, हरिद्वार। राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण ने रामपुर तिराहा (मुजफ्फरनगर) से हरिद्वार सर्वानंद घाट तक लगभग 80 किलोमीटर लंबे राष्ट्रीय राजमार्ग के ब्लैक टॉप कार्य को गति दे दी है। करीब 120 करोड़ रुपये की लागत से किए जा रहे इस महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट के तहत ब्लैक टॉप बिछाने का कार्य शुरू हो चुका है। पहले चरण में सर्विस लेन की मरम्मत एवं पुनर्निर्माण का कार्य तेजी से चल रहा है, जिसके बाद मुख्य मार्ग पर ब्लैक टॉप का कार्य शुरू होगा।
गौरतलब है कि इस हाईवे पर अंतिम बार ब्लैक टॉप कार्य लगभग चार वर्ष पूर्व किया गया था। निरंतर बढ़ते यातायात दबाव और भारी वाहनों की आवाजाही के कारण मार्ग के कई हिस्सों पर गड्ढे उभरने लगे थे, जिससे दुर्घटना की आशंका भी बनी रहती थी। इसी के मद्देनजर प्राधिकरण ने मार्ग को पूर्ण रूप से सुरक्षित एवं सुगम बनाने के लिए रिन्यूअल कार्य शुरू किया है।
इसी क्रम में इस हाईवे की सर्विस लेन, जो कई स्थानों पर जर्जर स्थिति हैं, उनको प्राथमिकता के आधार पर ठीक किया जा रहा है। पहले चरण में प्रेमनगर आश्रम से लेकर शंकराचार्य चौक के बीय का कार्य शुरू किया गया है। अधिकारियों के अनुसार, यह पूरा कार्य को पूरा करने में एक वर्ष का समय लगेगा, जबकि निर्धारित समयसीमा अक्टूबर 2026 तय की गई है। वर्षाकाल में कार्य गति मौसम की अनुकूलता पर निर्भर करेगी। कार्य के दौरान यातायात व्यवस्था प्रभावित न हो, इसके लिए एनएचएआइ ने यातायात पुलिस के साथ भी मंथन किया है।
योजना के अनुसार, कार्य आधे मार्ग पर चलता रहेगा और शेष आधे हिस्से से वाहनों का सुचारु आवागमन होगा। राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण रुड़की खंड के अधिशासी अभियंता अतुल शर्मा ने बताया कि बिटुमिन सड़क की सामान्य आयु चार से पांच वर्ष होती है। वर्ष 2021 में बने इस हाईवे पर यातायात दबाव अत्यधिक बढ़ चुका है, इसलिए अर्धकुंभ 2027 से पूर्व राजमार्ग को तैयार करना अनिवार्य है। उन्होंने कहा कि पूरा प्रोजेक्ट अर्धकुंभ की व्यवस्थाओं को ध्यान में रखते हुए तेज गति से आगे बढ़ाया जा रहा है।

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