यूपी में नाबालिग से दुष्कर्म मामले में दो दोषियों को 20-20 साल की जेल, कोर्ट ने जुर्माना भी लगाया
शाहजहांपुर में नाबालिग से दुष्कर्म के मामले में दो दोषियों को अपर जिला जज ने 20-20 साल की कैद की सजा सुनाई है। दोनों पर 15-15 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। आरोपियों ने किशोरी का अपहरण कर दुष्कर्म किया था। पुलिस ने पीड़िता को दिल्ली से बरामद किया था। अदालत ने सरकारी वकील के तर्कों और पीड़िता के बयान के आधार पर यह फैसला सुनाया।

जागरण संवाददाता, शाहजहांपुर। नाबालिग से दुष्कर्म के मुकदमे में अपर जिला जज शिवकुमार तृतीय ने दो दोषियों को बीस-बीस वर्ष के कारावास की सजा सुनाई। उन्होंने दोनों पर 15-15 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया।
मदनापुर के एक गांव निवासी व्यक्ति ने बताया कि उनकी 15 वर्षीय नाबालिग बेटी घर में अपनी मां के साथ सो रही थी। रात लगभग दो बजे जब पत्नी की आंख खुली तो देखा कि बेटी चारपाई पर नहीं है। उसको रात में तलाशा किया, लेकिन कुछ पता नहीं चला।
अगले दिन थाने पहुंचे तो पुलिस ने प्राथमिकी लिखने की बजाय यह कहकर टरका दिया कि पहले खोजबीन कर लो। उन लोगों ने सभी रिश्तेदारों के घरों व परिचितों के पास भी तलाश किया, पर बेटी का कुछ पता नहीं चला, जिसके बाद पुलिस ने दो जुलाई 2023 को प्राथमिकी लिखी।
15 दिन बाद पुलिस ने किशोरी को बरामद किया। बताया कि उसे दिल्ली के प्रेमनगर थाना क्षेत्र निवासी ओगेन्द्र गुप्ता उर्फ नन्हे व रामवीर के पास से बरामद किया। दोनों के विरुद्ध अपहरण, दुष्कर्म सहित विभिन्न धाराओं में प्राथमिकी दर्ज करके आरोपपत्र न्यायालय मे दाखिल किया गया।
जहां बचाव पक्ष के अधिवक्ता ने कई तर्क रखे, लेकिन शासकीय अधिवक्ता दीप कुमार गुप्ता ने कहा कि ओगेंद्र ने दिल्ली ले जाकर किशोरी के साथ दुष्कर्म किया। उसके बाद उसने पीड़िता को रामवीर को बेच दिया। उसने भी उसके साथ दुष्कर्म किया। इसलिए दोनों को कड़ी सजा दी जानी चाहिए।
शासकीय अधिवक्ता के तर्क, वादी व पीड़िता के बयान के आधार पर अपर जिला जज ने ओगेंद्र व रामवीर को बीस-बीस कारावास की सजा सुनाई। दोनों पर 15-15 हजार रुपये अर्थदंड भी लगाया है। आेगेंद्र मूलरूप से बदायूं के इक्कोना गांव व रामवीर संभल के कादराबाद गांव का रहने वाला है।
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