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जहरीली शराबकांड का एक और आरोपित मच्छर गिरफ्तार Dehradun News

पथरियापीर में जहरीली शराब कांड में विवेचना के दौरान सामने आए एक और शराब तस्कर को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। आरोपित की पहचान महेश उर्फ मच्छर के रूप में हुई।

By BhanuEdited By: Published: Wed, 25 Sep 2019 12:08 PM (IST)Updated: Wed, 25 Sep 2019 12:08 PM (IST)
जहरीली शराबकांड का एक और आरोपित मच्छर गिरफ्तार Dehradun News
जहरीली शराबकांड का एक और आरोपित मच्छर गिरफ्तार Dehradun News

देहरादून, जेएनएन। पथरियापीर में जहरीली शराब कांड में विवेचना के दौरान सामने आए एक और शराब तस्कर को पुलिस ने देर रात भगवानपुर के पास से गिरफ्तार कर लिया। आरोपित की पहचान महेश उर्फ मच्छर के रूप में हुई है। मच्छर पर शराब तस्करी के पांच मुकदमे दर्ज हैं। पुलिस मच्छर को भगवानपुर से लेकर देर रात देहरादून पहुंच गई। 

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बता दें, बीते गुरुवार और शुक्रवार को नगर कोतवाली क्षेत्र के पथरिया पीर बस्ती में जहरीली शराब पीने से छह लोगों की मौत हो गई थी और दस लोग बीमार हो गए थे। इस मामले में पथरिया पीर में शराब की अवैध तरीके से सप्लाई करने वाले गौरव सिंह और अजय सोनकर उर्फ घोंचू को पुलिस पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है। 

वहीं, पथरिया पीर बस्ती के लोगों के बयान में यह बात भी सामने आई थी कि इलाके में महेश उर्फ मच्छर नाम का शख्स भी शराब की सप्लाई करता है। पुलिस तभी से महेश की तलाश कर रही थी, लेकिन वह फरार हो गया था।

एसएसपी अरुण मोहन जोशी ने बताया कि मंगलवार देर शाम सूचना मिली कि महेश उर्फ मच्छर पुत्र गंगाराम निवासी नेशविला रोड बुलंदशहर से सहारनपुर आ रहा है। इस सूचना पर टीम को तत्काल रवाना किया गया और उसे मंगलवार देर रात ग्यारह बजे के करीब भगवानपुर के पास से गिरफ्तार कर लिया गया। मच्छर से पूछताछ की जा रही है। पूछताछ में और भी जिनके नाम सामने आएंगे उनकी भी गिरफ्तारी की जाएगी।

अवैध शराब की तस्करी पर सीधे नपेंगे थानेदार

मासिक अपराध समीक्षा बैठक में पथरियापीर कांड छाया रहा। एसएसपी अरुण मोहन जोशी ने कहा कि अब किसी थाना क्षेत्र में शराब की अवैध तस्करी या मिलावट किए जाने की बात सामने आती है तो सीधे थानेदार के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। पुलिस अवैध शराब के खिलाफ अभियान भी शुरू करेगी।

पुलिस लाइन के सम्मेलन कक्ष में रात दस बजे हुई बैठक की शुरुआत ही पथरिया पीर कांड से हुई। एसएसपी ने कहा कि पथरिया पीर कांड से सभी थानेदार सबक लें, यदि उनके क्षेत्र में शराब की अवैध तस्करी हो रही है तो उसका पता लगाकर सख्त कार्रवाई करें। इसमें शिथिलता किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं होगी। 

एसएसपी ने कहा कि एक महीने के लिए अवैध शराब के खिलाफ अभियान शुरू किया जा रहा है, जिसमें इलाके शराब तस्करों की पहचान कर उनके विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी। इसके साथ ही पूर्व में पकड़े गए शराब तस्करों का अलग से डोजियर बनाते हुए उनका सत्यापन करने का भी निर्देश दिया। 

इसके साथ ही पुलिस ने रात के समय शहर के बाहर जाने वाले वाहनों की गंभीरता से चेकिंग करने, लंबित विवेचनाओं को तय समय सीमा में निस्तारित करने आदि के संबंध में कार्रवाई करने को कहा। बैठक में एसपी सिटी श्वेता चौबे, एसपी देहात प्रमेंद्र डोबाल व अन्य अधिकारी व थानेदार मौजूद रहे।

एमवी एक्ट के साथ विधिक कार्रवाई भी

यातायात नियमों का उल्लंघन करने वाले, खास कर बगैर हेलमेट बाइक पर चलने वाले पुलिसकर्मियों को चेतावनी देते हुए एसएसपी ने कहा कि ऐसा पाए जाने पर उनके खिलाफ एमवी एक्ट के तहत कार्रवाई करने के साथ विधिक कार्रवाई भी की जाएगी।

