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45 फीसद अंकों पर इंजीनियरिंग में मिलेगा सीधे प्रवेश, पढ़ि‍ए पूरी खबर

12वीं विज्ञान वर्ग में 45 फीसद से अधिक अंक प्राप्त करने वाले छात्र-छात्राएं यूटीयू से संबद्ध किसी भी राजकीय व निजी इंजीनियरिंग कॉलेजों में सीधे प्रवेश ले सकते हैं।

By Sunil NegiEdited By: Published: Wed, 21 Aug 2019 06:29 PM (IST)Updated: Wed, 21 Aug 2019 06:29 PM (IST)
45 फीसद अंकों पर इंजीनियरिंग में मिलेगा सीधे प्रवेश, पढ़ि‍ए पूरी खबर
45 फीसद अंकों पर इंजीनियरिंग में मिलेगा सीधे प्रवेश, पढ़ि‍ए पूरी खबर

देहरादून, अशोक केडियाल। 12वीं विज्ञान वर्ग में 45 फीसद से अधिक अंक प्राप्त करने वाले छात्र-छात्राएं उत्तराखंड तकनीकी विवि (यूटीयू) से संबद्ध किसी भी राजकीय व निजी इंजीनियरिंग कॉलेजों में सीधे प्रवेश ले सकते हैं। प्रदेश के 100 से अधिक राजकीय, निजी व सहायता प्राप्त इंजीनियरिंग कॉलेजों में दो राउंड की काउंसिलिंग के बाद रिक्त पड़ी हजारों सीटों के लिए स्पॉट काउंसिलिंग प्रारंभ हो गई है। यूटीयू के कुलपति ने इस आशय का पत्र विवि से संबद्ध संस्थानों को जारी कर 31 अगस्त से पहले स्पॉट काउंसिलिंग पूरी करने के आदेश दिए हैं।

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बता दें कि प्रदेश के निजी इंजीनियरिंग कॉलेज को बीटेक जेईई मेन के तहत आवंटित 5491 सीटों में से लिए महज 359 दाखिले हुए। छात्रों का बेहतर रुझान केवल तीन राजकीय इंजीनियरिंग कॉलेज घुड़दौड़ी (पौड़ी) व दो पंतनगर संस्थान में ही देखा गया। इसके अलावा पांच सरकारी व 24 निजी इंजीनियरिंग कॉलेजों में 98 फीसद तक सीटें खाली पड़ी हैं। काउंसिलिंग प्रक्रिया पूरी होने के बाद यूटीयू के जो आंकड़े सामने आए हैं, उनके अनुसार बीटेक की 8098 सीटों में से 6238 सीटें खाली रह गई हैं। यूटीयू के कुलपति के निर्देश पर काउंसिंलिंग प्रक्रिया के नोडल अधिकारी ने रिपोर्ट तैयार कर स्पॉट काउंसिलिंग शुरू करने की शासन से अनुमति मांगी। प्रदेशभर में नौ राजकीय इंजीनियरिंग कॉलेज में 2607 सीटें निर्धारित हैं। जबकि 24 निजी इंजीनियरिंग कॉलेजों में 5491 सीटें हैं। इन सभी सीटों में हर वर्ष काउंसिलिंग के आधार पर सीटें भरी जाती हैं। पहले तीन राउंड काउंसिलिंग का प्रावधान था, लेकिन इस वर्ष से काउंसिलिंग के दो ही राउंड ही आयोजित हो रहे हैं।

काउंसिलिंग में छात्रों की कम संख्या की मुख्य वजह इस बार तकनीकी विवि की बीटेक काउंसिलिंग एक माह देर से शुरू हुई। काउंसिलिंग ज्वाइंट एंट्रेंस एग्जामिनेशन (जेईई) मेन के स्कोर के आधार पर की गई। इसके अलावा तकनीकी विवि से संबद्ध प्राइवेट इंजीनियरिंग कॉलेजों में भी जेईई मेन रैंक के आधार पर सीट आवंटन किया जाता है। 

डॉ. अमरीश विद्यार्थी  (नोडल अधिकारी यूटीयू काउंसिलिंग) का कहना है कि उत्तराखंड तकनीकी विवि के कुलपति डॉ. नरेंद्र एस चौधरी के निर्देश पर काउंसिलिंग अधिकारियों ने जेईई मेन के आधार पर भरी जाने वाली बीटेक की सीटें और उत्तराखंड स्टेट एंट्रेंस एग्जामिनेशन 2019 (यूकेएसईई) की रिक्त सीटों पर मंगलवार से स्पॉट काउंसिलिंग आरंभ कर दी है। सभी संस्थानों को 31 अगस्त तक सीटें भरनी हैं।

यह हैं सरकारी इंजीनियरिंग कॉलेज 

  • गोविंद बल्लभ पंत इंजीनियरिंग कॉलेज, पौड़ी
  • कॉलेज ऑफ टेक्नोलॉजी पंतनगर
  • कॉलेज ऑफ बेसिक ह्यूमैनिटी, पंतनगर 
  • विपिन त्रिपाठी आइटी कॉलेज, द्वाराहाट 
  • डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम आइटी, टनकपुर 
  • टीएचडीसी आइएचईटी, टिहरी 
  • नन्ही परी एसआइटी, पिथौरागढ़ 
  • इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी, गोपेश्वर 
  • महिला प्रौद्योगिकी संस्थान, देहरादून 

यूकेएसईई की 3500 सीटें भरी जाएंगी

उत्तराखंड स्टेट एंट्रेंस एग्जामिनेशन 2019 (यूकेएसईई) प्रवेश परीक्षा आयोजित की,

जिसमें बीटेक लेटरल एंट्री सहित होटल मैनेजमेंट, बीबीए आदि कोर्स के लिए दाखिले दिए जाते हैं। विवि से संबद्ध सरकारी व निजी करीब 60 कॉलेजों में 5050 सीटें निर्धारित हैं। इनमें मंगलवार तक केवल 1500 छात्र-छात्राओं ने प्रवेश लिया। यहां अभी भी 3550 से अधिक सीटें रिक्त रह गई। इन रिक्त सीटों पर भी जेईई मेन की ही तरह सीटें भरी जाएंगी।

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राज्य प्रवेश बोर्ड के नियम के तहत लिया निर्णय 

राज्य प्रवेश बोर्ड के नियमों के अनुसार कुलपति डॉ. नरेंद्र एस चौधरी ने स्पॉट काउंसिलिंग शुरू करने की अनुमति दी। यूटीयू के तहत प्रवेश बोर्ड के चेयरमैन कुलपति हैं, जबकि कुलसचिव सदस्य सचिव और आठ सदस्यों में एक पद तकनीकी शिक्षा निदेशक का बतौर सदस्य है। विवि ने शासन से स्पॉट काउंसिलिंग की अनुमति मांगी थी, लेकिन 19 अगस्त तक शासन की ओर से इस संबंध में कोई निर्णय नहीं किए जाने के बाद विवि के कुलपति ने राज्य प्रवेश बोर्ड के नियमों के अनुसार स्पॉट काउंसिलिंग की अनुमति दी।

प्रो. नरेंद्र एस चौधरी (कुलपति यूटीयू) का कहना है कि यूटीयू के समस्त राजकीय, संघटक व राजकीय सहायता प्राप्त संस्थानों में बीटेक की काउंसिलिंग की अनुमति दे दी गई है। स्पॉट काउंसिंलिंग 31 अगस्त तक पूरी करनी होगी।

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