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मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ से पहले दो और सीएम को ललकार चुके बाहुबली विजय मिश्र

विधायक विजय मिश्र योगी आदित्यनाथ के पहले पूर्व मुख्यमंत्री मायावती और अखिलेश यादव को भी ललकार चुके हैं। बसपा शासन में विजय मिश्र को मेरठ जेल में तन्हाई में रखा गया था।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Tue, 18 Aug 2020 06:10 AM (IST)Updated: Tue, 18 Aug 2020 04:12 PM (IST)
मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ से पहले दो और सीएम को ललकार चुके बाहुबली विजय मिश्र
मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ से पहले दो और सीएम को ललकार चुके बाहुबली विजय मिश्र

भदोही, जेएनएन। विधायक विजय मिश्र योगी आदित्यनाथ के पहले पूर्व मुख्यमंत्री मायावती और अखिलेश यादव को भी ललकार चुके हैं। बसपा शासन में विजय मिश्र को मेरठ जेल में तन्हाई में रखा गया था। उस समय उन्होंने मायावती को चुनौती देकर सपा से ताल ठोंकी थी।टिकट कटने के बाद बड़ी संख्या में समर्थकों संग बैठक कर उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को भी ललकारा था।पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह के करीबी होने के कारण सपा शासन में उनकी तूती बोलती थी।

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विधानसभा चुनाव 2017 में पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने उन्हे सपा से बाहर का रास्ता दिखाया तो उन्हें भी चुनौती देकर निषाद पार्टी से ताल ठोंक दी। विधायक विजय मिश्र के जेल जाने के बाद उनके करीबी और समर्थक पुलिस के निशाने पर हैंगोपीगंज कोतवाली में विधायक विजय मिश्र के रिश्तेदार कृष्णमोहन तिवारी ने भवन कब्जा, फर्म हड़पने और जबरिया चेक पर हस्ताक्षर कराने के आरोप में मुकदमा दर्ज किया था।

विधायक के खिलाफ पूर्व मुख्यमंत्री मायावती, अखिलेश यादव के अलावा तत्कालीन भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह भी सभा कर जनता से हराने की अपील कर चुके थे, लेकिन उनकी एक नहीं चली। लगातार चौथी बार ज्ञानपुर विधानसभा से निर्वाचित हो गए। अभी तक जिले के ज्ञानपुर सीट से लगातार दो बार भी कोई विधायक नहीं बन सका है।

विधायक के करीबियों के घर पर पुलिस की दबिश

विधायक विजय मिश्र के जेल जाने के बाद उनके करीबी और समर्थक पुलिस के निशाने पर हैं। गोपीगंज पुलिस करीबियों के घर रात में दबिश दे रही है। इससे उनके परिवार के लोग दहशत में हैं। परिजनों का कहना है कि पुलिस रात में दरवाजा खटखटा रही है और धमकी दे रही है। गोपीगंज कोतवाली में विधायक विजय मिश्र के रिश्तेदार कृष्णमोहन तिवारी ने भवन कब्जा, फर्म हड़पने और जबरिया चेक पर हस्ताक्षर कराने के आरोप में मुकदमा दर्ज किया था। मामले में विधायक को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। विधायक के समर्थन में बड़ी संख्या में समर्थक और वाहनों का काफिला शामिल हुआ था। पुलिस विधायक के करीबियों और समर्थकों को निशाना बना रही है। गोपीगंज पुलिस बिहरोजपुर गांव में पहुंचकर विधायक के चालक के घर दबिश दी थी। परिजनों का कहना है कि दिन-रात पुलिस परेशान कर रही है। कार्रवाई के भय से अन्य समर्थक भी घर छोड़कर इधर-उधर ठिकाना खोज रहे हैं।


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