20 से 28 डिग्री के बीच रखना होगा AC, एयर कंडीशनर के तापमान को लेकर क्या है नया नियम?
गर्मी में एसी के तापमान को लेकर सरकार नए नियम बना रही जिसके अनुसार एसी 20 से 28 डिग्री के बीच ही चलेंगे। विशेषज्ञों का मानना है कि 20 डिग्री से कम तापमान पर बिजली की खपत बढ़ जाती है। नए नियमों से बिजली की बचत होगी और कंप्रेसर फटने का खतरा भी कम होगा। एसी का सही तापमान स्वास्थ्य के लिए भी आवश्यक है।

चेतना राठौर, नोएडा। गर्मी बढ़ते ही एसी की ठंडक की जरूरत महसूस होने लगती है। इन दिनों एयर कंडीशनर का तापमान चर्चा में बना हुआ है। सरकार एसी के तापमान नए स्टेंडर्ड पर तय करने नियम ला रही है।
आने वाले समय में ऐसे एसी का उत्पादन होगा तो 20 डिग्री से 28 डिग्री के बीच संचालित होंगे। न 20 डिग्री से नीचे और न ही 28 डिग्री से ऊपर रख सकेंगे। नए नियम पर विशेषज्ञों कहना है कि एसी का तापमान 20 डिग्री होने से बिजली की खपत अधिक होने लगती है।
बिजली की खपत होने से बिल भी अधिक आने लगता है। कंप्रेशर फटने का डर बना रहता है। घटनाएं भी होती रहती हैं। नए नियमों से बिजली की खपत में तो कमी आएगी ही साथ ही पाकेट का भार भी हल्का होगा। एसी का अधिक तापमान इंसान को बीमार भी करता है। नए नियम काफी लाभदायक साबित होंगे।
50 प्रतिशत कम होगी बिजली की खपत
एमिटी यूनिवर्सिटी के मेकेनिकल विभाग के अध्यक्ष प्रो. डा. बसंत सिंह सिकरवार ने बताया कि एक से डेढ़ टन का एसी रातभर 20 डिग्री सेल्सियस पर चलता है, तो तीन हजार रुपये बिजली का बिल आता है यदि 28 डिग्री सेल्सियस पर चलता है, तो ढाई हजार बिजली का बिल आएगा।
यानी तापमान बढ़ाने से बिजली की खपत कम होगी। वाष्प कंप्रेसर साइकिल का उपयोग किया जाता है। एसी बाहर के तापमान के मुकाबले अंदर के तापमान को 10 से 20 डिग्री ही कम कर सकते हैं। कंप्रेशर को हटाने की योजना है। कंप्रेशर को हटाने से बिजली की खपत तो कम होगी ही साथ ही पर्यावरण भी सुरक्षित होगा।
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