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    कलम-दवात की पूजा कर की गई सुख-समृद्धि की कामना

    By JagranEdited By:
    Updated: Sun, 07 Nov 2021 12:08 AM (IST)

    विधिविधान से हुई लिपि कला के जनक भगवान चित्रगुप्त की पूजा

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    कलम-दवात की पूजा कर की गई सुख-समृद्धि की कामना

    संतकबीर नगर: कार्तिक मास की यम द्वितीया तिथि शनिवार को लेखन व लिपि कला के अग्रदूत कहे जाने वाले भगवान चित्रगुप्त की पूजा हुई। घरों में साफ-सफाई व सज्जाकर विधिविधान से आराधना की गई। स्तुति व आरती कर आने वाले समय में कल्याणकारी व जीविकोपार्जन के सशक्त आयाम व अष्ट सिद्धि नव निधि प्राप्ति की चित्रांश समाज के लोगों ने कामना की। कलम-दवात की पूजा करके लेखनी चलाई गई।

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    शहर के मड़या स्थित चित्रगुप्त चित्रांश मंदिर में अखिल भारतीय कायस्थ महासभा के तत्वावधान में आराध्य का पूजन किया। मंत्रोच्चारण से परिसर गुंजायमान रहा। आरती के पश्चात हवन करके समाज के उत्थान व सभी के विकास की प्रार्थना गई। इस मौके पर डा. हरिओम बख्शी, डा. सुजीत श्रीवास्तव, महासभा अध्यक्ष विनय प्रकाश श्रीवास्तव, डा. लतेंद्र, डा. आलोक, अविनाश, हर्षित श्रीवास्तव, धीरज, स्नेहिल, राहुल श्रीवास्तव, विशाल श्रीवास्तव, शीलू, अखिलेश, निशांत श्रीवास्तव, डा. राहुल सहित अनेक लोग मौजूद रहे। मेंहदावल में कायस्थ समाज ने की पूजा

    कायस्थ समाज के लोगों ने कलम-दवात की पूजा करके भगवान चित्रगुप्त को नमन किया। समाज के लोगों ने लेखन कार्य को बंद रखा व हवन-पूजन किया। फूल मालाओं से सजाए गए मंदिर में समाज के लोगों ने हवन-पूजन के साथ ही चित्रगुप्त कथा का श्रवण किया। जयंती पर आरती व स्तुति करके हवन-पूजन किया। धर्मसिंहवा, सांथा, बेलहर, दुधारा व मेंहदावल में कलम दवात की पूजा की धूम रही। कायस्थ समाज के तहसील अध्यक्ष सुनील श्रीवास्तव ने कहा कि भगवान चित्रगुप्त के एक हाथ में कलम तो दूसरी में तलवार है। वह समाज के शिल्पी है। इस मौके पर प्रशांत श्रीवास्तव, प्रनीत श्रीवास्तव, प्रतीक श्रीवास्तव,सचिन श्रीवास्तव, सिद्धांत श्रीवास्तव,स्वप्निल श्रीवास्तव, शुभम श्रीवास्तव, विवेक श्रीवास्तव आदि शामिल रहे। सेमरियावां में भी हुआ कलम पूजन

    सेमरियावां क्षेत्र में भी कायस्थ वंशजों ने विधिविधान से कलम पूजन किया। राउतपार, कानपारा, महुआरी, चिरैया दशहर, धुसुरा,जामडीह,उजरौटी, खुरहटा,पचपोखरी,इस्लामपुर, कायस्थ वंशजों ने अपने आराध्य देव का पूजन किया। ग्राम राउतपार में उदित नारायण लाल श्रीवास्तव ने कहा कि भगवान चित्रगुप्त आज भी स्वर्ग लोक में दुनिया का लेखा जोखा रखते हैं। हमें अपने आराध्य भगवान का अनुसरण कर अपने जीवन को सफल बनाना होगा।इस मौके पर डा. जितेंद्र कुमार श्रीवास्तव, उदित नारायण, संजय श्रीवास्तव, रसाल, विशाल, डीके श्रीवास्तव, हिमांशु श्रीवास्तव, प्रियांशु, अकाशुं, शुभ श्रीवास्तव, चंद्रशेखर, हरेंद्र, राजेश श्रीवास्तव, बृजेश श्रीवास्तव, सोनू श्रीवास्तव, दिवेंद्र श्रीवास्तव, बृजेश श्रीवास्तव, राकेश श्रीवास्तव आदि मौजूद रहे।