Prayagraj Flood: संगम नगरी में नदियां बढ़ा रहीं धड़कन, अभी तक 23 हजार लोग हो चुके हैं बेघर; PHOTOS
प्रयागराज में बाढ़ से हालात अभी गंभीर बने हुए हैं। गंगा और यमुना का जलस्तर धीमी गति से घट रहा है जिससे बाढ़ प्रभावित लोगों की मुश्किलें कम नहीं हो रही हैं। करीब 30 हजार लोग बाढ़ से प्रभावित हैं और 23 हजार से ज्यादा लोग बेघर हो चुके हैं। प्रशासन की ओर से राहत और बचाव कार्य जारी है। बाढ़ से प्रभावित लोगों के लिए शिविर लगाए गए हैं।

जागरण संवाददाता, प्रयागराज। गंगा और यमुना का जल स्तर बेहद धीमी गति से घट रहा है। इसके कारण बाढ़ प्रभावित लोगों की मुश्किलें कम नहीं हो रही हैं। बाढ़ से लगभग 30 हजार लोग प्रभावित हैं। करीब साढ़े तीन हजार घरों में पानी घुसा है। इसकी वजह से लगभग 23 हजार लोग बेघर हो चुके हैं।
लगभग 1700 बाढ़ प्रभावित लोग तो बाढ़ राहत शिविरों में शरण लिये हैं। नदियों का पानी धीमी गति से वापस होने से पीड़ितों की धड़कन बढ़ ही रही हैं। ऊपर से मंगलवार को दिन भर हुई बारिश ने कोढ़ में खाज का काम किया। इस वर्षा के चलते फिर दोनों नदियों के जल स्तर में बढ़ोतरी के आसार उत्पन्न हो गए हैं। प्रशासन की ओर से इसके मद्देनजर अतिरिक्त सतर्कता बरतने के निर्देश हैं।

पुराना फाफामऊ में बाढ़ से घिरे घरों में स्थानीय लोगों ने दूसरे तल पर शरण ले ली है। पहला तल पानी में डूब चुका है। मंगलवार को नाव से भोजन का पैकेट पहुंचाने एनडीआरएफ की टीम पहुंची तो लोगों ने झोले में रस्सी बांधकर नीचे लटकाया, जिससे पैकेट ऊपर भेजे गए। जागरण
गंगा का जल स्तर प्रति घंटा एक सेमी से भी कम दर से घट रहा है। गंगा का जल स्तर सोमवार शाम से मंगलवार शाम तक 24 घंटे में 18 सेमी कम हुआ है। वहीं यमुना का जल स्तर इस 24 घंटे में लगभग 30 सेमी कम हुआ है। मंगलवार रात गंगा का जल स्तर 83.89 तो यमुना का जल स्तर 83.58 मीटर रहा।
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गंगा का जल स्तर अब भी चेतावनी बिंदु के ऊपर ही बह रहा था। चेतावनी बिंदु 83.73 मीटर है जबकि यहां खतरे का निशान 84.73 मीटर पर है। गंगा का जल स्तर सोमवार दोपहर 84.7 मीटर तक पहुंच गया था, जिसके बाद कम होना शुरू हुआ था।

कमरे में पानी भर जाने के बाद फाफामऊ में निर्माणाधीन पुलिस आवास के बाहर बरामदे में पटना बिहार के रहने वाले मजदूरों का परिवार शरणार्थी बना हुआ है । तीन दिन से यह यहीं फस गए हैं, लेकिन कोई प्रशानिक मदद यहां नहीं पहुंच सकी है । पार्षद और एनडीआरएफ की टीम आई भी तो यह कह के चली गई की वह मजदूर हैं, वह तो यहां इसलिए रह रहे ताकि कमरे का किराया न देना पड़े। पैकेट यहां स्थाई रूप से रह रहे लोगों के लिए हैं। जागरण
मंगलवार सुबह गंगा का जल स्तर 83.98 मीटर रहा जबकि यमुना का जल स्तर 83.80 मीटर पर रहा। बाढ़ से शहर के 20 मोहल्ले प्रभावित हो चुके हैं। इसी तरह छह तहसीलों के 150 से अधिक गांव प्रभावित हुए हैं। हजारों बीघा फसल भी जलमग्न हो गई है।
सड़कों पर पानी आने से कई गांवों का संपर्क भी टूट गया है। सबसे ज्यादा शहर के छोटा बघाड़ा और गंगा नगर मोहल्ले प्रभावित हुए हैं। दोनों मोहल्लों की ज्यादातर गलियों में नाव चल रही हैं।

