बहते जल की सतह पर रखकर भी पैदा हो सकेगी है बिजली, जानिए कैसे
आइआइटी रुड़की के वैकल्पिक जल ऊर्जा केंद्र ने एक ऐसी टरबाइन बनाई है जिसे नहर व नदी में बहते हुए जल की सतह पर रखने से ही बिजली पैदा की जा सकेगी।
रुड़की, जेएनएन। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी) रुड़की के वैकल्पिक जल ऊर्जा केंद्र ने एक ऐसी टरबाइन बनाई है जिसे नहर व नदी में बहते हुए जल की सतह पर रखने से ही बिजली पैदा की जा सकेगी। साथ ही इस टरबाइन को पारंपरिक टरबाइन की तुलना में साइट पर लगाना भी अधिक आसान होगा।
संस्थान के वैकल्पिक जल ऊर्जा केंद्र के प्रोफेसर एवं प्रोजेक्ट के प्रिंसिपल इंवस्टीगेटर आरपी सैनी ने बताया कि पारंपरिक टरबाइन से ऊर्जा बनाने के लिए दो बातें जरूरी होती हैं। एक तो पानी कितना है और दूसरा पानी कितनी ऊंचाई से गिर रहा है। लेकिन, सरफेस हाइड्रो कायनेटिक टरबाइन की खासियत यह है कि इसे नहर व नदी में सतही जल पर रखकर भी बिजली पैदा की जा सकती है।
प्रो. सैनी ने बताया कि तीन चरणों में इस टरबाइन का परीक्षण किया गया। पहले कंप्यूटर पर, दूसरा मॉडल बनाकर लैब में और इसके बाद साइट पर जाकर। बताया कि अब इससे बिजली बनाने वाले जनरेटर को भी तैयार किया जा रहा है। यह जनरेटर भी कुछ खास विशेषता वाला होगा। बताया कि इस टेक्नोलॉजी के माध्यम से चौबीस घंटे बिजली बनाई जा सकती है। जबकि, सौर ऊर्जा के माध्यम से कुछ घंटे ही बिजली का उत्पादन किया जा सकता है।
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