सोनभद्र में पारिवारिक कलह में तीन लोगों ने दे दी अपनी जान
उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले में पारिवारिक कलह के कारण एक हृदयविदारक घटना घटी, जिसमें एक परिवार के तीन सदस्यों ने आत्महत्या कर ली। मृतकों में पति, पत्नी और उनका बच्चा शामिल हैं। पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और मामले की जांच कर रही है। पारिवारिक विवाद को आत्महत्या का कारण बताया जा रहा है।

सोनभद्र में शुक्रवार की रात तीन व्यक्तियों ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली।
जागरण संवाददाता, सोनभद्र। जनपद में शुक्रवार की रात तीन व्यक्तियों ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। राबर्ट्सगंज कोतवाली क्षेत्र के सुकृत ग्राम पंचायत के खानेआजमपुर में दिलीप यादव ने अपनी पत्नी के साथ हुए विवाद के बाद फांसी लगाई।
इस घटना के समय उनकी पत्नी और बच्चे घर में ही मौजूद थे। रात करीब दो बजे जब पत्नी ने शोर मचाया, तब परिवार के अन्य सदस्यों को इस घटना की जानकारी हुई। बताया गया है कि घरेलू मामलों को लेकर दोनों के बीच विवाद हुआ था। उस रात दिलीप अपनी पत्नी और बच्चों के साथ दरवाजा बंद कर सो रहे थे। जब स्वजन ने दिलीप को जिला अस्पताल पहुंचाया, तब चिकित्सक ने उसे मृत घोषित कर दिया।
इसी प्रकार, अनपरा थाना क्षेत्र के पिपरी सोनवानी गांव के 23 वर्षीय दीपक भारती ने ग्राम लोझरा में एक पेड़ पर बेल्ट के सहारे फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। दीपक ने ऐसा कदम क्यों उठाया, इसका पता नहीं चल सका है। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर मामले की जांच शुरू कर दी है।
शुक्रवार की रात ही अनपरा नगर पंचायत के वार्ड 20 में एक महिला ने भी फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। पुलिस ने तीनों शवों को अपने कब्जे में ले लिया है और मामले की गहनता से जांच की जा रही है।
इन घटनाओं ने क्षेत्र में शोक की लहर दौड़ा दी है। स्थानीय निवासियों का कहना है कि इस प्रकार की आत्महत्याएं चिंता का विषय हैं और इसके पीछे के कारणों का पता लगाना आवश्यक है। समाज में मानसिक स्वास्थ्य के मुद्दों पर चर्चा करने की आवश्यकता है, ताकि ऐसे मामलों को रोका जा सके।
विशेषज्ञों का मानना है कि घरेलू विवाद, आर्थिक समस्याएं और मानसिक तनाव जैसे कारक आत्महत्या के मामलों में वृद्धि का कारण बन सकते हैं। इसलिए, परिवारों को एक-दूसरे के प्रति संवेदनशील रहने और समस्याओं का समाधान संवाद के माध्यम से करने की आवश्यकता है।
इस प्रकार की घटनाएं न केवल पीड़ित परिवारों के लिए बल्कि समाज के लिए भी गंभीर चिंता का विषय हैं। समाज में जागरूकता फैलाने और मानसिक स्वास्थ्य के मुद्दों पर खुलकर चर्चा करने की आवश्यकता है।
पुलिस ने इन मामलों की जांच शुरू कर दी है और मृतकों के परिवारों से जानकारी जुटाई जा रही है। स्थानीय प्रशासन ने भी इस मुद्दे पर ध्यान देने का आश्वासन दिया है।
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