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    Noida News: मानसिक बीमार युवती से दुष्कर्म करने वाले दोषी को 14 साल की सजा, झुग्गी में किया था गलत काम

    Updated: Wed, 24 Dec 2025 04:53 AM (IST)

    अपर सत्र न्यायाधीश/त्वरित न्यायालय द्वितीय की जज प्रियंका सिंह की अदालत ने मानसिक बीमार युवती से दुष्कर्म करने वाले सोनू निवासी पानापुर गांव, थाना पान ...और पढ़ें

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    जागरण संवाददाता, ग्रेटर नोएडा। अपर सत्र न्यायाधीश/त्वरित न्यायालय द्वितीय की जज प्रियंका सिंह की अदालत ने मानसिक बीमार युवती से दुष्कर्म करने वाले सोनू निवासी पानापुर गांव, थाना पानापुर जिला छपरा बिहार को 14 वर्ष के कठोर कारावास और 50 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है। अर्थदंड जमा नहीं करने पर दोषी को दो माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा।

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    सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता (फौजदारी) शिल्पी भदौरिया ने बताया कि घटना सेक्टर-113 कोतवाली क्षेत्र के अंतर्गत झुग्गी-झोपड़ी में 30 जुलाई 2023 को हुई थी। पीड़िता की मां ने बयान में बताया कि वह काम से लौट रही थीं, तो एक बच्चे ने उन्हें झुग्गी पर बुलाया। वह अंदर पहुंचीं तो उनकी 20 वर्षीय बेटी के साथ आरोपित गलत काम कर रहा था।

    मां ने शोर मचाने पर पहुंची पड़ोसी के साथ मिलकर पीड़िता को बचाया। इस दौरान आरोपित मौके से भाग निकला। पीड़िता की मां की तहरीर पर पुलिस ने मामला दर्ज कर आरोपित को सेक्टर-113 कोतवाली क्षेत्र से गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेज दिया था। पुलिस ने पीड़िता का मेडिकल व डीएनए परीक्षण के लिए नमूने विधि विज्ञान प्रयोगशाला भेजे थे।

    अदालत ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कहा पीड़िता मानसिक बीमार युवती है। उसकी असहाय स्थिति का लाभ उठाकर आरोपित ने दुष्कर्म किया। आरोपी द्वारा किया दुष्कर्म धारा 376 (2) भारतीय दंड संहिता की परिधि में आता है। अदालत ने आरोपित को दोषी करार देते हुए 14 वर्ष की सजा सुनाई। आरोपित द्वारा अर्थदंड की राशि अदा किए जाने पर संपूर्ण धनराशि पीड़िता को प्रतिकर के रूप में दी जाएगी।

    अदालत ने कहा कि पीड़िता की उम्र, अवस्था और अपराध की प्रकृति को देखते हुए 50 हजार रुपये का अर्थदंड प्रतिकर के रूप में पर्याप्त प्रतीत नहीं होता। इसलिए पीड़िता को मुआवजा योजना के अंतर्गत नियमानुसार प्रतिकर दिए जाने की संस्तुति की है। आदेश की एक प्रति सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण को भेजी गई है।

    दुष्कर्म मामले में आरोपित की जमानत याचिका खारिज

    उधर, पॉक्सो अदालत ने नाबालिग से दुष्कर्म के आरोपित साहिल मंगल उर्फ साहिल की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी। जेवर कोतवाली में आरोपित के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था। 12 नवंबर 2025 की रात शिकायतकर्ता की पुत्री घर से बिना बताए कहीं चली गई थी। तलाश के बाद भी बेटी के नहीं मिलने पर पुलिस से गुहार लगाई थी।

    पुलिस ने जांच के बाद आरोपित के खिलाफ मामला दर्ज किया था। आरोपित के अधिवक्ता ने बताया कि पीड़िता आरोपित के कब्जे से बरामद नहीं हुई है। तीन दिन की देरी से मामला दर्ज किया गया, लेकिन कोई स्पष्टीकरण नहीं दिया गया। अदालत ने केस डायरी और अन्य दस्तावेजों को देखने के बाद आरोपित को जमानत देने से मना कर दिया।