इलाहाबाद हाई कोर्ट ने की कोडीनयुक्त कफ सीरप मामले में दो आरोपितों की याचिका खारिज
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने कोडीनयुक्त कफ सीरप मामले में दो आरोपितों की याचिका खारिज कर दी। न्यायालय ने एफआईआर रद करने और गिरफ्तारी पर रोक लगाने की म ...और पढ़ें

विधि संवाददाता, प्रयागराज। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने कोडीनयुक्त कफ सीरप मामले से जुड़े दो आरोपितों की याचिका खारिज कर दी है। यह आदेश न्यायमूर्ति अजय भनोट तथा न्यायमूर्ति गरिमा प्रसाद की खंडपीठ ने अखिलेश प्रकाश उर्फ सिंटू व आकाश मौर्य की याचिका पर दिया है। दोनों आरोपितों ने जौनपुर कोतवाली में अपने खिलाफ दर्ज एफआइआर को रद करने और गिरफ्तारी पर रोक लगाने की मांग की थी।
याची के अधिवक्ता का कहना था प्राथमिकी से अपराध बीएनएस के तहत बनता है, पुलिस ने एनडीपीएस एक्ट की धाराएं लगाई हैं जबकि मामले में नारकोटिक्स एक्ट का कोई अपराध नहीं बनता। अपर महाधिवक्ता अनूप त्रिवेदी का कहना था कि कोडीनयुक्त कफ सीरप ड्रग्स की श्रेणी में आता है।
एक्ट के प्रविधानों के अनुसार याची सीरप की खरीद-बिक्री से जुड़े रिकार्ड दिखाने में असफल रहे हैं, इसलिए मामला एनडीपीएस एक्ट का है। हाई कोर्ट ने अपराध की गंभीरता को देखते हुए याचिका खारिज कर दी। गौरतलब है कि इसी मामले में करीब दो दर्जन अन्य आरोपियों की याचिका पर हाई कोर्ट की एक अन्य पीठ में भी सुनवाई चल रही है जिसमें 17 दिसंबर को सुनवाई होनी है।
कानपुर में भी अग्रिम जमानत प्रार्थनापत्र खारिज
अपर जिला जज-4 आजाद सिंह की कोर्ट ने कोडीनयुक्त कफ सीरप बिक्री के मामले में आरोपित अनमोल गुप्ता का अग्रिम जमानत प्रार्थनापत्र खारिज कर दिया। अभियोजन ने कोर्ट में जमानत प्रार्थना पत्र का विरोध करते हुए कहा कि इस सीरप की अवैध बिक्री से कई राज्यों में बच्चों की मौत हो चुकी है। यह गंभीर प्रकृति का अपराध है।

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