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सोनभद्र और आसपास के जिलों में मोबाइल नेटवर्क से वंचित क्षेत्रों में फोर-जी सेवा के लिए 30 टावर की अनुमति

सोनांचल में बीएसएनएल के नेटवर्क से वंचित गांवां में फोर-जी सेवा उपलब्ध कराने के लिए 30 नए टावर लगाएं जाएंगे। इसकी अनुमति मुख्यालय से मिल गई है। इसके लिए सोनांचल के 60 गांव चंदौली के 25 मीरजापुर के 10 गांव शामिल हैं।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Tue, 27 Sep 2022 01:32 PM (IST)Updated: Tue, 27 Sep 2022 01:32 PM (IST)
सोनभद्र और आसपास के जिलों में मोबाइल नेटवर्क से वंचित क्षेत्रों में फोर-जी सेवा के लिए 30 टावर की अनुमति
सोनभद्र और आसपास के जिलों में मोबाइल नेटवर्क से वंचित क्षेत्रों में फोर-जी सेवा के लिए 30 टावर की अनुमति

सोनभद्र, जागरण संवाददाता : सोनांचल में बीएसएनएल के नेटवर्क से वंचित गांवां में फोर-जी सेवा उपलब्ध कराने के लिए 30 नए टावर लगाएं जाएंगे। इसकी अनुमति मुख्यालय से मिल गई है। इसके लिए सोनांचल के 60 गांव, चंदौली के 25, मीरजापुर के 10 गांव शामिल हैं। अब तक इन गांवों में बीएसएनएल की टू व थ्री-जी की संचार सेवाएं मिल रही हैं।

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इन गांवों को भी डिजिटल इंडिया के तहत फोर-जी सेवा देने के लिए बीएसएनाएल ने कमर कसनी ली है। इसके लिए सोनभद्र में सर्वे का कार्य पूरा कर लिया गया है। टावरों को स्थापित करने के लिए भूमि उपलब्ध कराने के लिए वाराणसी परिक्षेत्र वाराणसी, मीरजापुर, साेनभद्र व चंदौली के महाप्रबंधक ने जिलाधिकारी चंद्र विजय सिंह को पत्र लिखा है। बिजली कनेक्शन के लिए भी कवायद की जा रही है।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पिछले वर्ष स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले की प्राचीर से अपने संबोधन में सरकारी योजनाओं को हर व्यक्ति तक पहुंचाने का आह्वान किया था। इसी के तहत विगत 27 जुलाई को नईदिल्ली में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने देश भर के अछूते गांवों में फोर-जी मोबाइल सेवाओं को पहुंचाने की परियोजना को मंजूरी दी है।

आत्मानिर्भर फोर-जी प्रौद्योगिकी स्टैक को लागू करने की प्रक्रिया में है

बीएसएनएल पहले से ही आत्मानिर्भर फोर-जी प्रौद्योगिकी स्टैक को लागू करने की प्रक्रिया में है, जिसे इस परियोजना में भी प्रयोग किया जाएगा। यह परियोजना ग्रामीण क्षेत्रों में मोबाइल कनेक्टिविटी प्रदान करने के सरकार के विजन की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। यह परियोजना मोबाइल ब्राडबैंड के माध्यम से विभिन्न ई-गवर्नेंस सेवाओं, बैंकिंग सेवाओं, टेली-मेडिसिन, टेली-एजुकेशन आदि के वितरण को बढ़ावा देगी और ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार पैदा करेगी।

आप्टिकल फाइवर केबल बिछानी पड़ेगी

यह परियाेजना बड़ी है। खासकर सोनभद्र, मीरजापुर व चंदौली के पहाड़ी क्षेत्रों के वंचित गांवों में फोर-जी सेवा देने के लिए आप्टिकल फाइवर केबल बिछानी पड़ेगी या टावरों को सेटेलाइट से जोड़ना पड़ेगा। यह परियोजना पूरी करने में एक वर्ष लग सकता है।

- अनिल कुमार गुप्ता, महाप्रबंधक, वाराणसी परिक्षेत्र।


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