Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Crop Minder Robot: खेतों में मजदूरों की जगह अब लेगा रोबोट, तोड़ेगा फल और सब्जियां

    By Jagran NewsEdited By: Monu Kumar Jha
    Updated: Sat, 31 May 2025 07:51 PM (IST)

    नोएडा के छात्रों ने क्रॉप माइंडर नामक एक रोबोट बनाया है जो किसानों के लिए मददगार साबित हो सकता है। यह रोबोट खेतों में मजदूरों की जगह फल और सब्जी की कट ...और पढ़ें

    Hero Image
    एमिटी यूनिवर्सिटी के बीटेक रोबोटिक्स के छात्रों ने तैयार किया क्रॉप माइंडर रोबोट। जागरण

    चेतना राठौर, नोएडा। इन दिनों खेती-किसानी के लिए समय पर मजदूर नहीं मिलना बड़ी समस्या बन गई है। किसानों की यह मुश्किल दूर करने में शहर के छात्रों द्वारा बनाया रोबोट किसानों के लिए मददगार साबित हो सकता है। एमिटी विश्वविद्यालय के बीटेक रोबोटिक्स के छात्रों ने क्राप माइंडर रोबोट तैयार किया है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    यह खेतों में मजदूरों की जगह लेकर फल और सब्जी की कटाई या तुड़ाई करेगा। साथ ही इस रोबोट की खासियत है कि इसे मशीन लर्निंग से तैयार किया गया है। यह समय समय पर खुद ही सीखता रहेगा। काम को और बेहतर करके देगा। अपनी गलतियों को खुद ही सुधार सकेगा।

    तैयार फल-सब्जियां हो तोड़ेगा

    इस रोबोट को विशेष तौर पर स्ट्राबेरी के लिए तैयार किया गया है। लेकिन इसकी प्रोग्रामिंग में बदलाव कर इसे अन्य फलों और सब्जियों की कटाई में भी उपयोग किया जा सकेगा। स्मार्ट रोबोट में लगा कैमरा सिर्फ पके हुए फलों और सब्जियों की पहचान कर तुड़ाई या कटाई करेगा।

    सस्ता विकल्प बनेगा क्रॉप माइंडर

    अब तक रोबोट की मदद से फसलों की कटाई विदेशों तक ही सीमित थी। विदेशी रोबोट महंगे होने के कारण किसानों के लिए इसे खरीदना संभव नहीं। इसलिए क्राप माइंडर रोबोट को कम कीमत में तैयार किया गया है। इसका इस्तेमाल कर खेत में कटाई करना किफायती होगा।

    विदेशों में ऐसे रोबोट की कीमत 20 से 25 लाख है,जबकि क्रॉप मंदिर रोबोट 2 लाख की लागत से तैयार किया गया है। जिसे किसान 4 से 4.5 लाख को कीमत में खरीद अपने काम को आसान कर सकता है। पूरी तरह ये भारतीय मूल का है।

    खेत में किए काम देगा ब्योरा

    छात्र दक्ष शर्मा ने बताया कि किसान को रोबोट को केवल अपने खेत की सीमा बतानी होगी। रोबोट में लगा जीपीएस, मैपिंग सिस्टम उसे इस सीमा से बाहर नहीं भटकने देगा।

    किसान को अपने खेत का क्षेत्रफल और फैलाव रोबोट की प्रोग्रामिंग में सेट करना होगा। इसके बाद रोबोट करीने से फलों या सब्जियों की कटाई कर लेगा।

    ऊंची फसलों में भी उपयोगी

    यह रोबोट फिलहाल 80 सेमी की ऊंचाई के पौधों के लिए तैयार किया गया है। हालांकि, मांग के अनुसार इसकी क्षमता बढ़ाकर अधिक ऊंचाई वाले पेड़-पौधों के लिए भी रोबोट तैयार किया जा सकेगा। यह खेत में आठ से नौ घंटे तक लगातार काम कर सकेगा।

    फिलहाल इसे दो बीघा के खेत में काम करने के लिए तैयार किया गया है। इसमें लगा टैंक 20 किलो ग्राम की क्षमता का है। लेकिन इसकी क्षमता बढ़ाई जा सकती है। इसमें लगी बैटरी की क्षमता 40 हजार एमएएच क्षमता की है जो सोलर पैनल से चार्ज होती है।

    फोन पर देख सकेंगे काम

    छात्र जोएल वी जार्ज ने बताया कि रोबोट में ऐसी प्रोग्रामिंग की गई है जिससे किसान घर में बैठकर फोन पर रोबोट का काम देख सकेगा। रोबोट कितने क्षेत्र की कटाई कर चुका, कितनी कीमत के फल कट चुके, यह सब फोन पर जाना जा सकेगा।

    किसान प्रतिदिन कितने क्षेत्र की कटाई करवाना चाह रहा है, यह रोबोट को बताना होगा। यह सब रोबोट में सेट किया जा सकेगा। इससे किसान का समय बचने के साथ उत्पादन बढ़ाने में भी मदद मिलेगी।

    छात्रा ऐश्वर्या त्रिपाठी ने बताया कि क्राप माइंडर रोबोट का पेटेंट लेने के लिए जल्द ही आवेदन किया जाएगा। फिलहाल विश्वविद्यालय के स्तर पर इस संबंधी रिसर्च पेपर सब्मिट किया है।

    रोबोट तैयार करने में एक साल का समय लगा है। इसे 2 लाख की लागत से तैयार किया गया है। इसकी टेस्टिंग सफल रही है। इसे किसानों को किफायती दाम में उपलब्ध कराया जाएगा।