यूपी के इस जिले में गंगा पर बनेगा फोरलेन का नया पुल, टीम ने किया निरीक्षण; शासन को भेजी जाएगी रिपोर्ट
शुक्लागंज में गंगा नदी पर पुराने पुल के पास एक नया चार लेन का पुल बनाया जाएगा। राज्य सेतु निगम की टीम ने नगर पालिका गंगाघाट के साथ निरीक्षण किया। पुल का आखिरी पिलर सीताराम कालोनी के पास स्थित शौचालय के पास बनाया जाएगा। नए पुल के निर्माण से पहले राज्य सेतु निगम के एई अनुराग सिंह ने स्थलीय निरीक्षण किया।

संवाद सहयोगी, शुक्लागंज। गंगानदी पर पुराने पुल के समानांतर लगभग 50 मीटर की दूरी पर एक फोरलेन का नयापुल बनेगा। जिसके लिए बुधवार दोपहर को राज्य सेतु निगम की टीम ने नगर पालिका गंगाघाट की टीम के साथ निरीक्षण किया। पुल का आखिरी पिलर सीताराम कालोनी के पास स्थित शौचालय के पास बनाया जाएगा। फोरलेन पुल पुराने गंगापुल व रेलवे पुल के ऊपर से होकर शुक्लागंज तक बनेगा।
नए गंगापुल को बनाए जाने से पहले उसके एस्टीमेट तैयार करने के लिए राज्य सेतु निगम के एई अनुराग सिंह ने अपने सहयोगी राकेश पांडेय के साथ मिश्रा कालोनी पहुंच कर स्थलीय निरीक्षण किया। वह अपने साथ नए पुल का नक्शा भी लाए थे। नक्शे को देख कर उन्होंने उसका एस्टीमेट तैयार करने की कवायद प्रारंभ कर दी।
फोरलेन होगा नया पुल
चेयरमैन प्रतिनिधि संदीप ने बताया कि प्रस्तावित नक्शे के हिसाब से पुल का निर्माण कराया जाना है। नया पुल फोरलेन का होगा। यह पुल पुराने गंगापुल व रेलवे पुल के ऊपर से होकर शुक्लागंज में निकलेगा। उन्होंने बताया कि एस्टीमेट तैयार करने के लिए राज्य सेतु निगम की टीम पहुंची थी। टीम एस्टीमेट तैयार कर उसे शासन को भेजेगी।
निरीक्षण के दौरान नगर पालिका गंगाघाट चेयरमैन प्रतिनिधि संदीप पांडेय व नगर पालिका गंगाघाट के ईओ मुकेश कुमार मिश्रा व जेई घनश्याम मौर्या समेत अन्य पालिका कर्मचारी भी मौजूद रहे। काफी समय से नए पुल निर्माण की आस जगने से नगर के लोगों में खुशी व्याप्त है।
धीमी गति से चल रहा पोनी रोड चौड़ीकरण का काम, लोगों में निराशा
वहीं शुक्लागंज में पोनी रोड के चौड़ीकरण और सुदृढ़ीकरण का काम बीते दिनों शुरू तो हो गया है, लेकिन इसकी गति बेहद धीमी है। गंगाघाट कोतवाली के पास पोनी तिराहे से पोनी गांव तक लगभग साढ़े छह किलोमीटर लंबी सड़क का काम फरवरी में शुरू हुआ था, लेकिन अभी तक हाईवे के छोर पर ही काम चल रहा है।
लोक निर्माण विभाग ने इस सड़क के लिए 11 करोड़ 68 लाख 12 हजार रुपये की धनराशि स्वीकृत की है और अप्रैल तक काम पूरा करने का लक्ष्य रखा है। हालांकि, जिस गति से काम चल रहा है, उसे देखकर नहीं लगता कि यह समय सीमा पर पूरा हो पाएगा। स्थानीय लोगों का कहना है कि काम की धीमी गति के कारण उन्हें अभी भी बदहाल सड़क से ही गुजरना पड़ रहा है। सड़क पर जगह-जगह गड्ढे हैं, जिससे दुर्घटनाओं का खतरा बना रहता है।
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