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    Mahasamar 2024: चुनाव आयोग को उत्‍तराखंड के इन चार मतदाताओं की भी पूरी चिंता, बनाया अलग मतदान केंद्र

    Mahasamar 2024 देहरादून वर्ष 2008 में कांग्रेस के कद्दावर नेता सीपी जोशी महज एक वोट से हार के चलते राजस्थान के मुख्यमंत्री बनते-बनते रह गए थे। ये सियासी घटनाक्रम वोट की ताकत बताने के लिए काफी हैं। इसी कड़ी में आयोग ने पौड़ी जिले के यमकेश्वर ब्लाक स्थित लालढांग कस्बे में सिर्फ चार मतदाताओं के लिए अलग मतदेय स्थल बनाया है।

    By Jagran News Edited By: Nirmala Bohra Updated: Sat, 23 Mar 2024 02:55 PM (IST)
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    Mahasamar 2024: कोटद्वार के ढिकाला मतदेय स्थल में सिर्फ 10 लोग मतदान करेंगे।

    विजय मिश्रा l Mahasamar 2024: देहरादून वर्ष 2008 में कांग्रेस के कद्दावर नेता सीपी जोशी महज एक वोट से हार के चलते राजस्थान के मुख्यमंत्री बनते-बनते रह गए थे। नाथद्वारा विधानसभा क्षेत्र से चुनाव मैदान में उतरे जोशी को भाजपा के कल्याण सिंह ने शिकस्त दी थी। ऐसी ही हार का शिकार वर्ष 2007 के उत्तराखंड विस चुनाव में सुबोध उनियाल भी हुए। नरेंद्रनगर सीट से तब कांग्रेस से चुनाव मैदान में उतरे सुबोध महज चार वोट से हार गए थे। ये सियासी घटनाक्रम वोट की ताकत बताने के लिए काफी हैं।

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    इसी के मद्देनजर निर्वाचन आयोग भरसक प्रयास कर रहा है कि आगामी लोकसभा चुनाव में एक भी मतदाता मतदान से वंचित न रहने पाए। इसी कड़ी में आयोग ने पौड़ी जिले के यमकेश्वर ब्लाक स्थित लालढांग कस्बे में सिर्फ चार मतदाताओं के लिए अलग मतदेय स्थल बनाया है। इसी तरह कोटद्वार के ढिकाला मतदेय स्थल में सिर्फ 10 लोग मतदान करेंगे।

    वैसे तो उत्तराखंड का मत प्रतिशत चुनाव-दर-चुनाव बढ़ रहा है, लेकिन तुलना राष्ट्रीय औसत से करें तो राज्य गठन के बाद से अब तक हुए चुनावों में हम पीछे ही रहे। यही कारण है कि इस बार मतदान का लक्ष्य 75 प्रतिशत रखा गया है। इसके लिए आयोग हर वो कदम उठा रहा है, जिससे अधिक से अधिक मतदाताओं को मतदान स्थल तक लाया जा सके।

    मतदान स्थलों पर सबसे अधिक शिकायत जनसुविधाओं को लेकर होती हैं। इसी को ध्यान में रख आयोग की ओर से मतदाताओं की सुविधा के लिए शत प्रतिशत मतदान स्थलों पर पेयजल, शौचालय, शेड, रैंप व फर्नीचर की व्यवस्था की जा रही है। इस बात का भी ध्यान रखा गया है कि मतदाताओं को मतदान स्थल तक पहुंचने के लिए कम से कम दूरी नापनी पड़े।

    इसके लिए आयोग ने राज्य में एक दर्जन ऐसे मतदेय स्थल बनाए हैं, जहां 100 से भी कम मतदाता हैं। बात सबसे अधिक मतदाता वाले मतदेय स्थल की करें तो वह नकरौंदा है, जहां 1,482 मतदाता लोकतंत्र के यज्ञ में आहुति देंगे। यह मतदेय स्थल देहरादून जिले के डोईवाला क्षेत्र में स्थित है।

    इन मतदेय स्थलों पर सर्वाधिक मतदाता

    • टिहरी-गढ़वाल
    • नैनीताल-यूएसनगर
    • नकरौंदा (देहरादून)
    • चौल्ली सहाबुद्दीनपुर (हरिद्वार)
    • पीरूमदारा (नैनीताल)
    • पंगरियाणा (टिहरी)
    • लालढांग (पौड़ी)
    • ढिकाला (कोटद्वार)
    • कोटकेंद्री (चंपावत)
    • पठोईगांव (टिहरी)
    • रैल (केदारनाथ)
    • पुजारगांव (यमुनोत्री)
    • चंद्रपुरी (रुड़की)
    • पैका (बदरीनाथ)
    • धामिच (चकराता)
    • हाथीखाल (लालकुआं)
    • संतरापोखरी (पिथौरागढ़)
    • कटोजिया गुंठ (अल्मोड़ा)