प्रयागराज नगर निगम की जनसुनवाई में अफसर जपते रहे ‘आश्वासन’ की माला, समस्याओं के समाधान को परेशान रहे फरियादी
प्रयागराज नगर निगम की जनसुनवाई में लोगों को समस्याओं का समाधान नहीं मिला, केवल आश्वासन ही मिला। नाली निर्माण और सफाई जैसी मामूली समस्याओं के लिए भी लो ...और पढ़ें

नगर निगम में लोगों की समस्याएं सुनते अपर नगर आयुक्त राजीव कुमार शुक्ला। जागरण
जागरण संवाददाता, प्रयागराज। लगता तो ऐसा है कि नगर निगम में हर मंगलवार को होने वाली जनसुनवाई महज दिखावे तक सीमित रह गई है। मातहतों की फौज लेकर अफसर बैठते जरूर हैं, लेकिन समस्याओं का निस्तारण नहीं होता। मूलभूत सुविधाएं पाने के लिए एड़ियां घिस रहे शहरवासियों को सिर्फ आश्वासन ही मिलता है। इस बार की जनसुनवाई में भी अधिकारी इसी आश्वासन की माला जपते दिखे।
60% फरियादियों को पहले भी मिल चुका है आश्वासन
नियमों की जटिलता तो किसी के आगे बजट की समस्या बताई और शिकायती पत्र लेकर अपना पीछा छुड़ा लिया। जनसुनवाई में आए करीब 60 प्रतिशत फरियादी ऐसे थे, जिन्हें पहले भी आश्वासन की यह घुट्टी पिलाई गई थी। इस बार भी खाली हाथ ही जाना पड़ा।
अपर नगर आयुक्त ने की सुनवाई
नगर निगम में अपर नगर आयुक्त राजीव कुमार शुक्ला सुनवाई कर रहे थे। दुर्गा पूजा कमेटी नई बहराना के सचिव दीपक कीर्ति ने बताया कि घर के पास नाली कचरे से पटी है। अतिक्रमण भी हो गया है। जलभराव की समस्या से जूझना पड़ रहा है। एक साल के अंदर करीब पांच बार नगर निगम के चक्कर लगाए। अब तक नाली साफ नहीं हुई। जबकि, आसपास के कई घरों के लोग इससे परेशान हैं। नगर निगम में सिर्फ सुनवाई होती है, समस्याओं का निस्तारण नहीं कराया जाता।
समस्या को लेकर दो महीने से चक्कर लगा रही हूं...
वार्ड नंबर 17 मुंडी चक से आईं शीलू कुशवाहा ने बताया कि नाली के अभाव में पूरा पानी घर में भरा रहता है। समस्या को लेकर दो महीने से चक्कर लगा रही हूं। फिर भी दिक्कत दूर नहीं हुई। मजबूरन अपना घर छोड़कर किराए के मकान में रहना पड़ रहा है। वार्ड नंबर 50 मुंशी का पूरा के शिवनगर से आए लोग भी नगर निगम के अफसरों से नाराज थे।
पार्षद सिर्फ देते हैं आश्वासन
नीरज कुमार, रामबरन, संतोष कुमार, अभिषेक ने कहा कि जल निकासी के लिए बनवाई गई नाली की ढाल उल्टा कर दी गई है। ऐसे में पानी निकल ही नहीं पाता। बारिश के दिनों में बाहर का पानी घरों में घुस जाता है। पार्षद सिर्फ आश्वासन देकर काम चला रहे हैं। इस बार भी अपर नगर आयुक्त ने समस्या को दूर कराने का भरोसा दिया है। इसी तरह नैनी, झूंसी, मुंडेरा, धूमनगंज समेत अन्य इलाकों के लोग अपनी-अपनी समस्याएं लेकर पहुंचे थे।
पहले परमिट को दौड़ा, अब पेड़ भी खुद कटवाऊं?
लूकरगंज निवासी 80 वर्षीय सुगनी चंद प्रेमचंदानी ने बताया कि घर के सामने एक नीम का पेड़ है। नगर निगम के स्वामित्व वाले इस पेड़ की अक्सर डालें गिरती रहती हैं। कई बार लोग घायल हो चुके हैं। इसे नगर निगम कटवाने में दिलचस्पी नहीं दिखा रहा है। पहले परमिट का बहाना बताया। काफी दौड़भाग के बाद बुजुर्ग ने ही वन विभाग से परमिट लिया। परमिट लेकर नगर निगम की जनसुनवाई में पहुंचे तो कहा कि कर्मचारी व्यस्त हैं। खुद ही पेड़ कटवा लो।
नहीं दिखे नगर आयुक्त तो लौट गए फरियादी
वैसे तो इस जनसुनवाई में नगर आयुक्त साईं तेजा को शहरवासियों की फरियाद सुननी थी, लेकिन वह नहीं थे। उनकी जगह पर किसी अन्य अफसर को देख तमाम फरियादी बैरंग लौट गए। झूंसी से आई सुनीता, धूमनगंज से आए विनोद सिंह, ट्रांसपोर्ट नगर से आए अमरजीत द्विवेदी ने कहा कि अधिकारियों-कर्मचारियों को कई बार शिकायती पत्र दिया, लेकिन कुछ नहीं हुआ। अब नगर आयुक्त से मिलकर व्यथा बतानी है। इनमें से कोई दूषित पेयजल, कोई बदहाल सड़क तो कोई साफ-सफाई से जुड़ी समस्या लेकर आया था।
क्या कहते हैं अपर नगर आयुक्त
अपर नगर आयुक्त राजीव कुमार शुक्ला का कहना है कि नाली, सड़क और साफ-सफाई आदि से जुड़ी जो भी शिकायतें मिलीं हैं, उनका प्राथमिकता के आधार पर निस्तारण कराया जाएगा। संबंधित अधिकारियों को इसके निर्देश दिए जा चुके हैं।

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