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    अब सफर के दौरान बसें रहेंगी हमेशा तीसरी आंख की नजर में, 700 बसों में लगेंगे जीपीएस

    By Sunil NegiEdited By:
    Updated: Wed, 20 Oct 2021 09:09 AM (IST)

    उत्‍तराखंड परिवहन निगम की 700 बसों में जीपीएस सिस्‍टम लगाया जा रहा है। इससे सफर के दौरान ये बसें हमेशा तीसरी आंख की नजर में रहेंगी। इसके लिए प्रति बस ...और पढ़ें

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    परिवहन निगम की बसें अब सफर के दौरान हमेशा तीसरी आंख की नजर में रहेंगी।

    राज्य ब्यूरो, देहरादून। परिवहन निगम की बसें अब सफर के दौरान हमेशा तीसरी आंख की नजर में रहेंगी। इसके लिए अब परिवहन निगम की 700 बसों में जीपीएस लगाया जा रहा है। सड़क सुरक्षा कोष से इसके लिए प्रति बस आठ हजार रुपये के हिसाब से 56 लाख रुपये मंजूर किए गए हैं।

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    परिवहन निगम की बसों में सुरक्षित सफर और बसों के संचालन पर नजर रखने के लिए जीपीएस लगाने की प्रक्रिया यूं तो काफी पहले से शुरू हो गई थी और इस कड़ी में परिवहन निगम ने देहरादून से लखनऊ जाने वाली बस सेवा में जीपीएस लगाया था। हालांकि, कुछ समय बाद यह व्यवस्था बंद कर दी गई। दरअसल, परिवहन निगम को यह शिकायत मिल रही थी कि बसें कई बार आफ रूट, यानी निर्धारित मार्ग के स्थान पर दूसरे स्थानों पर चल रही हैं। सवारी कम होने की स्थिति में निगम की बसें पूरा फेरा भी नहीं ले रही थीं। इससे निगम की आय पर काफी असर पड़ रहा था। इतना ही नहीं, कई बसों के आने-जाने के समय में भी खासा अंतर देखने को मिल रहा था।

    ये भी शिकायतें आई कि निगम की बसें निर्धारित स्थानों पर नहीं रुक रही हैं। कई बार कई महत्वपूर्ण स्टेशनों पर बसें नहीं जा रही हैं। इसका सीधा असर परिवहन निगम की छवि और उसकी आय पर पड़ा। इसे देखते हुए परिवहन निगम की बसों में जीपीएस लगाने की बात कही गई। इसी वर्ष निगम के निदेशक मंडल की बैठक में भी बसों में जीपीएस लगाने पर बात हुई थी, मगर रोडवेज की आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण यह योजना परवान नहीं चढ़ पाई। ऐसे में परिवहन निगम ने सड़क सुरक्षा कोष से परिवहन निगम की बसों में जीपीएस लगाने का अनुरोध किया।

    मुख्य सचिव एसएस संधु की अध्यक्षता में हुई सड़क सुरक्षा कोष समिति की बैठक में बसों में जीपीएस लगाने को मंजूरी प्रदान की गई। इसके लिए 56 लाख रुपये भी स्वीकृत किए गए हैं। बसों पर नजर रखने के लिए परिवहन विभाग में कमांड एंड कंट्रोल रूम भी स्थापित किया जा रहा है। इसका लिंक परिवहन निगम के साथ साझा किया जाएगा, ताकि निगम मुख्यालय से भी इन बसों पर सीधी नजर रखी जा सके। सचिव परिवहन डा रणजीत सिन्हा ने परिवहन निगम को इस कार्य को शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश दिए हैं।

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