शिकायतों का निस्तारण करने में देश में अव्वल यूपी रेरा : राजीव कुमार
जागरण संवाददाता ग्रेटर नोएडा विभिन्न बिल्डर परियोजनाओं में फंसे फ्लैट खरीदारों की शिकायतों का निस्तारण करने में उत्तर प्रदेश भू संपदा विनियामक प्राधिकरण (यूपी रेरा) के अधिकारियों ने देश में अव्वल होने का दावा किया है।

जागरण संवाददाता, ग्रेटर नोएडा : विभिन्न बिल्डर परियोजनाओं में फंसे फ्लैट खरीदारों की शिकायतों का निस्तारण करने में उत्तर प्रदेश भू संपदा विनियामक प्राधिकरण (यूपी रेरा) के अधिकारियों ने देश में अव्वल होने का दावा किया है। रेरा में 44,555 शिकायतें दर्ज हुई हैं, जो देश के अन्य प्राधिकरणों में दर्ज शिकायतों के मुकाबले 38 प्रतिशत है। रेरा अधिकारियों ने 39,709 शिकायतों का निस्तारण करने का दावा किया है, जो देश में निस्तारित शिकायतों का 40 प्रतिशत है। गामा दो सेक्टर स्थित यूपी रेरा के क्षेत्रीय कार्यालय में बुधवार को बैठक में रेरा अध्यक्ष राजीव कुमार ने रेरा अधिकारियों के साथ विभिन्न बिदुओं पर मंथन करने के बाद ये जानकारी साझा की।
राजीव कुमार ने बताया कि यूपी रेरा के आदेशों का अनुपालन न होने पर 12,228 फ्लैट खरीदारों ने पुन: आवेदन किया है। इनमें 7,377 रिफंड संबंधित व 4,290 मामले इकाई के कब्जे से संबंधित है। आदेशों का पालन न करने पर रेरा ने 5,625 मामलों में वसूली प्रमाणपत्र जारी किए हैं। इन मामलों में रेरा को 1761.88 करोड़ रुपये की वसूली करनी है। रेरा का दावा है कि 2,699 मामलों में 344.62 करोड़ रुपये की वसूली कर आवंटियों के खातों में भेजी जा चुकी है। रेरा में 2,056 पहले से पंजीकृत बिल्डर परियोजनाएं है, जबकि 1,211 नई परियोजनाएं पंजीकृत हुई है। रेरा अधिकारियों का दावा है कि रेरा में पंजीकृत 2,056 परियोजनाओं में 1,300 परियोजनाएं पूर्ण हो चुकी हैं।
बाक्स..
-रेरा में पंजीकृत परियोजनाएं- 3267
-रेरा में दर्ज शिकायतें - 44555
-शिकायतों का हुआ निस्तारण -39709
-कब्जे में विलंब के लिए ब्याज के भुगतान के लिए कुल आदेश -4721
-पीठों में सुनवाई के दौरान बिल्डर व फ्लैट खरीदारों में हुआ समझौता- 1311
-कंसीलेशन फोरम में बिल्डर व फ्लैट खरीदारों के बीच कराया गया समझौता- 973
-रेरा द्वारा जारी वसूली प्रमाणपत्र -5625 बाक्स..
विभिन्न राज्यों में बिल्डर व फ्लैट खरीदारों से दर्ज शिकायतें
राज्य दर्ज शिकायत निस्तारित शिकायत
बिहार 3310 1154
गुजरात 10996 3412
हरियाणा 26444 19424
कर्नाटक 6653 3253
महाराष्ट्र 17848 12039
उत्तर प्रदेश 44555 39709
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