अगर Child PGI के पास नहीं है वैक्सीन तो अब बाहर से खरीदकर भी बच्चे को लगा सकते हैं पैरेंट्स
नोएडा के चाइल्ड पीजीआई में अब टीकों की कमी नहीं होगी क्योंकि प्रबंधन ने एक कोल्ड स्टोरेज रूम बनाया है। इससे अभिभावक बाहर से टीके खरीदकर भी लगवा सकेंगे, जिससे उन्हें आर्थिक बचत होगी। इसके अलावा, प्रबंधन ने मरीजों की सुविधाओं और अस्पताल के रखरखाव (लीकेज और जर्जर दीवारों सहित) के लिए सरकार को 60 करोड़ रुपये का प्रस्ताव भेजा है, जिसमें आईआईटी रुड़की की सलाह भी शामिल है।
चाइल्ड पीजीआई में टीकों की उपलब्ध की गई बेहतर।
जागरण संवाददाता, नोएडा: Child PGI में अब टीकाकरण की डोज कम होने की परेशानी नहीं झेलनी पड़ेगी। प्रबंधन ने भर्ती मरीजों और बाहर के शिशुओं के टीकाकरण के लिए कोल्ड स्टोरेज रूम बनाया है।
वहां अब अधिक संख्या में वैक्सीन की डाेज रखी जा सकेंगी। अभिभावक सरकारी कार्यक्रम में उपलब्ध न होने वाली वैक्सीन भी बाहर से खरीदकर लगवा सकेंगे।
अभिभावक और तीमारदारों से टीकाकरण के लिए कोल्ड चेन का ध्यान रखना होगा। वहीं, प्रबंधन ने 60 करोड़ रुपये की लागत से मरीजों के लिए सुविधा और व्यवस्था बनाने के लिए शासन को प्रस्ताव भेजा है।
मरम्मत के लिए आईआईटी रुड़की ने बताया एस्टीमेट
इसमें आईआईटी रुड़की का मेंटेनेंस का प्रस्ताव भी है। करीब 1200 करोड़ रुपये की लागत से बने चाइल्ड पीजीआई में लीकेज और जर्जर दीवारों से स्थिति बिगड़ी हुई है।
प्रबंधन ने राजकीय निर्माण निगम की मदद से आईआईटी रुड़की से संपर्क किया था। वहां के एक्सपर्ट ने कई निरीक्षण के बाद मेंटेनेंस के लिए एस्टीमेट बनाकर निर्माण निगम को भेजा था।
इसकी अनुमानित लागत करीब 30 करोड़ है। उसके अलावा संस्थान के जिन विभाग में फैकल्टी हैं। उनके उपकरण और मशीनें मंगाने के लिए करीब करीब 20 करोड़ का प्रस्ताव तैयार किया है।
बाहर वैक्सीन लगवाने पर 1000 रुपये अतिरक्त खर्च होता है
साथ ही स्टाफ की सुविधा व जरूरी खर्चों के लिए भी शासन से मांग की है। वहीं, पीजीआई में सरकारी कार्यक्रम के तहत ही सीमित वैक्सीन लगाई जाती है।
अभिभावकों को बाकी वैक्सीन प्राइवेट अस्पतालों में जाकर लगवानी पड़ती है। इसमें उनका 500-1000 हजार रुपये का अतिरिक्त खर्चा होता है।
ये वैक्सीन चाइल्ड पीजीआई में लगवाई जा सकती हैं
निदेशक डाॅ. अरुण कुमार सिंह ने बताया कि टीकाकरण कक्ष में अब अभिभावक बाहर से डोज खरीदकर बच्चों को लगवा सकते हैं। इससे उन्हें आर्थिक बचत होगी। उनके मुताबिक, इफ्लूएंजा, टायफाइड, हेपेटाइटिस -ए और चिकन पाॅक्स समेत अन्य बीमारियों के टीके बाहर से खरीदकर लगवा सकते हैं।
उसके अलावा बच्चों के टीके की डोज में किसी प्रकार की खराबी न हो। इसके लिए ऊपर तल पर कोल्ड स्टोरेज रूम बनवाया गया है। वहां से 50 से 100 डोज और अन्य वैक्सीन किट रखी जा सकेंगी।
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