विधायक राजेश शुक्ला ने ऊधमसिंहनगर के तत्कालीन डीएम के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का दिया नोटिस
विधानसभा के मानसून सत्र में बुधवार को विधायक राजेश शुक्ला ने ऊधमसिंहनगर के तत्कालीन डीएम के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया। उन्होंने हुए बताया है कि बीती 17 जुलाई को ऊधमसिंहनगर के जिले के प्रभारी मंत्री मदन कौशिक की मौजूदगी में खनन न्यास की बैठक हुई थी।
देहरादून, राज्य ब्यूरो। विधानसभा के मानसून सत्र में बुधवार को विधायक राजेश शुक्ला ने ऊधमसिंहनगर के तत्कालीन डीएम के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया। पीठ ने इस मामले में प्रदेश सरकार को जांच कराने के निर्देश दिए हैं। विधायक शुक्ला ने विशेषाधिकार हनन का नोटिस देते हुए बताया है कि बीती 17 जुलाई को ऊधमसिंहनगर के जिले के प्रभारी मंत्री मदन कौशिक की मौजूदगी में खनन न्यास की बैठक हुई थी।
शुक्ला के मुताबिक जब उनके द्वारा खनन न्यास से जुड़े सवाल पूछे गए तो बैठक में मौजूद रहे ऊधमसिंहनगर के तत्कालीन डीएम ने उनका उपहास उड़ाया। यह तक कह डाला कि आपकी याददाश्त कमजोर है। शुक्ला के मुताबिक उनके द्वारा यह कहे जाने पर कि सवाल पूछना उनका विशेषाधिकार है, फिर भी डीएम ने कोई जानकारी नहीं दी। पत्रकारों से बातचीत में विधायक शुक्ला ने कहा कि अधिकारियों व जनप्रतिनिधियों के बीच टकराव नहीं होना चाहिए। इस मामले में संतोषजनक कार्रवाई न होने के बाद ही उनके द्वारा तत्कालीन डीएम के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया गया। उन्होंने यह भी कहा कि यदि तब बैठक में मौजूद रहे प्रभारी मंत्री सख्ती करते तो संभवतया मामला सुलझ जाता। उन्होंने कहा कि तत्कालीन डीएम को जिस तरह से हटाया गया, उससे वह संतुष्ट नहीं हैं।
कुछ अफसर कर रहे अपमान
विधायक शुक्ला ने कहा कि बहुत से नौकरशाह जनप्रतिनिधियों की इज्जत करते हैं, मगर कुछ अफसरों को जनप्रतिनिधियों का अपमान करने में आनंद आता है। उन्होंने कहा कि यह दलगत विषय नहीं है। सम्मान सबका होना चाहिए। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के विधायकों की देशभर में तारीफ होती है। ऐसे में यदि अधिकारियों को उनके साथ कार्य करने में दिक्कत नहीं होनी चाहिए। फिर भी कुछेक अफसर हैं जो जनप्रतिनिधियों का अपमान करने से बाज नहीं आ रहे। यह लोकतंत्र के लिए ठीक नहीं है।
थारू जाति के निवासियों की दिक्कत का हो निदान
विधायक शुक्ला ने जनजातीय क्षेत्र जौनसार बावर में वर्ग-चार की भूमि पर काबिज ग्रामीणों को भूमिधरी अधिकार देने संबंधी विधेयक के पारित होने पर खुशी जताई। साथ ही कहा कि खटीमा क्षेत्र में भी थारू जाति के निवासी ऐसी दिक्कत से जूझ रहे हैं। उनकी भूमि के विनियमितीकरण को भी कदम उठाए जाने जरूरी हैं।