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केदारनाथ आपदा में लापता हुए यात्रियों के नरकंकाल की होगी खोजबीन, पुलिस की दस टीम गठित

वर्ष 2013 की केदारनाथ आपदा में लापता हुए यात्रियों की खोजबीन के लिए पुलिस ने दस टीमों का गठन किया है। टीम में चमोली व पौड़ी जिलों से भी पुलिस व एसडीआरएफ के जवान शामिल किए गए हैं।

By Sumit KumarEdited By: Published: Tue, 15 Sep 2020 06:11 PM (IST)Updated: Tue, 15 Sep 2020 10:54 PM (IST)
केदारनाथ आपदा में लापता हुए यात्रियों के नरकंकाल की होगी खोजबीन, पुलिस की दस टीम गठित
केदारनाथ आपदा में लापता हुए यात्रियों के नरकंकाल की होगी खोजबीन, पुलिस की दस टीम गठित

देहरदून, जेएनएन। वर्ष 2013 की केदारनाथ आपदा में लापता हुए यात्रियों की खोजबीन के लिए पुलिस ने दस टीमों का गठन किया है। यह टीम चार दिनों तक केदारनाथ जाने वाले विभिन्न ट्रैक रूट, आस पास के क्षेत्र व ग्लेशियरों में नर कंकाल खोजने का कार्य करेगी। टीम में चमोली व पौड़ी जिलों से भी पुलिस व एसडीआरएफ के जवान शामिल किए गए हैं।

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दिल्ली निवासी अजय गौतम द्वारा नैनीताल हाईकोर्ट में रिट पिटीशन संख्या (पीआइएल) के अनुपालन में केदारनाथ आपदा में लापता हुए यात्रियों की खोजबीन को लेकर न्यायालय ने सरकार को केदारनाथ व इसके आस पास के संभावित क्षेत्रों में खोजबीन अभियान चलाकर नरकंकाल खोलने के निर्देश दिए हैं। न्यायालय के आदेश पर पूर्व के वर्षो में भी नरकंकाल खोलने का अभियान चलाया गया था। जिसमें 699 नरकंकाल अब तक मिल चुके हैं, अभी भी 3187 लापता चल रहे हैं। केदारनाथ आपदा में कुल 3886 यात्री लापता हुए थे। जो पुलिस रिकार्ड में हैं। नरकंकाल की खोजबीन के लिए जिला स्तर पर पुलिस अधीक्षक नवनीत सिंह भुल्लर ने 10 टीमें गठित की हैं। प्रत्येक टीम का नेतृत्व एक उपनिरीक्षक करेगा, जिसके साथ दो कांस्टेबल, दो कांस्टेबल एसडीआरएफ तथा एक फार्मेसिस्ट रखा गया है। पुलिस अधीक्षक भुल्लर ने बताया कि खोजबीन अभियान को सफल व सार्थक बनाने के लिए गूगल मैप का उपयोग किया जाएगा। मैप रीडिंग के लिए प्रत्येक टीम के साथ एसडीआरएफ कार्मिक नियुक्त हैं।

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यह टीमें केदारनाथ से वासुकीताल, गौरीकुंड से केदारनाथ मार्ग के आस-पास का क्षेत्र, कालीमठ से चैमासी होते हए रामबाड़ा, रामबाड़ा का ऊपरी क्षेत्र, जंगलचट्टी का ऊपरी क्षेत्र, केदारनाथ बेस कैम्प का ऊपरी क्षेत्र, केदारनाथ मंदिर के आसपास का क्षेत्र, गौरीकुंड से गोऊंमुखड़ा, केदारनाथ से चैराबाड़ी एवं आसपास का क्षेत्र, त्रियुगीनारायण से गरूड़चट्टी होते हुए केदारनाथ व गौरीकुंड से मुनकटिया का ऊपरी क्षेत्र होते हुए सोनप्रयाग में सर्च टीमें खोजबीन करेंगी। आपदा के बाद भी लगातार आपदा में लापता लोगों के मृत शरीर व नर कंकालों की ढूंढ खोज हेतु टीमें गठित कर सर्च अभियान चलाया गया था। जिसमें कुल 699 नरकंकाल मिले। जिनका पुलिस ने विधिवत डीएनए सैंपल लेने के बाद संबंधित धर्म के रीति-रिवाज के अनुसार उनका अंतिम संस्कार किया गया।

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