Road Safety: हेलमेट ने दी नई जिंदगी, अपने परिवार की खुशहाली के लिए आप भी जरूर बरतें यह सावधानी
हादसे के दौरान हेलमेट जीवन रक्षक साबित हुआ था। उनके सिर व चेहरे पर गंभीर चोट नहीं आई। हालांकि हाथ पैरों में गहरी चोट पहुंची थी। काफी दिन बिस्तर पर रहना पड़ा था। जिस तरह से सड़क पर गिरी थीं उनकी जान भी जा सकती थी।

प्रतापगढ़, जेएनएन। बाइक और स्कूटी से जब भी कहीं बाहर निकलें हेलमेट न भूलें। यही बात याद रखेंगे तो आपका सफर सुहाना व सुरक्षित रहेगा। खुद के सजने और संवरने से कहीं अधिक महत्वपूर्ण हेलमेट लगाना है। दुर्घटना की चपेट में आने पर उस क्षण केवल हेलमेट ही आपकी जिंदगी को बचा सकेगा। बाकी लोग तो बाद में पहुंचेंगे।
स्कूटी से स्कूल जाते समय हादसे में घायल हो गईं थीं शिक्षिका कंचन
यह कहानी नहीं, आपबीती है सड़क हादसे से उबरी शिक्षिका कंचन वर्मा की। जागरण से अपने अनुभव को साझा करते हुए कहने लगीं कि वह दिन नहीं भूलता, जब मौत से सामना हुआ था। गड़वारा बाजार की रहने वाली कंचन संडवा चंद्रिका के कंपोजिट विद्यालय गणेशपुर में सहायक अध्यापिका पद पर तैनात हैं। वह महीने भर पहले स्कूटी से विद्यालय के लिए जा रही थीं। रास्ते में चिलबिला मुसाफिरखाना हाईवे पर स्थित एआरटीओ कार्यालय के पास सड़क हादसे की शिकार हो गई थीं।
जान बची तो अब दूसरों को भी कर रही हैं सुरक्षित ड्राइविंग को प्रेरित
इस हादसे के दौरान उनके द्वारा पहना गया हेलमेट उनके लिए जीवन रक्षक साबित हुआ था। इससे उनके सिर व चेहरे पर कोई गंभीर चोट नहीं आई। हालांकि इस दौरान हाथों और पैरों में गंभीर चोट आ गई थी। काफी दिन बिस्तर पर रहना पड़ा था। जिस तरह से वह सड़क पर गिरी थीं, उनकी जान भी जा सकती थी। उन्होंने संदेश दिया कि यातायात नियमों का पालन जरूर करें, क्योंकि आखिर जान है तो जहान है।
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