अमिताभ ठाकुर को 14 दिन की न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेजा गया, पेशी के समय कचहरी में रही भारी पुलिस बल की तैनाती
जागरण संवाददाता वाराणसी ...और पढ़ें

अमिताभ ठाकुर को 14 दिन की न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेजा गया, पेशी के समय कचहरी में रही भारी पुलिस बल की तैनाती
जागरण संवाददाता, वाराणसी : पूर्व आइपीएस अधिकारी व आजाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमिताभ ठाकुर को शुक्रवार को प्रभारी विशेष मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट राजीव मुकुल पांडेय की अदालत में पेश किया गया। इस दौरान पूरे कचहरी परिसर में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे। भारी पुलिसबल के साथ पीएसी के जवान तैनात थे। अदालत ने दोनों पक्षों के वकीलों की दलील सुनने के बाद अमिताभ ठाकुर को एक जनवरी तक 14 दिन के लिए न्यायिक रिमांड मंजूर की। अमिताभ ठाकुर ने अदालत से उन्हें वाराणसी के जेल में रखने की अपील की, लेकिन न्यायिक रिमांड मंजूर होने के बाद पुलिस उन्हें लेकर देवरिया जेल चली गई। वाराणसी निवासी अम्बरीश सिंह भोला ने अमिताभ ठाकुर के खिलाफ बीते आठ नवंबर को मनगढ़ंत साक्ष्य के आधार पर एक आपराधिक मामले में शामिल होने का झूठा आरोप लगाने का केस दर्ज कराया था।
अभियोजन अधिकारी मधुसूदन तिवारी व अमित कुमार यादव ने सुनवाई के दौरान कहा कि अमिताभ ठाकुर के खिलाफ दर्ज धाराएं भले ही असंज्ञेय अपराध की हैं, लेकिन एक साथ होने की वजह से संज्ञेय हैं। उनके द्वारा मिथ्या साक्ष्यों के आधार पर 30 नवंबर को अपने एक्स अकाउंट से एक वीडियो पोस्ट किया गया, जिसमें वीडीए बोर्ड के मानद सदस्य अम्बरीश सिंह भोला पर आपराधिक मामलों में संलिप्त होने के झूठे आरोप लगाए गए। आरोपित की गिरफ्तारी पर उठाए गए सवाल पर अभियोजन ने कहा कि अमिताभ ठाकुर एक अन्य मामले में पहले से न्यायिक हिरासत में जेल में बंद हैं। वहीं, अमिताभ ठाकुर की ओर से कहा गया है कि उन पर झूठा आरोप लगाया गया है। उन्होंने अम्बरीश सिंह भोला के खिलाफ जांच कराने की मांग की थी। उनके खिलाफ लगाई गईं धाराएं असंज्ञेय अपराध की हैं। असंज्ञेय अपराध में बिना अदालत की अनुमति के गिरफ्तारी नहीं हो सकती।

कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।