खतरनाक : गंगा उफान पर हैं। फाफामऊ में बाढ़ का पानी प्रयागराज लखनऊ राजमार्ग से मात्र 100 की दूरी पर है। अथाह पानी के बीच मंगलवार को वर्षा भी शुरू हुई तो दिन भर बच्चे बाढ़ में नहाने पहुंचे। कई युवक बाइक से पानी में स्टंट करते रहे। कुछ गहरे पानी में नहाते रहे। यह बेहद ही खरतनाक था। लेकिन उन्हें रोकने टोकने वाला कोई नहीं था।-जागरण
प्रशासन के आंकड़ों में बाढ़ का असर
- -जनपद में बाढ़ से अब तक कुल-915 परिवारों के 6075 सदस्य प्रभावित हैं।
- -फाफामऊ एवं गंगानगर क्षेत्र में कुल-15 परिवारों के 75 सदस्य प्रभावित हैं जो घरों में ही हैं।
- -तहसील सदर में 14 मोहल्लों के कुल 393 परिवारों के 1694 पुरुष/महिला सदस्य सात शरणालयों में ठहरे हैं।
- तहसील सदर में कुल प्रभावित मोहल्ले-14
- आबादी व आवागमन प्रभावित मोहल्ले-14
- -बघाड़ा, राजापुर, बेली, दारागंज, सलोरी, कैलाशपुरी, शिवपुरी, ढरहरिया, बक्शी उपरहार, गंगानगर, मऊ कछार, द्रौपदी घाट, करनपुर, हड्डी गोदाम करेली।
राहत के प्रबंध
- 66 नाव संचालित
- कुल-18 मोटर बोट चलाई जा रहीं
- 2860 लंच पैकेट वितरित

बाढ़ के पानी में डूबा बंधवा स्थित हनुमान मंदिर। सौ सूचना
विस्थापितों के लिए अस्थायी राहत शिविर-
- सदर तहसील में सात बाढ़ शरणालयों में 393 परिवारों के 1694 लोगों को विस्थापित किया गया है।
-तहसील सोरांव में
- कुल प्रभावित ग्राम-दो
- आबादी व फसल व आवागमन प्रभावित ग्राम-दो
- केवल फसल प्रभावित ग्राम-चार
- केवल आवागमन प्रभावित ग्राम-दो -फाफामऊ, गंगानगर
- केवल आबादी प्रभावित -दो-फाफामऊ, गंगानगर
- राहत प्रबंध-दो नाव संचालित, 265 लंच पैकेट वितरित
तहसील फुलपूर
- कुल प्रभावित ग्राम-दो
- आबादी तथा फसल व आवागमन प्रभावित ग्राम-दो
- फसल व आवागमन प्रभावित ग्राम -तीन
- केवल फसल प्रभावित ग्राम-चार
- केवल आवागमन प्रभावित ग्राम-दो -बदरा सोनौटी, धोकरी उपहार
- केवल आबादी प्रभावित (कटान के कारण) -छह
- राहत व्यवस्था -12 नाव संचालित

दारागंज छाेटे हनुमान मंदिर के पास स्थित आश्रम परिसर में भरा बाढ़ का पानी।-जागरण
तहसील करछना
- कुल प्रभावित ग्राम-चार
- आबादी व फसल व आवागमन प्रभावित ग्राम-दो
- फसल व आवागमन प्रभावित-तीन
- केवल फसल प्रभावित ग्राम-चार
- केवल आवागमन प्रभावित ग्राम-चा-हथसरा, भगेसर देहली, मनैया, महेवा तालुका भुंडा
- केवल आबादी प्रभावित (कटान के कारण)-छह
- राहत प्रबंध-चार नाव संचालित
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कंट्रोल रूम नंबर-0532-2641577 एवं 2641578
हेल्पलाइन नंबर -1070 व 1077
बाढ़ नियंत्रण कक्ष -9450105231

दारागंज दशाश्वामेद्य घाट रोड पर बाढ़ का पानी।-जागरण
फाफामऊ में गंगा का जल स्तर (मीटर में)
| सोमवार सुबह | सोमवार रात | मंगलवार सुबह | मंगलवार रात |
| 84.07 | 84.04 | 83.98 |
नैनी में यमुना का जल स्तर (मीटर में)
| सोमवार सुबह | सोमवार रात | मंगलवार सुबह | मंगलवार रात |
| 83.91 | 83.90 | 83.80 | 83.58 |
यहां चल रहीं नाव-
जिले में कुल 66 नावें चलाई जा रही हैं। फूलपुर के ग्राम बदरा सोनौटी में आवागमन के लिए नौ नाव, धोकरी उपरहार में चार, करछन के भगेसर देहली में एक, हथसरा में एक, मनैया में एक, महेवा में एक, सदर तहसील के दारागंज में सात, सलोरी में एक, बघाड़ा में 10, रसूलाबाद में चार, राजापुर एवं बेली में 25 नावें संचालित हो रही हैं। सोरांव के गंगा नगर में एक तथा फाफामऊ में एक नाव आवागमन के लिए लगाई गई है।

निरंजन डाॅट पुल के नीचे बारिश के बाद जल भराव।-जागरण
बाढ़ से फसलें बर्बाद, सर्वे के बाद मिलेगा मुआवजा
बाढ़ से तटीय इलाकों में फसलें बर्बाद हो गई हैं। शासन ने जिला प्रशासन को निर्देश दिए हैं कि बाढ़ उतरते ही इसका सत्यापन कराया जाए और शीघ्र ही किसानों को मुआवजा दिया जाए। एडीएम वित्त एवं राजस्व ने बताया कि शासन से निर्देश मिल गया है। बाढ़ का पानी कम होने पर राजस्व विभाग और कृषि विभाग का संयुक्त सर्वे कराया जाएगा।

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