SIR in UP: ऑनलाइन वोटर आइडी में किसी दूसरे का नाम, ये देखकर तो यूपी के मतदाताओं का चकरा गया सिर
रायबरेली में ऑनलाइन वोटर आईडी में डेटा मिलान न होने से मतदाता परेशान हैं। वोटर आईडी नंबर डालने पर किसी और का नाम दिखने से लोगों में भ्रम है। बीएलओ इस समस्या का समाधान नहीं कर पा रहे हैं। उपजिलाधिकारी ने गड़बड़ी ठीक कराने का आश्वासन दिया है।

जागरण संवाददाता, रायबरेली। आनलाइन वोटर आइडी कार्ड नंबर डालने पर किसी दूसरे का नाम आ रहा है। ऐसा दो चार नहीं, बल्कि कई मतदाताओं के साथ हुआ। इसको लेकर मतदाता काफी भ्रमित हैं। इस समस्या का समाधान बीएलओ भी नहीं कर पा रहे हैं। मतदाताओं को चिंता सता रही कि आनलाइन डाटा का मिलान न होने से कहीं वह सब वंचित न हो जाएं।
लालगंज के महेश नगर मुहल्ला निवासी सभासद राकेश कुमार ने बताया कि वर्ष 2003 में उनके पूरे परिवार का नाम मतदाता सूची में शामिल था। आनलाइन वोटर आइडी नंबर के जरिए देखा तो उनकी वोटर आइडी पर संध्या नाम लिखकर आ रहा है। उनके भाई रमेश की वोटर आइडी संख्या डालने पर शशिकांत, भाभी सन्नू के स्थान पर ओम शिवा लिख कर आ रहा है।
मतदाता पहचानपत्र संख्या व मकान की क्रम संख्या वर्ष 2003 की मतदाता सूची देखकर डाली जा रही है। घोसियाना मुहल्ला निवासी मोइन अहमद ने बताया कि आनलाइन चेक करने पर उनके पिता गुलामनवी के मतदाता पहचान पत्र क्रमांक पर भगवानदीन व माता बिल्कीस की जगह पर कमरून्निशा लिखकर आ रहा है।
सभासद अफसरी बानो ने बताया कि महेश खेड़ा मुहल्ले में बेबी के स्थान पर गीता, मोहम्मद नइम के स्थान पर हरीशंकर व महेंद्र के स्थान पर हरिश्चंद्र लिखकर आ रहा है। सभी लोग अपने नाम के मतदाता पहचान पत्र में आनलाइन दूसरों के नाम देखकर हैरान व परेशान हैं।
इन लोगों ने जब इसकी शिकायत बीएलओ से की तो उनका कहना है कि उन्हें इस विषय में कोई जानकारी नहीं है। आनलाइन फीडिंग में डाटा का मिलान न होने पर वह तीसरे विकल्प में फार्म फीड कर रही हैं। उपजिलाधिकारी डलमऊ सत्येंद्र सिंह का कहना है कि एसआइआर फार्म अभिलेख लेकर फीड कराए जा रहे हैं, जो भी गड़बड़ी होगी उसे ठीक कराया जाएगा।

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