डॉ. विनय को निराला और रमाकांत को वंशीधर शुक्ल पुरस्कार
- उत्तर प्रदेश हिदी संस्थान लखनऊ से सूची जारी जिले के दो साहित्यकारों को मिलेगा सम्मान

रायबरेली : बैसवारे की धरती के कलमकारों ने एक बार फिर जिले का गौरव बढ़ाया है। लालगंज के डॉ. विनय भदौरिया को निराला तो इंदिरा नगर के रमाकांत तिवारी रामिल को वंशीधर शुक्ल पुरस्कार के लिए चुना गया है। उत्तर प्रदेश हिदी संस्थान लखनऊ द्वारा सूची जारी होने के बाद परिवारजनों में खुशी की लहर दौड़ गई।
शुक्रवार को पुरस्कार समिति की बैठक में कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. सदानंद प्रसाद गुप्ता की अध्यक्षता में सहमति बनने के बाद संस्थान निदेशक श्रीकांत मिश्रा द्वारा सूची को जारी की गई। इसमें 2019 में प्रकाशित पुस्तकों के आधार पर चुना गया। लालगंज के साकेत नगर निवासी साहित्यकार डॉ. विनय भदौरिया की अंतराएं बोलती हैं गीत मुक्तक के लिए निराला पुरस्कार में चुना गया है। सर्जना पुरस्कार में इंदिरा नगर निवासी रमाकांत तिवारी रामिल को अवधी काव्य संग्रह माटी पुस्तक के लिए वंशीधर शुक्ल पुरस्कार मिलेगा। इससे पहले भी उन्हें भारतेंद्र हरिश्चंद्र पुरस्कार, अवध ज्योति रजत जयंती वर्ष सम्मान, वियतनाम, सिगापुर, कंबोडिया, थाईलैंड में वर्ष 2019 का अंतरराष्ट्रीय हिदी उत्सव सम्मान और 2020 में यूएई और मालदीव में सम्मान मिल चुका है।
अनुभूतियों को समग्रता से व्यक्त करने में सक्षम हैं गीत
संवादसूत्र, लालगंज: नवगीत विधा के युवा कवि एवं अधिवक्ता डॉ. विनय भदौरिया सुविख्यात कवि स्व. डॉ. शिव बहादुर सिंह भदौरिया के बेटे हैं। उनकी पुस्तक धरा से गगन तक, शब्द पदी, नवगीत की दस्तकें, शब्दायन, गीत वसुधा, नवगीत और उसका युगबोध आदि प्रमुख हैं। अखिल भारतीय हिदी साहित्य संस्थान गुजरात व अहमदाबाद से साहित्याचार्य उपाधि समेत विवेकानंद, रूद्रदत्त शुक्ल शेखर, डा.सूरज प्रसाद शुक्ल, महेश अनघ, बैसवारा रत्न सम्मान आदि मिल चुके हैं। विनय भदौरिया कहते हैं कि नवगीत जीवन की समस्त अनुभूतियों को वर्तमान समग्रता से व्यक्त करने के लिए सक्षम है। डॉ. निरंजन राय, चंद्रप्रकाश पांडेय, अंजनी कुमार सिंह, डॉ.ओपी सिंह, राम प्रताप सिंह, अवनेंद्र सिंह, डॉ. एमडी सिंह आदि ने बधाई दी है।
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