Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Uttarakhand News: प्रदेश में नवजात व शिशु मृत्यु दर में आई तीन प्रतिशत की कमी, स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार का प्रमाण

    Updated: Tue, 09 Sep 2025 01:09 PM (IST)

    उत्तराखंड में स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार हो रहा है। केंद्र सरकार के सैंपल रजिस्ट्रेशन सर्वे के अनुसार नवजात मृत्यु दर और शिशु मृत्यु दर में कमी आई है। 2023 में नवजात मृत्यु दर 14 और शिशु मृत्यु दर 20 दर्ज की गई। सरकार ने संस्थागत प्रसव को प्रोत्साहित किया है और गर्भवती महिलाओं के टीकाकरण पर जोर दिया है। स्वास्थ्य मंत्री ने आशा कार्यकर्ताओं के योगदान की सराहना की।

    Hero Image
    प्रदेश में नवजात व शिशु मृत्यु दर में आई तीन प्रतिशत की कमी

    राज्य ब्यूरो, देहरादून। प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं का ग्राफ तमाम विपरीत परिस्थितियों के बावजूद सुधरता नजर आ रहा है। हाल ही में केंद्र सरकार के सैंपल रजिस्ट्रेशन सर्वे में नवजात मृत्यु दर व शिशु मृत्यु दर पर तीन प्रतिशत की कमी दर्ज की गई है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    वहीं, पांच वर्ष से कम आयु के बच्चों में चार प्रतिशत की कमी देखी गई है। उत्तराखंड में वर्ष 2023 में नवजात मृत्यु दर प्रति हजार जन्म 14 दर्ज की गई है। वर्ष 2021 में यह 17 था। इसी प्रकार शिशु मृत्यु दर वर्ष 2023 में 20 दर्ज की गई है। वर्ष 2021 में यह 23 थी।

    वहीं, पांच वर्ष से कम आयु के बच्चों की मृत्यु दर वर्ष 2023 में 23 दर्ज की गई है, वर्ष 2021 में यह 27 थी। भारत सरकार रजिस्ट्रार जनरल की ओर से वर्ष 2023 का सैंपल रजिस्ट्रेशन सर्वे जारी किया गया है।

    इसके आंकड़े उत्तराखंड के लिए काफी सुकून देने वाले हैं। मातृ मृत्यु दर में कमी के बाद अब नवजात मृत्यु दर (जन्म से 28 दिन तक), शिशु मृत्यु दर (एक वर्ष तक) और पांच वर्ष से कम आयु के बच्चों की मृत्यु दर में कमी आई है। अच्छी बात यह है कि वर्ष 2021 से यह आंकड़ा लगातार कम हो रहा है।

    इसका श्रेय निश्चित रूप से सरकार को जाता है। जिस तरह से सरकार ने संस्थागत प्रसव को प्रोत्साहित किया गया और गर्भवती महिलाओं के शतप्रतिशत टीकाकरण एवं समुचित देखभाल हेतु आशाओं के माध्यम से विशेष अभियान चलाए यह उसी का सुपरिणाम कहा जा सकता है।

    इसके अलावा, प्रदेशभर में नवजात की देखभाल के लिये चिकित्सा इकाइयों में सुविधाओं का भी दायरा बढ़ाया गया। इसके तहत अस्पतालों में नवजात शिशु आइसीयू, स्पेशल न्यू बोर्न केयर यूनिट, न्यू बोर्न स्टेबलाइजेशन यूनिट, नवजात शिशु देखभाल कार्नर तथा कंगारू मदर केयर यूनिट संचालित की जा रही है।

    रजिस्ट्रार जनरल की रिपोर्ट खासी उत्साहजनक है। राज्य में नवजात शिशुओं की मृत्यु दर में आई कमी इस बात का प्रमाण है कि प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्थाएं सुदृढ़ हुई हैं। इसमें सबसे अहम भूमिका आशाओं की रही, जिनके अथक प्रयासों से गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं की स्वास्थ्य देखभाल में उल्लेखनीय सुधार हुआ है। राज्य सरकार शिशु मृत्यु दर को न्यूनतम स्तर पर लाने के लिये लगातार प्रयासरत है।

    -डा धन सिंह रावत, स्वास्थ्य मंत्री उत्तराखंड।