धनुष टूटते ही जय श्रीराम से गूंज उठे पंडाल
मंगलवार की रात जनपद में विभिन्न स्थानों पर चल रहे रामलीला में धनुष यज्ञ का मंचन किया गया। दुद्धी व चोपन रामलीला मैदान में राम-सीता विवाह का ²श्य देखने के लिए हजारों की संख्या में लीला प्रेमी एकत्रित रहे। जैसे ही प्रभु राम ने धनुष को दो खंड में किया पूरा रामलीला मैदान श्री राम के जयकारों से गुंज उठा।
जागरण टीम, सोनभद्र : मंगलवार की रात जनपद में विभिन्न स्थानों पर हो रही रामलीला में धनुष यज्ञ का मंचन किया गया। दुद्धी व चोपन रामलीला मैदान में राम-सीता विवाह का ²श्य देखने के लिए हजारों की संख्या में लीला प्रेमी एकत्रित रहे। जैसे ही प्रभु राम ने धनुष को दो खंड में किया पूरा रामलीला मैदान श्री राम के जयकारों से गूंज उठा।
श्रीरामलीला कमेटी दुद्धी के तत्वाधान में आयोजित रामलीला मंचन में धनुषयज्ञ की लीला का मंचन हुआ। राजा जनक ने कहा, सीता को ब्रह्माजी ने उत्पन्न किया, पर क्या सीता के योग्य ब्रह्माजी ने वर नहीं बनाया। क्या पृथ्वी वीरों से खाली हो गई है। इस पर लक्ष्मण क्रोधित हो जाते हैं। गुरु की आज्ञा पर रामजी ने धनुष को उठाकर दो खंडों में विभाजित कर दिया। रामजी को धनुष लेते, चढ़ाते और जोर से खींचते किसी ने नहीं देखा। भयंकर ध्वनि से सब लोक भर गए और जनकपुर में खुशी छा गई। इस मौके पर रवीन्द्र जायसवाल, आलोक अग्रहरि, दिनेश आढती आदि रहे।
घोरावल : श्रीरामेश्वर रामलीला समिति द्वारा आयोजित रामलीला में मंगलवार को धनुष यज्ञ का आयोजन किया गया। रामलीला में परदा उठते ही राजा जनक का राजदरबार दिखाई पड़ता है। धरती के कई दूरदराज के भागों से आए राजाओं महाराजाओं का राजदरबार में आगमन होता है। भगवान श्रीराम और लक्ष्मण के साथ ब्रह्मऋर्षि विश्वामित्र भी राजदरबार में पहुंचते हैं। राज दरबार में उपस्थित पधारे राजा बारी बारी से धनुष के पास जाते हैं लेकिन प्रत्यंचा चढ़ाना तो दूर कोई भी धनुष को हिला तक नही पाता है। इसके बाद गुरू विश्वामित्र की आज्ञा लेकर श्रीराम धनुष को उठाकर उसकी प्रत्यंचा चढ़ाते हैं शिवधनुष खंडित होकर टूट जाता है। प्रतिज्ञा के अनुसार श्रीराम के गले में सीता वरमाला पहनाती हैं। उधर, राजा दशरथ बारात लेकर मिथिला पहुंचते हैं, जहां सीता, मांडवी, उर्मिला व श्रुतकीर्ति का विवाह क्रमश: राम, भरत, लक्ष्मण व शत्रुघ्न के साथ सम्पन्न होता है और देवगण आकाश से पुष्प वर्षा करते हैं।
चोपन : रामलीला मंचन के तीसरे दिन मध्य प्रदेश से आए कलाकारों द्वारा चोपन के रामलीला मंचन मे कलाकारों ने धनुष यज्ञ, सीता स्वयंवर, सीता-राम विवाह का मंचन किया। भगवान राम ने धनुष को तोड़ दिया। आकर्षक लीला को देखकर दर्शक भाव विभोर हो गए।
महुली : श्री राजा बरियार शाह रामलीला कमेटी की ओर से आयोजित रामलीला महोत्सव में धनुष यज्ञ की लीला का मंचन किया गया। रामलीला में दिखाया गया कि राजा जनक द्वारा मुनादी कराई जाती है कि जो भगवान शिव धनुष तोड़ेगा। उससे वे सीता का विवाह करेंगे। विश्वामित्र के आदेश पर श्री राम ने धनुष को तोड़ दिया।
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