महिला जिला अस्पताल में अल्ट्रासाउंड के लिए महिलाओं को 3 घंटे करना पड़ा इंतजार, फिर भी नहीं हो सकी जांच
उन्नाव के जिला अस्पताल में मरीजों को शुक्रवार को भारी परेशानी हुई। महिला अस्पताल में रेडियोलाजिस्ट के देर से आने के कारण अल्ट्रासाउंड के लिए आई 50 महिलाओं को इंतजार करना पड़ा जिनमें से कई बिना जांच के ही लौट गईं। पुरुष अस्पताल में वायरल और डायरिया के मरीजों की भीड़ रही वहीं पानी की मोटर जलने से जलापूर्ति बाधित रही जिससे मरीजों और तीमारदारों को दिक्कत हुई।

जागरण संवाददाता, उन्नाव । महिला जिला अस्पताल के रेडियोलाजिस्ट डा. वीके गुप्ता ओपीडी समय से लगभग तीन घंटे देरी से अस्पताल पहुंचे इस बीच लगभग 50 महिलाएं अल्ट्रासाउंड कराने के लिए इंतजार करती रहीं।
अस्पताल पहुंचने के बाद रेडियोलाजिस्ट एक घंटे में 25 महिलाओं का अल्ट्रासाउंड करके वापस लौट गए इससे लगभग 20 महिलाओं को पर्चा जमा होने के बाद भी बिना जांच के वापस लौटना पड़ा। उधर पुरुष अस्पताल ओपीडी में वायरल फीवर और डायरिया के मरीजों की खासी भीड़ रही। वहीं मोटर जल जाने से वार्डों में जलापूर्ति बंद हो गई इससे भर्ती मरीजों व तीमारदारों को परेशानी का सामना करना पड़ा।
शुक्रवार को भी जिला अस्पताल में मरीजों की खासी भीड़ रही। ओपीडी में 747 बच्चों समेत 1914 मरीज पहुंचे। पर्चा काउंटर, डायग्नोस्टिक सेंटर और दवा काउंटर पर मरीजों की लगी लंबी लाइन में धक्का मुक्की होती रही। ओपीडी में डाक्टर को दिखाने के लिए सबसे अधिक भीड़ फिजीशियन और बालरोग विशेषज्ञों के कक्षों में रही।
घंटों फर्श पर बैठकर इंतजार करना पड़ा
यहां नंबर आने के लिए मरीजों को घंटों फर्श पर बैठकर इंतजार करना पड़ा। फिजीशियन डा. कौशलेंद्र और बालरोग विशेषज्ञ डा. बृज कुमार ने बताया कि इस समय सबसे अधिक बुखार और पेट संबंधी बीमारियों के मरीज आ रहे हैं। वहीं मोटर फुंकने के कारण वार्डों की जलापूर्ति बंद हो गई, मरीजों व तीमारदारों तथा स्टाफ को पानी की समस्या का सामना करना पड़ा। इमरजेंसी में बुखार के 13 और डायरिया 11 मरीज भर्ती किए गए।
इससे बेड का संकट बना रहा। महिला अस्पताल में अल्ट्रासाउंड कराने के लिए आठ बजे से ही महिलाओं की भीड़ लगने लगी पर रेडियोलाजिस्ट पूर्वाह्न लगभग 11 बजे इससे उन्हें जांच के लिए तीन घंटे इंतजार करना पड़ा। एक घंटे में 25 अल्ट्रासउंड करने के बाद वह फिर चले गए इससे 20 से अधिक महिलाओं को बिना जांच लौटना पड़ा कुछ ने निजी केंद्रों में जांच करा डाक्टर को दिखाया।
रेडियोलाजिस्ट ने डा. वीके गुप्ता ने बताया कि कोर्ट में गवाही लगी थी। इससे न्यायालय से समय पाकर अस्पताल आया और एक घंटा जांच की उसके बाद पुन: गवाही देने कोर्ट चला गया। महिला अस्पताल सीएमएस ने कहा कि एक ही रेडियोलाजिस्ट हैं इससे कभी कभी समस्या होती है।
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