Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    सरकारी दफ्तर की हकीकत : कहीं सख्ती, कहीं नियम तार-तार

    By Sunil NegiEdited By:
    Updated: Sat, 17 Apr 2021 01:34 PM (IST)

    बढ़ते कोरोना संक्रमण के कारण राज्य सरकार ने सरकारी दफ्तरों के लिए गाइड-लाइन जारी तो कर दी लेकिन फिलहाल दून में जनता से जुड़े दफ्तरों में भीड़ को नियंत्रित करना चुनौती बना हुआ है। कलक्ट्रेट हो या नगर निगम या फिर तहसील या आरटीओ।

    Hero Image
    शुक्रवार को तहसील में इस तरह उमड़ी लोगों की भीड़।

    जागरण संवाददाता, देहरादून। बढ़ते कोरोना संक्रमण के कारण राज्य सरकार ने सरकारी दफ्तरों के लिए गाइड-लाइन जारी तो कर दी, लेकिन फिलहाल दून में जनता से जुड़े दफ्तरों में भीड़ को नियंत्रित करना चुनौती बना हुआ है। कलक्ट्रेट हो या नगर निगम या फिर तहसील या आरटीओ। हर कार्यालय में कोरोना संक्रमण रोकने को जो इंतजाम किए गए हैं, वे महज दिखावा लग रहे। हालांकि, नगर निगम में शुक्रवार सुबह से जरूर सख्ती दिखी, लेकिन आरटीओ व तहसील में भीड़ का प्रवेश बेरोकटोक जारी रहा। आरटीओ दफ्तर में कार्य सीमित कर दिए गए हैं, लेकिन इसके बावजूद भीड़ के चलते व्यवस्था नहीं बन पा रही। शुक्रवार को दैनिक जागरण की टीम ने आमजन से जुड़े सरकारी कार्यालयों की स्थिति जानी। 

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    कलक्ट्रेट में सैनिटाइजेशन के बाद मिला प्रवेश

    जिलाधिकारी कार्यालय में सुबह साढ़े दस बजे से जन सुनवाई शुरू हुई। जन सुनवाई में कम ही लोग पहुंचे थे। कार्यालय आने वाले व्यक्तियों को सैनिटाइज करने के बाद ही कार्यालय में प्रवेश करने दिया गया। जन सुनवाई में जिलाधिकारी डॉ. आशीष कुमार श्रीवास्तव ने दो व्यक्तियों की समस्या सुनी और अचानक शासन में बैठक की सूचना पर वह अपर जिलाधिकारी जीसी गुणवंत को जन सुनवाई की जिम्मेदारी देकर चले गए। कार्यालय में आमजन का कम आना जाना रहा। हालांकि, पुलिस व प्रशासनिक कर्मचारी कार्यालय आते रहे।

    नगर निगम में बढ़ी सख्ती

    कोरोना संक्रमण को देखते हुए शुक्रवार सुबह से नगर निगम में आमजन के प्रवेश को लेकर सख्ती बढ़ा दी गई। नगर आयुक्त विनय शंकर पांडेय ने सुबह दफ्तर पहुंचते ही अधिकारियों की बैठक बुलाई व कोरोना गाइड-लाइन का शत फीसद अनुपालन का आदेश दिया। निगम में बैरियर लगा गाड़ि‍यों को रोका जा रहा और आने वालों से दफ्तर आने का कारण पूछा जा रहा। गेट पर आधा दर्जन कर्मियों को तैनात किया गया है और मास्क के बिना प्रवेश प्रतिबंधित कर दिया गया। गेट पर ही मास्क दिए जा रहे व हर आने वाले का तापमान जांच कर हाथों को सैनिटाइज कराकर भीतर जाने दिया जा रहा है। नगर आयुक्त ने खुद दफ्तर के परिसर में निरीक्षण कर स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान नगर आयुक्त कार्यालय के बाहर लगी हैंड सैनिटाइजर मशीन दुरुस्त मिली, लेकिन महापौर कक्ष के बाहर मशीन खराब मिली। आयुक्त ने तत्काल मशीन दुरुस्त कराने का आदेश दिया। जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र लेने के लिए जुट रही भीड़ को कम करने के लिए नगर आयुक्त ने दोबारा टोकन सिस्टम लागू करने के आदेश दिए हैं। टोकन की प्रतिदिन संख्या निर्धारित होगी। आगंतुकों को टोकन देकर टाउन हाल में बैठाया जाएगा और उसे बारी आने पर ही संबंधित अनुभाग में जाने दिया जाएगा।

