PUC Rate Hike: जनवरी से महंगी हो जाएगी वाहनों की प्रदूषण जांच, नए नियम में कितने देने होंगे रुपये?
नए साल से वाहनों की प्रदूषण जांच (पीयूसी) की दरें महंगी हो जाएंगी। इसके साथ ही, बिना वैध पीयूसी प्रमाणपत्र के वाहन चलाने पर 10 हजार रुपये तक का जुर्मा ...और पढ़ें

जागरण संवाददाता, सिद्धार्थनगर। नए साल से वाहनों की प्रदूषण जांच (पीयूसी) की दरें महंगी हो जाएंगी। इसके साथ ही, बिना वैध पीयूसी प्रमाणपत्र के वाहन चलाने पर 10 हजार रुपये तक का जुर्माना भी लगाया जा सकता है। हालांकि, इलेक्ट्रिक वाहनों को प्रदूषण जांच से मुक्त रखा गया है। इससे इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा मिलेगा, वहीं प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों पर अंकुश लगेगा।
परिवहन विभाग ने बढ़ते वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए जनवरी 2026 से डीजल, पेट्रेल, सीएनजी, एलपीजी से चलने वाले वाहनों के प्रदूषण जांच की दर बढ़ा दी है। अलग-अलग वाहनों के अलग-अलग रेट निर्धारित किए गए हैं। कई वाहन प्रदूषण मानकों का पालन नहीं कर रहे हैं, जिससे पर्यावरण और आम लोगों के स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव पड़ रहा है।
नए नियम के तहत वाहन स्वामी को पांच से 10 रुपये अधिक दाम देने पड़ेंगे। पेट्रोल से चलने वाले दोपहिया वाहनों की पीयूसी जांच अब 65 रुपये के बजाय 70 रुपये में होगी। पेट्रोल, एलपीजी या सीएनजी से चलने वाले तिपहिया वाहनों का शुल्क 85 से बढ़ाकर 90 रुपये किया गया है। पेट्रोल, एलपीजी और सीएनजी से चलने वाले चार पहिया वाहनों के लिए पीयूसी जांच शुल्क 90 रुपये निर्धारित किया गया है, जबकि डीजल वाहनों के लिए यह शुल्क 110 से बढ़ाकर 120 रुपये किया गया है।
नियमों का उल्लंघन करने पर सख्त कार्रवाईएआरटीओ प्रशासन प्रियंवदा सिंह ने कहा जनवरी से प्रदूषण प्रमाण पत्र की दर बढ़ जाएंगे। जिन वाहनों के पास वैध प्रदूषण प्रमाणपत्र नहीं पाया जाएगा, उन पर 10 हजार रुपये तक का जुर्माना लगाया जा सकता है।
नियमों के मुताबिक, दोपहिया, तिपहिया, चारपहिया, बस और ट्रक चाहे वे पेट्रोल, डीजल, सीएनजी या एलपीजी से चलते हों, सभी को हर छह महीने में प्रदूषण जांच कराना अनिवार्य है।

कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।