साइबर क्राइम पीड़ितों को न दौड़ाएं

एसएसपी ने कहा कि अक्सर देखने में आता है कि साइबर क्राइम की शिकायत आने पर पीड़ित को साइबर सेल या साइबर थाने भेज दिया जाता है। अब से वह ऐसा नहीं करेंगे। शिकायतकर्ता के आने पर उसकी पूरी बात सुनेंगे और उसे प्रार्थना पत्र की रिसीविंग भी देंगे। इसके बाद इस मामले में उन्हें जिस तरह की सहयोग की जरूरत पड़ेगी उसे वह साइबर सेल से ले सकेंगे। 

अवैध शराब के धंधे पर जुर्माने में 100 फीसद से ज्यादा बढ़ोतरी

पहले रुड़की और अब देहरादून के पथरियापीर में हुए जहरीली शराब कांड ने राज्य सरकार की पेशानी पर बल डाल दिए हैं। इसे देखते हुए सरकार अब अवैध शराब के कारोबार पर अंकुश लगाने को सख्त कदम उठाने जा रही है। इसके तहत आबकारी एक्ट में जुर्माने की दरों में सौ फीसद से ज्यादा की बढ़ोतरी के साथ ही जहरीली शराब बेचने पर सजा के रूप में उम्रकैद के प्रावधान की तैयारी है। इसका मसौदा तैयार किया जा रहा है। सरकार की कोशिश है कि आबकारी एक्ट में ऐसे प्रावधान किए जाएं, जिससे अवैध शराब का धंधा करने वालों के मन में भय पैदा हो और वे इससे तौबा कर लें।

रुड़की के झबरेड़ा क्षेत्र के पांच गांवों में इसी साल फरवरी में जहरीली शराब पीने से 36 लोगों की मौत हो गई थी। अब देहरादून शहर के मध्य में पथरियापीर इलाके में जहरीली शराब से छह लोगों को जान गंवानी पड़ी है। ऐसे में अंदाजा लगाया जा सकता है कि अवैध शराब के कारोबारियों ने किस तरह से राज्यभर में अपना जाल फैलाया हुआ है। 

देहरादून में हुए जहरीली शराब कांड ने तो सरकार के साथ ही हर किसी को झकझोर कर रख दिया। शहर के बीचों बीच बेखौफ हो ये धंधा चल रहा था और किसी को भनक तक नहीं लग पाई। इससे ये बात भी साफ हुई कि जहरीली शराब के रूप में मौत के सौदागरों पर सिस्टम का कोई भय नहीं रह गया है। इस सबको देखते हुए सरकार अब कड़े कदम उठाने जा रही है। 

मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने अवैध शराब के कारोबार पर अंकुश लगाने के मद्देनजर आबकारी एक्ट में बदलाव के भी निर्देश दिए थे, ताकि अपराधियों में खौफ पैदा हो। इस कड़ी में शासन ने अब कवायद शुरू कर दी है। सूत्रों के मुताबिक इसके लिए आबकारी एक्ट में बदलाव के मद्देनजर गहनता से कसरत चल रही है। इसके तहत जुर्माने की दरों में सौ फीसद से ज्यादा की बढ़ोतरी का प्रस्ताव किया जा रहा है।

असल में अभी तक जुर्माना कम होने के कारण अपराधी एक बार पकड़े जाने के बाद छूट जाते थे। इसी के चलते जुर्माने की दरों में भारी वृद्धि प्रस्तावित है। ये भी प्रावधान किया जा रहा है कि जहरीली शराब बेचने पर उम्रकैद की सजा हो। इसके साथ ही अन्य विकल्पों पर भी मंथन चल रहा है। 

उधर, प्रमुख सचिव आनंदवर्द्धन ने बताया कि अवैध शराब पर अंकुश लगाने के लिए एक्ट में क्या-क्या प्रावधान किए जा सकते हैं, इसे लेकर परीक्षण किया जा रहा है।

शराब की होम डिलीवरी का कॉकस तोड़ना चुनौती

पथरिया पीर में जहरीली शराब से हुई मौतों के लिए सीधे तौर पर जिम्मेदार माने जा रहे घोंचू और गौरव की गिरफ्तारी से पुलिस चार दिन से हो रही किरकिरी से बच तो गई। अब इन जैसे माफिया के शराब की होम डिलीवरी करने का जो नेटवर्क शहर में वर्षों से चला आ रहा है, उसे तोड़ना नामुमकिन भले न हो, पर मुश्किल जरूर है। 

हालांकि एसएसपी अरुण मोहन जोशी ने साफ कर दिया है कि पथरिया पीर की घटना की छानबीन में शराब तस्करों के जितने भी पैंतरे सामने आ रहे हैं, उनका ऐसा तोड़ निकालने की कोशिश की जा रही है कि भविष्य में फिर कोई इस तरह की हिमाकत न कर सके। 

