बर्ड फ्लू की दस्तक के बाद भी कम नहीं हुआ नॉनवेज खाने का मोह, उत्तराखंड में 500 रुपये किलो बिक रही मुर्गियां
बागेश्वर के कौसानी में बर्ड फ्लू की आशंका के चलते बाहरी मुर्गियों पर रोक लगी है जिससे व्यापारियों को दिक्कत हो रही है। पहाड़ी मुर्गी 500 रुपये तक बिक रही है। जिले में 27 मुर्गीबाड़े हैं जहां चूजे पाले जाते हैं। बर्ड फ्लू के चलते लोग सतर्क हैं। एक पिकअप पकड़ी गई जिसमें स्वस्थ मुर्गियां पाई गईं। कौसानी को छोड़कर जिले में परिवहन पर रोक नहीं है।
जासं, बागेश्वर । कौसानी के सौली गांव में स्थित मुर्गी फार्म में दो मुर्गियों में बर्ड फ्लू की शिकायत पर बाहर से आने वाले मुर्गियों पर रोक लगी है। जिसके कारण मुर्गी व्यापारी परेशान हैं। पहाड़ी मुर्गी के दाम बढ़ गए हैं। वह 500 रुपये तक बिक रही है। जबकि बाहर से आने वाली मुर्गी पूर्व में 140 रुपये थी, वर्तमान में वह 240 रुपये प्रतिकिलो बिक रही है।
जिले में 27 मुर्गीबाड़े है। जबकि बागेश्वर तथा पुरड़ा में मदर यूनिट हैं। जहां 500 से 1000 तक मुर्गी के चूजे पाले जाते हैं। उसके बाद उन्हें बेचा जाता है। जबकि 25 मुर्गीबाड़ों मं 100 से लेकर 500 तक मुर्गियां रहतीं हैं। इसके अलावा गांवों में भी किसान पांच से लेकर 50 तक मुर्गियां पालते हैं।
बर्ड फ्लू की पुष्टि होने के बाद वह भी अलर्ट हो गए हैं। वह पहाड़ी मुर्गियां बेच रहे हैं। वहीं, गरुड़, बागेश्वर, कपकोट, कांडा तथा काफलीगैर में 912 मुर्गा शाप हैं। जहां मुर्गियां आनी बंद हो गईं हैं। जिसके कारण मुर्गी का मांस बेचने वालों का काराेबार धीमा पड़ गया है। वह गांवों में जाकर पहाड़ी मुर्गे खरीद हैं। गांव जाना तथा वहां से आना आदि में उनका धन अलग से व्यय हो रहा है। दुकान तक मुर्गा पहुुंचने पर वह 500 रुपये प्रति किलो बिक रहा है।
बर्ड फ्लू के लिए लोग भी हुए जागरूक, पकड़ी पिकअप
बुधवार की सुबह एक मुर्गियों से भरी पिकप तहसील रोड, गागरीगोल आदि स्थानों पर दिखाई दी। स्थानीय लोगों ने तत्काल पशुपालन विभाग से शिकायत की। जिसके बाद पुलिस तथा विभाग अलर्ट हो गया। पिकअप को पकड़ लिया गया।
मुख्य पशु चिकित्साधिकारी डा. केके जोशी ने बताया कि पिकअप वाहन संख्या यूके02ए-0991 की जांच की गई। वह मोटासिमल मुर्गी फार्म स्वामी पूरन सिंह का था। जिसमें स्थानीय मुर्गियां थीं। लगभग 200 मुर्गियां विक्रय के लिए लाई गईं थीं। उनकी जांच की गई तथा वह स्वस्थ पाए गए है। कहा कि कौसानी क्षेत्र को छोड़ कर जिले के अंदर से जिले में परिवहन पर रोक नहीं है।
कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।