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    पीलीभीत टाइगर रिजर्व में अब पर्यटकों को होगा हाथियों का दीदार, ऐसे होगी देखभाल

    Updated: Mon, 08 Sep 2025 11:55 PM (IST)

    पीलीभीत टाइगर रिजर्व में अब पर्यटक बाघ भालू तेंदुए के साथ हाथियों के भी दर्शन कर सकेंगे। प्रशासन मुस्तफाबाद गेस्ट हाउस में हाथियों को रखने की तैयारी कर रहा है जहाँ बाड़ा भी बनाया जाएगा। कर्नाटक से लाए गए हाथियों को जंगल में गश्त और मानव-वन्यजीव संघर्ष रोकने के लिए प्रशिक्षित किया जा रहा है।

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    टाइगर रिजर्व में पर्यटकों को अब होंगे हाथियों के भी दीदार

    बहजत खान, माधोटांडा। पीलीभीत टाइगर रजर्व में आने वाले पर्यटकों को बाघ भालू और तेंदुआ समेत विभिन्न प्रकार के वन्य जीव आकर्षित करते हैं। लेकिन अब यहां पर आने वाले पर्यटकों को हाथियों के भी दीदार हर दिन होंगे।

    टाइगर रिजर्व प्रशासन ने इसके लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली हैं। टाइगर रिजर्व के दो हाथियों को अब महोफ रेंज के मुस्तफाबाद गेस्ट हाउस पर भेजने की तैयारी की जा रही है। गेस्ट हाउस परिसर में भी हाथियों का बाड़ा भी जल्द ही बन जाएगा।

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    टाइगर रिजर्व प्रशासन के द्वारा कर्नाटक से चार हाथियों को खरीद कर लाया गया था। इन चारों हाथियों को तब से माला गेस्ट हाउस के पास में ही रखा गया है। इन हाथियों को तब से लगातार प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इनमें से दो हाथियों की आयु अभी कम है। इन हाथियों को टाइगर रिजर्व लाने का मुख्य उद्देश्य जंगल के भीतर गश्त करना व मानव वन्यजीव संघर्ष जैसी घटनाओं को रोकना है।

    पर्यटकों को करेंगे आकर्षित

    लेकिन अब यह हाथी टाइगर रिजर्व में भ्रमण करने वाले पर्यटकों को भी खूब आकर्षित करेंगे। यहां आने वाले पर्यटकों को अब हर दिन हाथियों के दीदार हुआ करेंगे। माला गेस्ट हाउस से दो हाथियों को अब मुस्तफाबाद गेस्ट हाउस के पास रखा जाएगा। हाथियों के रख-रखाव के लिए टाइगर रिजर्व प्रशासन के द्वारा हाथियों का बाड़ा भी बनाने की तैयारी कर ली गई है।

    बाड़ा बनाने के लिए टेंडर प्रक्रिया भी पूरी हो चुकी है। राजश्री इंटरप्राइजेज नामक एक संस्था को 709115 लाख रुपए में हाथियों का बाड़ा बनाने का ठेका भी दे दिया गया है। 3 अक्टूबर तक कार्य पूरा करने का समय भी दिया गया है। इस बार 1 नवंबर से ही पर्यटन सत्र भी प्रारंभ हो जाएगा। ऐसे में यहां पर आने वाले पर्यटकों को इसी पर्यटन सत्र से ही हाथियों के प्रतिदिन दीदार होंगे। मुस्तफाबाद गेस्ट हाउस से ही पर्यटकों को सफारी की बुकिंग कराई जाती है।

    यहीं से सफारी वाहन भी उपलब्ध होते हैं। खासबात यह है कि यहां पर ही हाथियों को भी रखा जाएगा। ऐसे में पर्यटकों को हाथियों के दीदार होना निश्चित है। यह हाथी अब इंसानों से इतना घुल मिल गए हैं कि वह इंसानों को खूब दुलार करते हैं। माला क्षेत्र में रहते हुए इन हाथियों की इंसानों के साथ दुलार करते हुए फोटो भी खूब प्रसारित होती हैं।

    गेस्ट हाउस के पास ही जल्द हाथियों को रखा जाएगा। माला गेस्ट हाउस से दो हाथियों को यहां पर भेजा जाएगा। - सहेंद्र कुमार यादव, रेंजर महोफ।