पथरिया पीर शराब कांड में सबसे अधिक चौंकाने वाली यही है कि यहां लोगों को 24 घंटे और हफ्ते के सातों दिन शराब घर पर ही मिल जाती थी। यहां तक कि पैसे न होने पर तस्कर उन्हें उधार भी दे देते थे, जिसकी वसूली वह बाद में करते थे। ऐसा इसलिए कि उनका ग्राहक उनसे जुड़ा रहे। 

मोटे मुनाफे से जुड़े इस अवैध धंधे में हाल के वर्षों में अजय सोनकर उर्फ घोंचू, गौरव सिंह और राजू उर्फ राजा नेगी जैसे दर्जनों माफिया तैयार हो गए। इससे माफिया और उनके गुर्गों के बीच कम्पटीशन बढ़ा तो शराब के शौकीनों को आकर्षित करने और उन्हें बांधे रखने के नए-नए पैंतरे आजमाए जाने लगे। इसमें सबसे कारगर रहा, शराब की होम डिलीवरी का। पीने वाले भी खुश थे, अब उन्हें सुबह या शाम या फिर रात हर समय शराब उपलब्ध होने लगी। 

यहां तक ड्राई डे के दिन भी यहां जाम लड़ाने का सिलसिला चलता रहता। इस धंधे में शराब तस्करों ने लोगों की जान की परवाह किए बगैर तस्करों ने खूब मलाई काटी। पथरिया पीर की घटना से पहले तक पुलिस भी आंखें मूंदे रखीं, जिससे शराब तस्करों का हौसला बढ़ता गया और नतीजा छह मौतों के रूप में सामने आया।

घोंचू के मोबाइल की सीडीआर भी जांच के दायरे में

घोंचू को राजनैतिक संरक्षण मिलने के लग रहे आरोपों पर भी पुलिस के तेवर सख्त हो गए हैं। वहीं, दो दिन तक पुलिस की नजर से बचे रहने को लेकर भी पुलिस हतप्रभ है कि आखिर वह पुलिस से बचता कैसे रहा। इसका पता लगाने के लिए पुलिस घोंचू और गौरव के मोबाइल नंबरों की कॉल डिटेल रिकार्ड भी मंगाई जा  रही है, ताकि यह पता चल सके कि उसका नेटवर्क कहां तक फैला था और कौन लोग उसे शह दे रहे थे।

खबरी तैयार करने में जुटी पुलिस

शराब के अवैध धंधे की तह तक जाने में जुटी पुलिस अब बस्तियों से लेकर पूरे शहर में नेटवर्क तैयार करने में जुट गई है। एसएसपी ने बताया कि इसके लिए रेडियो और डुग्गी-मुनादी के जरिये लोगों को शराब के सेवन के प्रति जागरूक करने के साथ, उन्हें इस बात के लिए तैयार किया जाएगा कि उनके आसपास कहीं भी शराब का अवैध कारोबार चल रहा हो तो तुरंत पुलिस कंट्रोल रूम के डायल 112 पर सूचना दें। जानकारी देने वालों के नाम पूरी तरह गोपनीय रखे जाएंगे। 

राजा की तलाश में ताबड़तोड़ छापे

पथरिया पीर शराब कांड के बाद सामने आए राजू उर्फ राजा नेगी की तलाश में मंगलवार को पुलिस ने आधा दर्जन से अधिक स्थानों पर छापे मारे, लेकिन उसका कुछ पता नहीं चल रहा है। वहीं, पुलिस की विवेचना में जो नए लोग सामने आ रहे हैं, उनकी भी कुंडली खंगाली जा रही है। 

पुलिस की मिलीभगत की भी हो रही जांच

जानकारों की मानें तो अवैध शराब का धंधा, जुआ और सट्टे का कारोबार बगैर पुलिस की मिलीभगत के चल ही नहीं सकता। इस बात में इसलिए भी दम है कि पथरिया पीर के लोगों का कहना है कि इलाके में अक्सर दो पुलिसकर्मी आते-जाते थे और उन्हें शराब के धंधे के बारे में जानकारी थी। इसे देखते हुए अब कोतवाली क्षेत्र में तैनात रहे पुलिस कर्मियों की भी कुंडली खंगाली जा रही है। 

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शराब के अवैध धंधे पर कसेंगे शिकंजा 

देहरादून के एसएसपी अरुण मोहन जोशी के मुताबिक, पथरिया पीर शराब कांड के हर पहलू पर गौर किया जा रहा है। घोंचू और गौरव के मोबाइल की सीडीआर निकलवाई जा रही है। इसमें जिसकी भी संलिप्तता होगी, उसके विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाएगी। चाहे जितनी बड़ी चुनौती क्यों न हो, शराब के अवैध धंधे पर हर हाल में शिकंजा कसा जाएगा।

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