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    उत्तराखंड के अग्निवीर जवान की पुंछ में मौत से कोहराम, दो साल पहले हुए थे भर्ती

    Updated: Sun, 23 Nov 2025 12:30 PM (IST)

    चंपावत के खरही गाँव के अग्निवीर दीपक सिंह की जम्मू कश्मीर के पुंछ में संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। दो साल पहले भर्ती हुए दीपक नियंत्रण रेखा के पास तैनात थे। गोली लगने से उनकी मौत हुई, जिसकी जाँच सेना कर रही है। हाल ही में छुट्टी से लौटे दीपक की शादी की तैयारी चल रही थी। इस दुखद खबर से पूरे गाँव में शोक की लहर है।

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    दो साल पहले ही अग्निवीर में भर्ती हुए थे दीपक। फाइल फोटो

    जागरण संवाददाता, चंपावत । पाटी विकास खंड के खरही गांव निवासी अग्निवीर जवान दीपक सिंह की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत से स्वजन में कोहराम मच गया है। दीपक जम्मू कश्मीर के पुंछ जिले में नियंत्रण रेखा के पास सेना की अग्रिम चौकी में तैनात थे। वह दो साल पहले ही अग्निवीर में भर्ती हुए थे। ग्रामीणों ने बताया कि दीपक दस दिन पहले ही वह छुट्टी काटकर ड्यूटी में वापस लौटे थे। मृतक जवान का शव सोमवार तक उसके पैतृक गृह पहुंचने की संभावना है।

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    चंपावत जनपद के पाटी विकास खंड के खरही गांव निवासी दीपक सिंह (23) पुत्र शिवराज सिंह दो साल पहले ही अग्निवीर योजना के तहत भारतीय सेना में भर्ती हुए थे। ट्रेनिंग पूरी करने के बाद उन्हें जम्मू कश्मीर के पुंछ जिले की मेंढर तहसील में नियंत्रण रेखा के पास सेना की अग्रिम चौकी में तैनाती मिली थी। शनिवार की दोपहर ढाई बजे करीब संदिग्ध परिस्थितियों में गोली चलने से दीपक सिंह की मौत हो गई।

    चौकी पर गोली चलने की अवाज सुनते ही सेना के अन्य जवान घटना स्थल पर पहुंचे और उन्होंने खून से लथपथ दीपक को बटालियन चिकित्सा शिविर में पहुंचाया। जहां सेना के डाक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है की यह आत्म हत्या की घटना है या दुर्घटनावश गोली चलने से जवान की मौत हुई है। सेना ने मामले की जांच शुरू कर दी है।

    ग्रामीणों ने बताया कि दीपक हाल ही में छुट्टी लेकर घर आए थे। खरही मेले में उन्होंने बढ़चढ़कर हिस्सा लिया था। दस दिन पहले ही छुट्टी पूरी कर ड़यूटी पर लौटे थे। स्वजन उनकी शादी की तैयारी भी कर रहे थे। लेकिन अचानक इस दुखद खबर को सुनकर पूरा गांव सन्न रह गया है। मां तारी देवी सदमे में चली गई हैं। पिता शिवराज सिंह भी खुद को संभाल नहीं पा रहे हैं। दीपक घर के चार भाई-बहनों में तीसरे नंबर के थे। दो बड़ी बहनें और एक छोटा भाई है।

    रीठासाहिब के थानाध्यक्ष कमलेश भट्ट ने बताया कि मृतक जवान का शव कब पहुंचेगा अभी इसकी स्पष्ट जानकारी नहीं है।