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..तो शिक्षकों-प्रधानाचार्यों को ही बजानी पड़ेगी घंटी, पढ़िए पूरी खबर

चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की कमी से जूझ रहे अशासकीय स्कूलों के शिक्षकों और प्रधानाचार्यों में रोष व्याप्त है। उनका कहना है कि अब भी कर्मचारियों की तैनाती नहीं की गई तो स्कूल की घंटी भी शिक्षकों-प्रधानाचार्यों को ही बजानी पड़ेगी।

By Sunil NegiEdited By: Published: Tue, 23 Feb 2021 05:18 PM (IST)Updated: Tue, 23 Feb 2021 05:18 PM (IST)
..तो शिक्षकों-प्रधानाचार्यों को ही बजानी पड़ेगी घंटी, पढ़िए पूरी खबर
चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की कमी से जूझ रहे अशासकीय स्कूलों के शिक्षकों और प्रधानाचार्यों में रोष व्याप्त है।

जागरण संवाददाता, देहरादून। चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की कमी से जूझ रहे अशासकीय स्कूलों के शिक्षकों और प्रधानाचार्यों में रोष व्याप्त है। उनका कहना है कि अब भी कर्मचारियों की तैनाती नहीं की गई तो 'स्कूल की घंटी भी शिक्षकों-प्रधानाचार्यों को ही बजानी पड़ेगी'। इस संबंध में शिक्षा निदेशक को पत्र प्रेषित कर जल्द से जल्द चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की भर्ती करने की मांग की गई है।

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उत्तरांचल प्रधानाचार्य परिषद की जिला इकाई ने सोमवार को डीएवी इंटर कॉलेज में बैठक कर अशासकीय स्कूलों की विभिन्न समस्याओं पर चर्चा की। परिषद के जिला अध्यक्ष डॉ. एके श्रीवास्तव ने कहा कि अशासकीय स्कूलों में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की भर्ती वर्षों से लंबित है। नियमित भर्ती पर शिक्षा विभाग ने रोक लगा दी थी। पिछले साल इन पदों पर पीआरडी के जरिये भर्ती की बात कही गई थी, लेकिन अब तक कोई कार्रवाई नहीं हो सकी है। हाल यह है कि एक कर्मचारी से पूरे स्कूल के काम लिए जा रहे हैं।

इनमें भी कई कर्मचारी अब सेवानिवृत होने वाले हैं। उन्होंने कहा कि यही नौबत रही तो आने वाले समय में 'शिक्षक- प्रधानाचार्यों को ही स्कूल की घंटी भी बजानी पड़ेगी'। बैठक में शिक्षकों की तदर्थ सेवाओं को डाउनग्रेड में जोडऩे और अर्हता पूरी कर रहे शिक्षकों को डाउनग्रेड प्रधानाचार्य पद का लाभ दिए जाने की मांग भी प्रमुखता से उठी। परिषद के प्रांतीय अध्यक्ष पीसी सुयाल ने कहा कि शिक्षा विभाग को राजकीय स्कूलों की भांति अशासकीय स्कूलों के सैनिटाइजेशन के लिए भी अनुदान देना चाहिए। उन्होंने कहा कि स्कूलों के पास आय का कोई जरिया नहीं होने के कारण लंबे समय तक सैनिटाइजेशन समेत अन्य खर्च वहन करना संभव नहीं हो सकेगा।

उधर, शिक्षा निदेशक आरके कुंवर ने कहा कि अशासकीय स्कूलों में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की भर्ती के आदेश जारी हो चुके हैं। बजट की कमी और पिछले साल स्कूल बंद होने के चलते भर्ती संभव नहीं हो सकी। अब नए वित्तीय वर्ष में ही भर्ती संभव हो सकेगी। बैठक का संचालन परिषद के जिला मंत्री अवतार सिंह चावला ने किया। इसके अलावा बैठक में जेपी जगूड़ी, प्रतिभा पाठक, धर्मी मिश्रा, उर्वशी, अर्चता गोयल, दिनेश चंद्र समेत अन्य लोग मौजूद रहे।

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