उत्तराखंड के 11 पंजीकृत अमान्यता प्राप्त राजनीतिक दल हुए सूची से बाहर, इस वजह से हुई कार्रवाई
भारत निर्वाचन आयोग ने उत्तराखंड के 11 और अमान्यता प्राप्त दलों को सूची से बाहर कर दिया है। इन दलों ने पिछले छह वर्षों में कोई भी चुनाव नहीं लड़ा था। इससे पहले अगस्त में भी छह दलों को हटाया गया था। आयोग ने इन दलों को अंतिम अपील का समय दिया है जिसमें भारत कौमी दल और उत्तराखंड जनशक्ति पार्टी जैसे नाम शामिल हैं।

राज्य ब्यूरो, जागरण, देहरादून। भारत निर्वाचन आयोग ने उत्तराखंड के 11 और पंजीकृत अमान्यता प्राप्त राजनीति दलों को सूची से बाहर कर दिया है। इन दलों ने वर्ष 2019 से लेकर बीते छह वर्षों में लोकसभा एवं विधानसभा के एक भी चुनाव में प्रतिभाग नहीं किया है।
इससे पहले छह अगस्त को आयोग ने छह पंजीकृत अमान्यता प्राप्त दलों को सूची से बाहर कर दिया था। इस प्रकार प्रदेश में अब तक 17 अमान्यता प्राप्त दल सूची से बाहर किए जा चुके हैं।
प्रदेश में इस वर्ष की शुरुआत में 42 दल अमान्यता प्राप्त राजनीति दलों के रूप में सूचीबद्ध थे। इनमें से कई दल बीते छह वर्षों से न तो विधानसभा और न ही लोकसभा के चुनाव में प्रतिभाग कर रहे थे। ऐसे में आयोग ने इन दलों को सूची से बाहर करने की दिशा में कदम उठाया।
इस कड़ी में इस वर्ष अगस्त को छह अमान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों को सूची से बाहर किया था। अब 11 और दलों को सूची से बाहर कर दिया है। आयोग ने इन दलों को आदेश जारी होने की तिथि से 30 दिन के भी अंतिम अपील का अतिरिक्त समय दिया है।
ये दल हुए सूची से बाहर
भारत कौमी दल, भारत परिवार पार्टी, भारती मूल निवासी समाज पार्टी, भारतीय सम्राट सुभाष सेना, भारतीय अंत्योदय पार्टी, भारतीय ग्राम नगर विकास पार्टी, गोरखा डेमोक्रेटिक फ्रंट, पीपल्स पार्टी, प्रजातंत्र पार्टी आफ इंडिया, सुराज सेवा दल व उत्तराखंड जनशक्ति पार्टी।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।