ग्रेटर नोएडा: गुनगुनी ठंठ के साथ मौसम हुआ सुहाना, सूरजपुर वेटलैंड पहुंचने लगे विभिन्न देशों के पक्षी
Surajpur Wetlands में नवंबर में ठंड की शुरुआत के साथ ही विदेशी मेहमानों का आना शुरू हो जाता है। पक्षी यहां पर फरवरी तक लगभग चार माह रहते हैं। सूरजपुर वेटलैंड की गिनती दिल्ली-एनसीआर के बड़े वेटलैंड में होती है। जिसका क्षेत्रफल 308 हेक्टेयर का है। जिसमें से लगभग साठ हेक्टेयर में विशाल झील है। शेष जमीन पर जंगल है।

मनीष तिवारी, ग्रेटर नोएडा। गुनगुनी ठंठ के साथ ही मौसम सुहाना होने लगा है। सुहाने मौसम की शुरुआत के साथ ही विदेशी पक्षियों ने सूरजपुर वेटलैंड का रुख कर लिया है। विदेशी पक्षियों की चहचहाहट से वेटलैंड गुंजायमान होने लगा है।
विदेशी मेहमानों के स्वागत में वन विभाग ने विशाल झील की साफ-सफाई के साथ ही विदेशी पक्षियों के लिए झील के बीच में 15 माउंट(जलकुंभी का टीला) तैयार कराया गया है।
साथ ही विदेशी मेहमानों के बारे में जानकारी प्राप्त करने के लिए विशेष कक्ष भी तैयार कराया गया है। जहां पर वन विभाग के कर्मचारी लोगों को पक्षियों के बारे में विभिन्न जानकारी उपलब्ध कराएंगे।
NCR के बड़े वेटलैंड में होती है सूरजपुर वेटलैंड की गिनती
सूरजपुर वेटलैंड की गिनती दिल्ली-एनसीआर के बड़े वेटलैंड में होती है। जिसका क्षेत्रफल 308 हेक्टेयर का है। जिसमें से लगभग साठ हेक्टेयर में विशाल झील है। शेष जमीन पर जंगल है।
बड़ी झील व आस-पास बड़ी संख्या में पेड़ होने के कारण प्रतिवर्ष ठंड में हजारों की संख्या में विदेशी पक्षी यहां पर आते हैं। ठंड बढ़ने के साथ ही विदेशी पक्षियों की संख्या में भी इजाफा होने लगता है।
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ठंड में इनकी संख्या दस हजार तक पहुंच जाती है। एक स्थान पर हजारों विदेशी पक्षियों को देखने के लिए विभिन्न स्थानों से प्रकृति प्रेमी सूरजपुर वेटलैंड पहुंचते हैं।
उनकी चहलकदमी को कैमरे में कैद करने के साथ ही उनकी सुंदरता का आनंद लेते हैं। लगभग एक हजार विदेशी पक्षी वेटलैंड पहुंच चुके हैं। जल्द ही इनकी संख्या में इजाफा होना शुरू हो जाएगा।
किन देशों के पक्षी आते हैं वेटलैंड?
वेटलैंड में बड़ी संख्या में देशी पक्षी रहते हैं। ठंड में विदेशी पक्षियों के आने के बाद देशी-विदेशी पक्षियों की जुगलबंदी हो जाती है। यहां पर प्रमुख रूप से स्पेन, मंगोलिया, जापान, रूस, पूर्वी अफ्रीका, चीन, स्काटलैंड, अमरीका, यूरोप, कनाडा, ब्रिटेन सहित देशों से पक्षी परिवार के साथ आते हैं।
यह पक्षी पहुंचते हैं वेटलैंंड
वेटलैंड में नवंबर में ठंड की शुरुआत के साथ ही विदेशी मेहमानों का आना शुरू हो जाता है। पक्षी यहां पर फरवरी तक लगभग चार माह रहते हैं। प्रमुख रूप से ब्लैक नेक्ड स्टोर्क, मार्श हैरियर, पोचार्ड, ग्रेलैग गूज, बार हेडेड गूज, नार्दन प्रिनटेल, नार्दन शोलबर, गाडवाल, रूडी शेल्डक, ब्लैक टेल सहित अन्य विदेशी पक्षी आते हैं।
पक्षियों के लिए तैयार कराए 15 माउंट
पक्षियों के आने से पूर्व ही वन विभाग तैयारी में जुट जाता है। विशाल झील में जमा जलकुंभी की सफाई कराई जाती है। साथ ही झील में अतिरिक्त पानी छोड़ा जाता है। झील में पानी के बीच में पंद्रह स्थानों पर जलकुंभी से माउंट तैयार कराए गए हैं। पानी के बीच माउंट पर बैठकर पक्षी खिली धूप का आनंद लेते हैं और क्रीड़ा करते हैं।
पक्षियों के बारे में मिलेगी जानकारी
विदेशी पक्षियों के बारे में जानने की लोगों का बहुत जिज्ञासा होती है। लोग पक्षियों का नाम, किस देश से आए हैं, वह क्या खाते हैं, उनकी उम्र कितनी होती है, उनका स्वभाव कैसा होता है, उनका आकार कितना बड़ा होता है सहित अन्य जानकारी चाहते हैं।
पक्षियों के बारे में लोगों को विभिन्न जानकारी उपलब्ध कराने के लिए वेटलैंड में पहली बार विशेष कक्ष तैयार कराया गया है। जहां पर विभिन्न पक्षियों के फोटो लगाए गए हैं। कक्ष में उपस्थित वन विभाग के कर्मचारी लोगों को पक्षियों के बारे में जानकारी उपलब्ध कराएंगे।
झील की सफाई कराने के साथ ही 15 माउंट तैयार कराए गए हैं। पक्षियों के आने की शुरुआत हो गई है। किस देश के कौन-कौन से पक्षी आएं हैं इसकी गणना दिसंबर में कराई जाएगी।
- प्रमोद श्रीवास्तव, जिला वन अधिकारी

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