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    राजू पाल हत्याकांड में कोर्ट के फैसले से गवाहों को संतोष, Mafia Atiq ने बदलवा दी थी 13 लोगों की गवाही

    राजू पाल हत्याकांड के मुकदमे के तत्कालीन विवेचक नारायण सिंह परिहार ने कहा कि जिस तरह से माफिया ने उन पर दबाव बनाया था उसी तरह गवाहों को भी तमाम दुख दिए थे। उसकी प्रताड़ना से तंग होकर तमाम लोग पुलिस के सामने भी बयान देने नहीं आते थे और घबराते थे।अतीक ने रुखसाना समेत 13 गवाहों को पक्षद्रोही बना लिया था।

    By Jagran News Edited By: Riya Pandey Updated: Sat, 30 Mar 2024 07:51 PM (IST)
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    राजू पाल हत्याकांड में कोर्ट के फैसले से गवाहों को संतोष

    जागरण संवाददाता, प्रयागराज। बसपा विधायक राजू पाल की हत्या के बाद माफिया अतीक अहमद ने बाहुबल व राजनीतिक पकड़ के बल पर गवाहों को परेशान किया था। उसने उमेश पाल समेत कई गवाहों का अपहरण करवाया। कुछ को प्रलोभन दिया, लेकिन जो नहीं मानें उनको अलग-अलग तरह से फंसाकर अपने पक्ष में किया।

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    अतीक अहमद ने चश्मदीद गवाह रुखसाना सहित 13 गवाहों की गवाही बदलवा ली थी। अपने कार्यालय में शपथ पत्र बनवाकर सभी का हस्ताक्षर व अंगूठा लगवाया और उसे अदालत में पेश किया था।

    कोर्ट के फैसले से गवाहों को संतोष

    कुछ लोगों को फर्जी मुकदमे में फंसाया तो कई के खिलाफ ऐसा करने का प्रयास किया था। उसकी दबंगई के चलते गवाह इतने भयभीत हो गए थे कि वे अदालत तक नहीं जाते थे। शुक्रवार को जब सीबीआइ कोर्ट ने निर्णय सुनाया तो गवाहों के चेहरे पर संतोष का भाव दिखा।

    माफिया अतीक ने गवाहों को भी दिए थे तमाम दुख

    राजू पाल हत्याकांड के मुकदमे के तत्कालीन विवेचक नारायण सिंह परिहार ने कहा कि जिस तरह से माफिया ने उन पर दबाव बनाया था, उसी तरह गवाहों को भी तमाम दुख दिए थे। उसकी प्रताड़ना से तंग होकर तमाम लोग पुलिस के सामने भी बयान देने नहीं आते थे और घबराते थे।

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    अतीक ने रुखसाना समेत 13 गवाहों को पक्षद्रोही बना लिया था। माफिया अतीक अहमद का पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों पर भी काफी प्रभाव था। इसका इस्तेमाल करते हुए उसने विवेचक इंस्पेक्टर सुरेंद्र सिंह की 13 फाइल खुलवा दी थी, ताकि विभागीय जांच शुरू होने से वह माफिया के पक्ष में विवेचना करे। सुरेंद्र का बांदा तबादला करा दिया।

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