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    मुकदमा दर्ज नहीं होगा तो कर लूंगी आत्महत्या... दुष्कर्म पीड़िता का दर्द, पुलिस ने एफआइआर नहीं लिखी, थाने से भगा दिया

    Updated: Sat, 13 Sep 2025 08:29 PM (IST)

    प्रयागराज के झूंसी में एक महिला ने पैथोलाजी संचालक पर शारीरिक संबंध बनाने और वीडियो प्रसारित करने का आरोप लगाया है। पीड़िता ने पुलिस पर एफआइआर दर्ज नहीं करने का आरोप लगाया। इससे क्षुब्ध होकर उसने आत्महत्या की धमकी दी है। पुलिस का कहना है कि मामले की जांच जारी है और आरोपित की पत्नी ने पीड़िता पर ब्लैकमेल करने का आरोप लगाया है।

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    प्रयागराज के झूंसी में पैथोलाजी संचालक पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए महिला ने आत्महत्या की धमकी दी है।

    संसू, झूंसी (प्रयागराज)। झूंसी क्षेत्र में एक पैथोलाजी संचालक पर वहां काम करने वाली महिला को बहला-फुसलाकर उसके साथ शारीरिक संबंध बनाने का आरोप है। इसके साथ ही उसका वीडियो बनाकर प्रसारित करने का भी महिला ने आरोप लगाया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

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    पीड़िता ने पैथोलाजी संचालक के खिलाफ थाने में तहरीर दी। उसका आरोप है कि पुलिस मुकदमा दर्ज करने के बजाय थाने बुलाकर पंचायत कराने लगी। शिकायत किए महीने भर होने को है, लेकिन वह थाने का चक्कर लगा रही है। आरोप लगाया कि पुलिस ने एफआइआर दर्ज करने की जगह उसे शुक्रवार को थाने से भगा दिया। परेशान पीड़िता ने न्याय नहीं मिलने पर खुदकुशी की चेतावनी दी है।

    महिला के मुताबिक वह झूंसी के एक पैथोलाजी में काम करती थी। पति से उसकी अनबन है। बेटा भी बीमार था। इसी सब विवशता का फायदा उठाते हुए पैथोलाजी संचालक उसके करीब आ गया और उसे बहला-फुसलाकर उसके साथ शारीरिक संबंध बनाया। इसका वीडियो भी बना लिया। बाद में वीडियो इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित करने की धमकी देकर उसके साथ तीन वर्षों से शारीरिक संबंध बनाता रहा।

    महिला के अनुसार जो वेतन देता था, वह भी बंद कर दिया। आरोप के अनुसार पीड़िता ने जब पैथोलाजी आना छोड़ दिया तो संचालक उसका पीछा करने लगा। बाद में जब पीड़िता नहीं मानी तो उसने अश्लील वीडियो उसके पति व मायके वालों को भेज दिया। उसने 18 अगस्त को मामले की लिखित शिकायत झूंसी पुलिस व महिला हेल्पलाइन में की। शिकायत के महीने भर होने को आ गए, लेकिन अभी तक झूंसी पुलिस ने रिपोर्ट दर्ज नहीं की।

    महिला ने बताया कि एफआइआर दर्ज करने के बजाय पुलिस उसे थाने में बुलाकर पंचायत करा रही थी। पीड़िता की मानें तो उसे एक बार थाने से फोन आया कि आपकी रिपोर्ट दर्ज हो गई आकर कापी ले जाओ। जब थाने गई तो बताया गया कि तहरीर में आपने हस्ताक्षर नहीं किया है। पीड़िता फिर दो दिन बाद थाने गई तो बताया गया कि तहरीर में तिथि नहीं लिखी है।

    शुक्रवार की फिर थाने बुलाया गया, जहां पैथोलाजी संचालक की पत्नी भी मौजूद थी। पीड़िता ने झूंसी थाना प्रभारी पर आरोप लगाया कि उन्हाेंने कहा कि आपके खिलाफ तहरीर आई है। आपस में आप लोग बात कर लो। जब उसने बात करने से इन्कार किया तो थाना प्रभारी ने थाने से भगा दिया। पीड़िता का कहना है कि न्याय न मिलने पर उसके पास आत्महत्या के अलावा कोई चारा नहीं बचेगा।

    इस संबंध में झूंसी थाना प्रभारी महेश मिश्र का कहना है कि महिला ने जिस पर आरोप लगाया उसकी पत्नी ने भी तहरीर दी है। उसका कहना है कि उसके पास कुछ ऐसे वीडियो साक्ष्य के रूप में है, जिस पर यह महिला उसके पति को ब्लैकमेल कर रही है। उससे काफी पैसे ऐंठ चुकी है और वसूली के लिए इस तरह की तहरीर दी है। दोनों पक्ष की तहरीर आई है, मामले की जांच की जा रही है। थाने से भगाने का आरोप गलत है।