Chamoli Cloudburst: बुजुर्ग ससुर को बचाने के लिए दोबारा घर के अंदर गई बहू, सैलाब में दोनों लापता
चमोली जिले के धुर्मा गांव में बादल फटने से भारी तबाही हुई है। बिनसर की पहाड़ियों से आई बाढ़ में ममता देवी और गुमान सिंह लापता हो गए। ममता देवी अपने बच्चों को बचाने के बाद अपने ससुर को बचाने के लिए वापस गई लेकिन वे सैलाब में बह गए। रात में बादल फटने से स्यारपाखा गदेरे में जल स्तर बढ़ गया जिससे गांव में अफरा-तफरी मच गई।

संवाद सहयोगी, जागरण, गोपेश्वर। विकासखंड नंदानगर के धुर्मा गांव में बादल फटने के साथ बिनसर की पहाड़ियों से आए सैलाब में धुर्मा गांव की ममता देवी व गुमान सिंह लापता हैं।
बताया गया कि ममता देवी अपने तीन बच्चों को लेकर सुरक्षित स्थान पर चली गई थी, लेकिन काल को तो कुछ ओर ही मंजूर था। जब उसे पता चला कि बुजुर्ग ससुर घर के अंदर ही फंसे हुए हैं तो उसे लेने मकान के अंदर गई और ससुर का सहारा बन सुरक्षित स्थान पर आ ही रही थी कि सैलाब की चपेट में आकर दोनों लापता हो गए।
बताया गया कि रात्रि दो बजे धुर्मा गांव के ठीक के ऊपर बिनसर की पहाड़ियों में बादल फटा तो स्यारपाखा गदेरे में जल स्तर बढ़ने के साथ मकानों के अंदर पानी पहुंचा। जिससे गांव में हल्ला मच गया। ग्रामीण बचने के लिए भागने लगे इस दौरान धुर्मा गांव की 38 वर्षीय ममता देवी भी अपने मकान में दो बेटी व एक बेटे के साथ सो रही थी।
खतरे को भांपते हुए उसने बच्चों के साथ सुरक्षित स्थान पर दौड़ लगाई। पता चला कि ममता देवी के साथ के ही मकान में चचेरे ससुर 78 वर्षीय गुमान सिंह अभी घर में ही फंसे है। बताया गया कि वयोवृद्ध होने के कारण चचेरी बुजुर्ग सास को तो बहु सुरक्षित ले आई लेकिन ससुर घर के अंदर मौजूद हैं।
ममता देवी ने बिना देर किए हिम्मत कर घर में दाखिल होकर ससुर गुमान सिंह को घर से निकालकर सुरक्षित स्थान की ओर जाने लगी तो इस दौरान गदेरे में भारी मलबा आया और वे सैलाब में कहीं खो गए। बताया गया कि ममता देवी का पति विक्रम सिंह हरिद्वार में कार्य करता है। सूचना के बाद वह गांव लौटा है। लापता गुमान सिंह सेना से सेवानिवृत्त है।
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