    तहसील में भीड़ प्रबंधन बना चुनौती

    तहसील परिसर में भीड़ प्रबंधन चुनौती बन चुका है। सुबह 10 बजे दफ्तर खुलते ही लोग पहुंचने शुरू हो जा रहे। भीड़ के बढ़ने का सिलसिला लगातार बढ़ता जाता है लेकिन भीड़ प्रबंधन के लिए यहां कोई ठोस व्यवस्था यहां नहीं दिखी। मेन गेट पर एक कर्मचारी हर आने वाले की थर्मल स्क्रीनिंग कर रहा है, लेकिन गेट के बाहर लग रही भीड़ पर कोई काबू करने को कोई बंदोबस्त नहीं है। राजस्व उपनिरीक्षकों के काउंटर पर पेंशन सत्यापन, दाखिल-खारिज एवं अन्य प्रमाण पत्र बनाने को कई लोग झुंड में खड़े हो रहे। इनमें कई लोग बिना मास्क के भी नजर आए, जबकि कई का मास्क गले तक लटका हुआ मिला। अजब बात यह भी है कि मुख्य गेट पर थर्मल स्क्रीनिंग हो रही है, लेकिन तहसील का पिछले गेट पर निगरानी करने को कोई भी नहीं। बताया जा रहा कि सुरक्षा व्यवस्था एवं भीड़ प्रबंधन करने वाले गार्ड की ड्यूटी हरिद्वार कुंभ में लगी है। वहीं, तहसीलदार सदर दयाराम ने बताया कि सरकार के आदेशों के अनुसार पटवारी, कानूनगो समेत अन्य स्टाफ को कोरोना की गाइड-लाइन का पूरा पालन करने के निर्देश दिए गए हैं। बिना मास्क प्रवेश न करने देने के निर्देश दिए गए हैं। वहीं, जिला आपूर्ति विभाग में सामान्य तौर पर रहने वाली भीड़ फिलहाल नहीं दिखी। उपनल कर्मचारियों की हड़ताल के कारण दफ्तर में कामकाज सीमित चल रहा, जिससे लोग भी नहीं आ रहे। 

    आरटीओ में दलालों के कारण भीड़

    आरटीओ दफ्तर में कार्य भले ही सीमित कर दिए गए हों, लेकिन यहां दलालों की आमद के चलते कोरोना गाइड-लाइन का अनुपालन नहीं हो रहा। दलाल बेरोकटोक दफ्तर में प्रवेश कर रहे। यहां तक कि वह मास्क का भी उपयोग नहीं करते दिख रहे। इसके अलावा लर्निंग लाइसेंस के आवेदकों की भीड़ के अलावा फिटनेस कार्य में भी खासी भीड़ जुट रही। हालांकि, मेन गेट से आमजन को हाथ सैनिटाइज करने के बाद ही प्रवेश करने दिया जा रहा, मगर अंदर जाने के बाद कोई सुरक्षा मानक का पालन नहीं हो रहा। 

    विकास भवन में यूं ही प्रवेश नहीं 

    विकास भवन के मुख्य गेट पर ही पीआरडी के जवान तैनात है। आने वाले व्यक्तियों से उनका कामकाज पूछकर ही प्रवेश करने की अनुमति दी जा रही। इसमें भी जरूरी काम वाले व्यक्तियों के अलावा अन्य को प्रवेश नहीं दिया जा रहा है। गेट पर आगंतुकों के हाथ सैनिटाइज करने के बाद ही प्रवेश करने दिया गया। सेवायोजन कार्यालय में भी छात्रों की उपस्थिति सीमित रही। हालांकि, वहां गेट पर सैनिटाइजेशन की व्यवस्था नहीं दिखी। 

    यह भी पढ़ें-सरकारी अस्पतालों में भी नहीं मिल रहा रेमडेसिविर इंजेक्शन

    Uttarakhand Flood Disaster: चमोली हादसे से संबंधित सभी सामग्री पढ़ने के लिए क्लिक करें