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'जेड' रेटिंग के जरिये ग्लोबल कारोबार का मौका, पढ़िए पूरी खबर

एमएसएमई के उद्यमियों को जेड रेटिंग से जोड़कर ग्लोबल स्तर पर अपना कारोबार चमकाने का मौका दिया जा रहा है।

By Raksha PanthariEdited By: Published: Sat, 23 Mar 2019 02:42 PM (IST)Updated: Sat, 23 Mar 2019 08:49 PM (IST)
'जेड' रेटिंग के जरिये ग्लोबल कारोबार का मौका, पढ़िए पूरी खबर
'जेड' रेटिंग के जरिये ग्लोबल कारोबार का मौका, पढ़िए पूरी खबर

देहरादून, अशोक केडियाल। उद्योग मंत्रालय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यमिता (एमएसएमई) के उद्यमियों को 'जेड' रेटिंग से जोड़कर ग्लोबल स्तर पर अपना कारोबार चमकाने का मौका दे रहा है। वर्ष 2017-18 से प्रारंभ इस योजना को प्रदेश उद्योग निदेशालय अभियान के रूप में चला रहा है। साथ ही उद्यमियों से अपने उत्पाद की गुणवत्ता अंतरराष्ट्रीय स्तर की रखने के साथ-साथ पर्यावरण सुरक्षा का भी विशेष ध्यान देने पर जोर दे रहा है। क्योंकि जेड रेटिंग से जुड़ने के बाद उद्यमियों को इसके दूरगामी लाभ मिलेंगे।   

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वर्ष 2017-18 में इंडस्ट्री एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड, इंडियन इंडस्ट्री एसोसिएशन व उत्तराखंड इंडस्ट्री वेलफेयर एसोसिएशन अपने-अपने स्तर पर राज्य से उद्योगों को जेड रेटिंग से जुडऩे को लेकर प्रोत्साहित कर रहे हैं। अभी तक देश में जेड रेटिंग से कुल 122 उद्योग जुड़े हैं लेकिन आशा है कि भविष्य में इसे और उद्योग भी अपनाने के लिए आगे आएंगे। 

उत्तराखंड इंडस्ट्री वेलफेयर एसोसिएशन के अध्यक्ष अनिल मारवाह ने कहा कि राज्य सरकार को जेड रेटिंग प्रक्रिया को और अधिक सरल बनाना चाहिए ताकि छोटे उद्योग भी इसे अपनाने में रूचि लें। राज्य उद्योग निदेशालय को जेड रेटिंग के प्रचार के लिए विशेष अभियान चलाना चाहिए।       

जेड से जुड़े उद्योगों को लाभ 

- ऋण मिलने में सुविधा 

- विश्वसनीय वेंडर डेटाबेस 

- उच्च गुणवत्ता, रिजेक्शन में कमी और अधिक राजस्व 

-वैश्विक प्रतिस्पर्धा में तेजी 

- पर्यावरण पर नकारात्मक प्रभाव को कम करना 

- सर्वोच्च संस्थाओं के साथ समन्वय 

- उत्पादों को एक पहचान मिलेगी 

यह है 'जेड' का अर्थ 

'जेड' यानि 'जीरो डिफेक्ट, जीरो इफेक्ट' केंद्र सरकार की मेक इन इंडिया के मुहिम का हिस्सा है। इसका उद्देश्य भारत को दुनिया का औद्योगिक उत्पादों का हब बनाना है। 'जेड' सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यमिता संस्थान (एमएसएमई) के लिए रेटिंग सिस्टम है। जो उत्पादन, डिजाइन, क्वालिटी, सुरक्षा, स्वच्छता और पर्यावरण जैसे 50 परिभाषित मानकों पर उद्योगों का मूल्यांकन करके इन्हें रेटिंग प्रदान करेगा। 'जेड' रेटिंग सिस्टम की बुनियाद तो देशी है लेकिन इसका प्रारूप अंतरराष्ट्रीय है। क्वालिटी काउंसिल ऑफ इंडिया इसकी नेशनल मॉनीटरिंग यूनिट के रूप में काम करती है। 

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